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Special: कोरोना की ऐसी पड़ी मार कि Unlock में भी नहीं मिल रही राहत

कोरोना के बढ़ते संक्रमण के कारण लगे लॉकडाउन के कारण करौली का शादी समारोह से जुड़े व्यवसाय पूरी तरह से ठप पड़ गए थे. अनलॉक से लोगों को कुछ उम्मीद थी लेकिन उसमें भी निराशा ही हाथ लगी. अब रही सही कसर देव शयन के चलते पूरी हो गई. ताजा हालात ये है कि इस व्यवसाय से जुड़े लोगों के सामने भूखों मरने की नौबत आ गई है. आइए देखें स्पेशल रिपोर्ट..

करौली समाचार, karauli news
Unlock में भी नहीं मिल रही व्यवसायियों का राहत
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Published : Jul 6, 2020, 9:54 PM IST

Updated : Jul 6, 2020, 10:05 PM IST

करौली. देश में फैली कोरोना महामारी से उद्योग-धंधे पूरी तरह से चौपट हो गए हैं. कुछ ऐसा ही हाल शादी-विवाह से जुड़े व्यवसाय का भी है, जिनकी स्थिति अनलॉक में भी दयनीय बनी हुई है. इसी का नतीजा है कि इस व्यवसाय से जुड़े लोगों पर भारी आर्थिक संकट छाया हुआ है. ऐसे में ईटीवी भारत ने जब इस व्यवसाय से जुड़े लोगों का हाल जानने की कोशिश की तो सामने आया कि लॉकडाउन के चलते व्यापारी वर्ग हताश होकर घर में बैठ गया. इस बीच सरकार की ओर से अनलॉक की घोषणा की गई, लेकिन शादियों के सीजन होने के बावजूद यह व्यवसाय अभी भी पूरी तरह से चल नहीं पाया.

Unlock के बाद भी नहीं मिल रही व्यवसायियों को राहत

सरकार की एडवाइजरी का पालन करते हुए शादियों के लिए लोगों ने मैरिज हॉल की तरफ देखा तक नहीं और घर में शादी के कार्यक्रम आयोजित कर लिए. इतना ही नहीं, सरकारी गाइडलाइन के अनुसार 50 से ज्यादा मेहमानों को नहीं बुलाने की शर्तों को ध्यान में रखते हुए हलवाई तक बुलाना उचित नहीं समझा. और तो और डीजे, बैंडबाजा, आतिशबाजी, डेकोरेशन का काम करने वालों को भी काम नहीं मिल रहा है. इस व्यवसाय से जुड़े लोगों के काम-धंधे ही पूरी तरह से ठप हो गए हैं, जिससे इन सभी के सामने आर्थिक संकट गहरा गया है.

करौली समाचार, karauli news
हलवाईयों तक को नहीं बुलाया जा रहा शादियों में

पढ़ें- करौलीः बदमाशों ने दिव्यांग के साथ की बदसलूकी, पुलिस पर कार्रवाई ना करने का आरोप

अनलॉक-1 में अपने बेटे की शादी करने वाले एक सज्जन ने बताया गया कि बेटे की शादी में सरकारी गाइडलाइन्स की पालन करते हुए 50 से ज्यादा लोगों को नहीं बुलाया गया. इस शादी में ना तो हलवाई किया गया और ना ही किसी मैरिज हॉल की बुकिंग हुई. इसके साथ ही कई समस्याओं का सामना भी करना पड़ा. ऐसे में खरीददारी के दौरान कई दुकान बंद रहती थी, जिससे सामान भी काफी महंगे दामों में मिलते थे और मजबूरन खरीददारी करनी पड़ी. वहीं, सरकार की शर्तों को ध्यान में रखते हुए शादी में सीमित दायरे में ही लोगों को बुलाया गया. इसके चलते करीबी रिश्तेदार भी शादी में नहीं आ पाए.

करौली समाचार, karauli news
मैरिज गार्डन पड़े सूने

शादी-विवाह में काम करने वाले हलवाईयों का कहना है कि कोरोना के इस दौर में काफी नुकसान का सामना करना पड़ा है. इस बार की शादियों में लोगों ने मिठाई तक बनवाने के लिए भी बुक नहीं किया गया. अब तो शादी का सीजन भी बीत गया है, जिससे आने वाले 4 महीनों तक और भी हमारे पास कोई काम-धंधा नहीं है, जिससे आगे के इन महीनों में काफी नुकसान होगा.

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घर पर किया जा रहा विवाह

कर्ज से लिए गए कैमरों तक का नहीं चुका पा रहे किस्त

फोटोग्राफर आशीष पंडित ने बताया कि कोरोना महामारी के चलते शादी-विवाह के सीजन में बहुत ही संकट का सामना करना पड़ा है. शादी सीजन होने के बावजूद इस बार की सारी बुकिंग कैंसिल हो गई. यहां तक की कर्ज से लिए गए कैमरों के किस्त तक नहीं चुका पा रहे. ऐसे में अपने और अपने परिवार का पेट कैसे पालें.

