कोटा. जिले के दौरे पर गुरुवार को पहुंचे राज्य के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट के मुद्दे को लेकर लोकसभा स्पीकर ओम बिरला पर हमला बोला. वहीं, इसी मामले में अब भाजपा के विधायकों ने भी सीएम के बयान पर आपत्ति जताई है. विधायक संदीप शर्मा, मदन दिलावर और कल्पना देवी ने संयुक्त बयान जारी किया, जिसमें कहा गया कि राज्य सरकार ने ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट के लिए भार रहित जमीन देने से हाथ खड़े कर दिए हैं. साथ ही सीएम पर झूठ बोलने का भी आरोप लगाया और कहा कि तीन बार के सीएम को झूठ बोलना शोभा नहीं देता है. उन्होंने कहा कि लंबे राजनीतिक अनुभव के बाद भी सीएम ने लोकसभा स्पीकर जैसे उच्च संवैधानिक पद पर बैठे व्यक्ति का सम्मान नहीं किया और न ही शब्दों की मर्यादा का ख्याल रखा. विधायकों ने यह भी आरोप लगाया कि यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने ही सीएम गहलोत को झूठ बोलने पर मजबूर किया है. मुख्यमंत्री गहलोत भी इसलिए डरे हुए हैं कि कहीं ओम बिरला को कोटा एयरपोर्ट का क्रेडिट न मिल जाए.
एयरपोर्ट के लिए 106 करोड़ भी नहीं - विधायक संदीप शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार ने रिवरफ्रंट और सिटी पार्क ऑक्सीजोन के साथ ही शहर के चौराहे व ट्रैफिक लाइट फ्री कोटा बनाने के लिए करीब 5000 करोड़ रुपए खर्च कर दिए. जिनमें से अधिकांश काम का कोई औचित्य ही नहीं था, जबकि मुख्य काम कोटा एयरपोर्ट का है, लेकिन इसके लिए 106 करोड़ रुपए जारी नहीं किए जा रहे हैं. भाजपा विधायक ने आगे कहा कि मौजूदा कांग्रेस सरकार का कोटा के साथ पक्षपातपूर्ण रवैया रहा है. इसके पहले भी आईआईटी को कोटा से जोधपुर ले जाया गया. गहलोत ने कोटा आकर एक बार फिर हास्यास्पद बयान दिया है.
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गलत बयानबाजी कर खुद उलझा रहे सीएम - कोटा दक्षिण विधायक संदीप शर्मा ने कहा कि एयरपोर्ट केंद्र सरकार बनवाएगी, लेकिन भार रहित भूमि देना राज्य सरकार की जिम्मेदारी है. एयरपोर्ट के लिए प्रस्तावित भूमि से संबंधित सभी समस्याओं को दूर करने का काम राज्य सरकार का होता है. सीएम कह रहे हैं कि केंद्र सरकार बार-बार राशि बढ़ा रही है. जबकि सच्चाई यह है कि पावरग्रिड ने कंसल्टेशन फीस को कम किया है. गहलोत गलत बयानी कर खुद मामले को उलझाने की कोशिश कर रहे हैं.
कोटा एयरपोर्ट का क्रेडिट बिरला को मिलने से डरें सीएम - लाडपुरा विधायक कल्पना देवी ने कहा कि सीएम अशोक गहलोत ओम बिरला के लिए हाथ खड़े करने की बात कह रहे हैं, लेकिन सही मायनों में आज सीएम ने कोटा एयरपोर्ट के लिए घुटने टेक दिए हैं. राज्य सरकार के उड्डयन विभाग ने वित्त विभाग से चर्चा कर विभिन्न विभागों को वन भूमि के डायवर्जन और पावर ग्रिड की लाइन शिफ्टिंग के लिए राशि जमा करवाने के आदेश जारी किए. वित्त विभाग मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पास है और आज वे कह रहे हैं कि राशि केंद्र जमा करवा दे. यदि नहीं करवा सकते तो हमें बताए हम एयरपोर्ट बना देंगे. मुख्यमंत्री जानते हैं कि वे सिर्फ 106 करोड़ रुपए जमा करवा देंगे तो कोटा एयरपोर्ट का निर्माण शुरू हो जाएगा. हकीकत में उन्हें डर है कि कहीं लोकसभा स्पीकर बिरला को कोटा एयरपोर्ट का क्रेडिट न मिल जाए.
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कोटा एयरपोर्ट के राह में रोड़ा बने मंत्री धारीवाल - रामगंजमंडी विधायक मदन दिलावर ने कहा कि तीन बार के मुख्यमंत्री इस तरह सार्वजनिक रूप से झूठ बोलें यह शोभा नहीं देता है. गहलोत केंद्र सरकार पर अड़चन उत्पन्न करने की बात कह रहे हैं, जबकि हकीकत में कोटा एयरपोर्ट का सबसे बड़ा रोड़ा उनके मंत्रिमंडल में स्वायत्त शासन मंत्री शांति धारीवाल हैं. वे एयरपोर्ट के लिए आवश्यक 106 करोड़ रुपए की राशि जमा नहीं होने दे रहे हैं. आज धारीवाल ने ही गहलोत को झूठ बोलने पर मजबूर किया है. गहलोत को सोचना चाहिए था कि बिड़ला इस समय उच्च संवैधानिक पद पर हैं. इतने लंबे राजनीतिक अनुभव के बाद भी उन्होंने शब्दों की मर्यादा नहीं रखी.