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ये देखो! ACB ने जिन 2 लोगों को रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है, वो दोनों ईमानदारी से काम करने का सम्मान पा चुके हैं

कोटा एसीबी ने रिश्वत के मामले में जिन दो आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है. उनमें चंद्र प्रकाश गुप्ता और कमल कांत वैष्णव दोनों को ही इस साल 26 जनवरी पर जिला प्रशासन ने ईमानदारी से काम करने के लिए सम्मानित किया था.

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Published : Dec 14, 2019, 12:29 PM IST

Updated : Dec 14, 2019, 12:56 PM IST

Kota news, ACB action, कोटा समाचार, गिरफ्तार
ACB की कार्रवाई में गिरफ्तार हुए दोनों आरोपी हो चुके हैं सम्मानित

कोटा. एसीबी ने जिला परिषद में कार्रवाई करते हुए आरोपी चंद्र प्रकाश गुप्ता को 25 हजार रुपए की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था. जबकि इस मामले में दूसरा कनिष्ठ सहायक कमलकांत वैष्णव फरार है. मामले की पड़ताल करने में सामने आया है कि दोनों आरोपियों को गणतंत्र दिवस के अवसर पर ईमानदारी से काम करने के लिए इस साल जिला प्रशासन ने सम्मानित किया था. जिला स्तरीय कार्यक्रम में यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने इन्हें सम्मानित किया था.

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ACB की कार्रवाई में गिरफ्तार हुए दोनों आरोपी हो चुके हैं सम्मानित

इन दोनों को राजकीय सेवा में उत्कृष्ट और सराहनीय सेवाओं के लिए सम्मानित किया गया था. बताया जा रहा है कि यह पहला मौका नहीं है कि स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्र दिवस पर जिला प्रशासन की ओर से सम्मानित होने वाले लोगों पर सवाल उठे हैं. इससे पहले भी जिला स्तरीय कार्यक्रमों में सम्मानित होने वाले लोगों की सूची पर हर साल सवाल उठते रहे हैं, क्योंकि इनमें से ज्यादातर लोग सिफारिश से सम्मानित होते हैं.

ACB की कार्रवाई में गिरफ्तार हुए दोनों आरोपी हो चुके हैं सम्मानित

एसीबी की टीम ने जिला परिषद में कल कार्रवाई को अंजाम देते हुए चंद्र प्रकाश गुप्ता को तो गिरफ्तार कर लिया था, लेकिन इस मामले में दूसरा आरोपी जिला परिषद से इटावा मीटिंग में भाग लेने निकल गया था. उसके साथ जिला परिषद के एक सहायक अभियंता भी थे. हालांकि इस कार्रवाई की सूचना उसे रास्ते में ही मिल गई. ऐसे में वह गाड़ी से उतर कर भाग गया. उसको पकड़ने के लिए कोटा एसीबी दीगोद, सुल्तानपुर और इटावा पुलिस के साथ तलाश कर रही है.

यह भी पढ़ें- ACB ने कोटा जिला प्रमुख के निजी सहायक को 25 हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा

बता दें कि कोटा एसीबी की टीम ने जिला परिषद में कल बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया था. जिसमें जिला प्रमुख सुरेंद्र गोचर के पीए (कनिष्ठ सहायक) चंद्र प्रकाश गुप्ता को 25 हजार रुपए की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था. यह रिश्वत की राशि जिला परिषद के निर्माण शाखा के कनिष्ठ सहायक कमलकांत वैष्णव के कहने पर ली थी. कमलकांत फिलहाल फरार है और जिसकी गिरफ्तारी के प्रयास एसीबी कर रही है. इस कार्रवाई से पूरे जिला परिषद में हड़कंप मच गया है.

कोटा. एसीबी ने जिला परिषद में कार्रवाई करते हुए आरोपी चंद्र प्रकाश गुप्ता को 25 हजार रुपए की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था. जबकि इस मामले में दूसरा कनिष्ठ सहायक कमलकांत वैष्णव फरार है. मामले की पड़ताल करने में सामने आया है कि दोनों आरोपियों को गणतंत्र दिवस के अवसर पर ईमानदारी से काम करने के लिए इस साल जिला प्रशासन ने सम्मानित किया था. जिला स्तरीय कार्यक्रम में यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने इन्हें सम्मानित किया था.

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ACB की कार्रवाई में गिरफ्तार हुए दोनों आरोपी हो चुके हैं सम्मानित

इन दोनों को राजकीय सेवा में उत्कृष्ट और सराहनीय सेवाओं के लिए सम्मानित किया गया था. बताया जा रहा है कि यह पहला मौका नहीं है कि स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्र दिवस पर जिला प्रशासन की ओर से सम्मानित होने वाले लोगों पर सवाल उठे हैं. इससे पहले भी जिला स्तरीय कार्यक्रमों में सम्मानित होने वाले लोगों की सूची पर हर साल सवाल उठते रहे हैं, क्योंकि इनमें से ज्यादातर लोग सिफारिश से सम्मानित होते हैं.