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नहीं बुक किए जा रहे होटल

आशीष का कहना था कि एक तो काम नहीं मिला और अगर कोई काम भी मिला तो पैसे भी इतने ही मिले कि सिर्फ दो वक्त की रोटी नसीब हो जाए. और तो और इस संकट की घड़ी में काम करने वाले लड़के भी नहीं मिल रहे हैं. आगे के 4 महीनों तक शादी का कोई सीजन भी नहीं है, अब भगवान ही जानें, किस तरह से घर-परिवार चलेगा.

मैरिज गार्डन पर छाया सन्नाटा

कोरोना संकट काल में हो रहे शादियों में सरकार ने सिर्फ 50 व्यक्तियों की ही उपस्थिति के आदेश जारी किए है. ऐसे में लोगों ने घर पर शादी करवाना उचित समझा, जिसके चलते मैरिज हॉल की बुकिंग नहीं हो पाई. इस दौरान जब ईटीवी भारत ने शहर के मैरिज गार्डन्स का जायजा लिया तो ज्यादातर मैरिज गार्डन के गेट पर ताले लटके हुए नजर आए. वहीं, उनके मालिक भी आर्थिक संकट के चलते काफी परेशान नजर आए.

पढ़ें- करौली: Corona जन जागरूकता प्रदर्शनी का शुभारंभ...ग्रामीणों को बसों से कराया जाएगा भ्रमण

होटल व्यवसायियों का कहना था कि पहले तो सरकारी एडवाइजरी के चलते लोगों ने मैरिज गार्डन बुक नहीं किए और देव शयन हो जाने के कारण 4 महीने तक वैसे ही मैरिज गार्डन बुक नहीं हो पाएंगे. ऐसे में गार्डन में काम करने वाले मजदूरों की पगार भी देना मुश्किल पड़ रहा है. ऐसे में उन मजदूरों के पास भी कोई काम-धंधा नहीं, जिससे वे अपना और अपने परिवार का पेट कैसे पालेंगे?

इन व्यवसायियों का कहना है कि पहले इन महीनों में शादी सीजन होने के कारण कमाई हो जाती थी, जिससे अगले 4 महीनों तक घर-गृहस्थी आसानी से चल जाती थी. लेकिन इस बार कोरोना महामारी के कारण यह सीजन भी पीट गया और दूसरी ओर कोई रोजगार भी नहीं है, जिससे आर्थिक संकट से कुछ हद तक छुटकारा मिल सके. इसके चलते काफी परेशानियों का सामना करना पड़ेगा.

करौली. देश में फैली कोरोना महामारी से उद्योग-धंधे पूरी तरह से चौपट हो गए हैं. कुछ ऐसा ही हाल शादी-विवाह से जुड़े व्यवसाय का भी है, जिनकी स्थिति अनलॉक में भी दयनीय बनी हुई है. इसी का नतीजा है कि इस व्यवसाय से जुड़े लोगों पर भारी आर्थिक संकट छाया हुआ है. ऐसे में ईटीवी भारत ने जब इस व्यवसाय से जुड़े लोगों का हाल जानने की कोशिश की तो सामने आया कि लॉकडाउन के चलते व्यापारी वर्ग हताश होकर घर में बैठ गया. इस बीच सरकार की ओर से अनलॉक की घोषणा की गई, लेकिन शादियों के सीजन होने के बावजूद यह व्यवसाय अभी भी पूरी तरह से चल नहीं पाया.

Unlock के बाद भी नहीं मिल रही व्यवसायियों को राहत

सरकार की एडवाइजरी का पालन करते हुए शादियों के लिए लोगों ने मैरिज हॉल की तरफ देखा तक नहीं और घर में शादी के कार्यक्रम आयोजित कर लिए. इतना ही नहीं, सरकारी गाइडलाइन के अनुसार 50 से ज्यादा मेहमानों को नहीं बुलाने की शर्तों को ध्यान में रखते हुए हलवाई तक बुलाना उचित नहीं समझा. और तो और डीजे, बैंडबाजा, आतिशबाजी, डेकोरेशन का काम करने वालों को भी काम नहीं मिल रहा है. इस व्यवसाय से जुड़े लोगों के काम-धंधे ही पूरी तरह से ठप हो गए हैं, जिससे इन सभी के सामने आर्थिक संकट गहरा गया है.