ACB की कार्रवाई में गिरफ्तार हुए दोनों आरोपी हो चुके हैं सम्मानित

एसीबी की टीम ने जिला परिषद में कल कार्रवाई को अंजाम देते हुए चंद्र प्रकाश गुप्ता को तो गिरफ्तार कर लिया था, लेकिन इस मामले में दूसरा आरोपी जिला परिषद से इटावा मीटिंग में भाग लेने निकल गया था. उसके साथ जिला परिषद के एक सहायक अभियंता भी थे. हालांकि इस कार्रवाई की सूचना उसे रास्ते में ही मिल गई. ऐसे में वह गाड़ी से उतर कर भाग गया. उसको पकड़ने के लिए कोटा एसीबी दीगोद, सुल्तानपुर और इटावा पुलिस के साथ तलाश कर रही है.

यह भी पढ़ें- ACB ने कोटा जिला प्रमुख के निजी सहायक को 25 हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा

बता दें कि कोटा एसीबी की टीम ने जिला परिषद में कल बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया था. जिसमें जिला प्रमुख सुरेंद्र गोचर के पीए (कनिष्ठ सहायक) चंद्र प्रकाश गुप्ता को 25 हजार रुपए की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था. यह रिश्वत की राशि जिला परिषद के निर्माण शाखा के कनिष्ठ सहायक कमलकांत वैष्णव के कहने पर ली थी. कमलकांत फिलहाल फरार है और जिसकी गिरफ्तारी के प्रयास एसीबी कर रही है. इस कार्रवाई से पूरे जिला परिषद में हड़कंप मच गया है.

Intro:कोटा एसीबी ने रिश्वत के मामले में जिन दो आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है उनमें चंद्र प्रकाश गुप्ता और कमल कांत वैष्णव है दोनों ही इस साल 26 जनवरी पर जिला प्रशासन ने ईमानदारी से काम करने के लिए सम्मानित किया था.


Body:कोटा.
एसीबी ने जिला परिषद में की कार्रवाई के मामले में आरोपी चंद्र प्रकाश गुप्ता को 25 हजार रुपए की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था. जबकि इस मामले में दूसरा कनिष्ठ सहायक कमलकांत वैष्णव फरार है. मामले की पड़ताल करने में सामने आया कि दोनों आरोपियों को गणतंत्र दिवस के अवसर पर ईमानदारी से काम करने के लिए इसी साल जिला प्रशासन ने सम्मानित किया था. जिला स्तरीय कार्यक्रम में यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने इन्हें सम्मानित किया था. जिसमें दोनों को राजकीय सेवा में उत्कृष्ट व सराहनीय सेवाओं के लिए सम्मानित किया गया था. यह पहला मौका नहीं है कि स्वतंत्रता दिवस व गणतंत्र दिवस पर जिला प्रशासन की ओर से सम्मानित होने वाले लोगों पर सवाल उठे हैं. इससे पहले भी जिला स्तरीय कार्यक्रमों में सम्मानित होने वाले लोगों की सूची पर हर साल सवाल उठते रहे हैं, क्योंकि इनमें से ज्यादातर लोग सिफारिश से सम्मानित होते हैं.

रास्ते से उतरकर फरार हो गया कमलकांत
एसीबी की टीम ने जिला परिषद में कल कार्रवाई को अंजाम देते हुए चंद्र प्रकाश गुप्ता को तो गिरफ्तार कर लिया था, लेकिन इस मामले में दूसरा आरोपी जिला परिषद से इटावा मीटिंग में भाग लेने निकल गया था. उसके साथ जिला परिषद के एक ही सहायक अभियंता भी थे. हालांकि इस कार्रवाई की सूचना उसे रास्ते में ही मिल गई. ऐसे में वह गाड़ी से उतर कर भाग गया. उसको पकड़ने के लिए कोटा एसीबी दीगोद, सुल्तानपुर व इटावा पुलिस के साथ तलाश कर रही है.




Conclusion:आपको बता दें कि कोटा एसीबी की टीम ने जिला परिषद में कल बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया था. जिसमें जिला प्रमुख सुरेंद्र गोचर के पीए (कनिष्ठ सहायक) चंद्र प्रकाश गुप्ता को 25 हजार रुपए की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था. यह रिश्वत की राशि जिला परिषद के निर्माण शाखा के कनिष्ठ सहायक कमलकांत वैष्णव के कहने पर ली थी. कमलकांत फिलहाल फरार है और जिसकी गिरफ्तारी के प्रयास एसीबी कर रही है. इस कार्रवाई से पूरे जिला परिषद में हड़कंप मच गया था.

Last Updated : Dec 14, 2019, 12:56 PM IST
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