करौली समाचार, karauli news
हलवाईयों तक को नहीं बुलाया जा रहा शादियों में

पढ़ें- करौलीः बदमाशों ने दिव्यांग के साथ की बदसलूकी, पुलिस पर कार्रवाई ना करने का आरोप

अनलॉक-1 में अपने बेटे की शादी करने वाले एक सज्जन ने बताया गया कि बेटे की शादी में सरकारी गाइडलाइन्स की पालन करते हुए 50 से ज्यादा लोगों को नहीं बुलाया गया. इस शादी में ना तो हलवाई किया गया और ना ही किसी मैरिज हॉल की बुकिंग हुई. इसके साथ ही कई समस्याओं का सामना भी करना पड़ा. ऐसे में खरीददारी के दौरान कई दुकान बंद रहती थी, जिससे सामान भी काफी महंगे दामों में मिलते थे और मजबूरन खरीददारी करनी पड़ी. वहीं, सरकार की शर्तों को ध्यान में रखते हुए शादी में सीमित दायरे में ही लोगों को बुलाया गया. इसके चलते करीबी रिश्तेदार भी शादी में नहीं आ पाए.

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मैरिज गार्डन पड़े सूने

शादी-विवाह में काम करने वाले हलवाईयों का कहना है कि कोरोना के इस दौर में काफी नुकसान का सामना करना पड़ा है. इस बार की शादियों में लोगों ने मिठाई तक बनवाने के लिए भी बुक नहीं किया गया. अब तो शादी का सीजन भी बीत गया है, जिससे आने वाले 4 महीनों तक और भी हमारे पास कोई काम-धंधा नहीं है, जिससे आगे के इन महीनों में काफी नुकसान होगा.

करौली समाचार, karauli news
घर पर किया जा रहा विवाह

कर्ज से लिए गए कैमरों तक का नहीं चुका पा रहे किस्त

फोटोग्राफर आशीष पंडित ने बताया कि कोरोना महामारी के चलते शादी-विवाह के सीजन में बहुत ही संकट का सामना करना पड़ा है. शादी सीजन होने के बावजूद इस बार की सारी बुकिंग कैंसिल हो गई. यहां तक की कर्ज से लिए गए कैमरों के किस्त तक नहीं चुका पा रहे. ऐसे में अपने और अपने परिवार का पेट कैसे पालें.

करौली समाचार, karauli news
नहीं बुक किए जा रहे होटल

आशीष का कहना था कि एक तो काम नहीं मिला और अगर कोई काम भी मिला तो पैसे भी इतने ही मिले कि सिर्फ दो वक्त की रोटी नसीब हो जाए. और तो और इस संकट की घड़ी में काम करने वाले लड़के भी नहीं मिल रहे हैं. आगे के 4 महीनों तक शादी का कोई सीजन भी नहीं है, अब भगवान ही जानें, किस तरह से घर-परिवार चलेगा.

मैरिज गार्डन पर छाया सन्नाटा

कोरोना संकट काल में हो रहे शादियों में सरकार ने सिर्फ 50 व्यक्तियों की ही उपस्थिति के आदेश जारी किए है. ऐसे में लोगों ने घर पर शादी करवाना उचित समझा, जिसके चलते मैरिज हॉल की बुकिंग नहीं हो पाई. इस दौरान जब ईटीवी भारत ने शहर के मैरिज गार्डन्स का जायजा लिया तो ज्यादातर मैरिज गार्डन के गेट पर ताले लटके हुए नजर आए. वहीं, उनके मालिक भी आर्थिक संकट के चलते काफी परेशान नजर आए.

पढ़ें- करौली: Corona जन जागरूकता प्रदर्शनी का शुभारंभ...ग्रामीणों को बसों से कराया जाएगा भ्रमण

होटल व्यवसायियों का कहना था कि पहले तो सरकारी एडवाइजरी के चलते लोगों ने मैरिज गार्डन बुक नहीं किए और देव शयन हो जाने के कारण 4 महीने तक वैसे ही मैरिज गार्डन बुक नहीं हो पाएंगे. ऐसे में गार्डन में काम करने वाले मजदूरों की पगार भी देना मुश्किल पड़ रहा है. ऐसे में उन मजदूरों के पास भी कोई काम-धंधा नहीं, जिससे वे अपना और अपने परिवार का पेट कैसे पालेंगे?

इन व्यवसायियों का कहना है कि पहले इन महीनों में शादी सीजन होने के कारण कमाई हो जाती थी, जिससे अगले 4 महीनों तक घर-गृहस्थी आसानी से चल जाती थी. लेकिन इस बार कोरोना महामारी के कारण यह सीजन भी पीट गया और दूसरी ओर कोई रोजगार भी नहीं है, जिससे आर्थिक संकट से कुछ हद तक छुटकारा मिल सके. इसके चलते काफी परेशानियों का सामना करना पड़ेगा.

Last Updated : Jul 6, 2020, 10:05 PM IST
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