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10 लाख की लूट का पर्दाफाश, पूर्व कर्मचारी ने रची थी साजिश, पांच लुटेरे गिरफ्तार

जोधपुर में 1 जनवरी को हुए 10 लाख रुपए की लूट का पुलिस ने खुलासा कर दिया है. एक पूर्व कर्मचारी समेत 5 लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है.

लूट का पर्दाफाश
लूट का पर्दाफाश
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Jan 4, 2024, 7:10 PM IST

10 लाख रुपए की लूट का पुलिस ने किया खुलासा

जोधपुर. जिले में 1 जनवरी को रातानाडा थाना क्षेत्र में हुई 10 लाख रुपए की लूट का पुलिस ने खुलासा कर दिया है. इस मामले में पुलिस ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया है. मुख्य आरोपी सहित दो लोग अभी फरार हैं. पुलिस की पड़ताल में सामने आया है कि फ्रेश एंड ग्रीन आउटलेट के एक पूर्व कर्मचारी ने इस लूट का षड्यंत्र रचा था. डीसीपी ईस्ट अमृता दुहान ने बताया कि 1 जनवरी को फ्रेश एंड ग्रीन आउटलेट का कर्मचारी पुखराज बिश्नोई कलेक्शन लेकर बैंक जा रहा था. इस दौरान रेलवे स्टेडियम के पास एक पिकअप ने उसकी बाइक को टक्कर मारी थी. पुखराज के पास ही एक और बाइक चल रही थी. पिकअप की टक्कर से जब पुखराज गिरा तो नजदीक चल रहे बाइक सवार व्यक्ति ने 10 लाख रुपए से भरा बैग लिया और भाग गया.

डीसीपी ने बताया कि जहां घटना हुई थी उस इलाके में सीसीटीवी फुटेज नहीं थे, ऐसे में पुलिस को आरोपियों तक पहुंचने में काफी मशक्कत करनी पड़ी. आउटलेट जहां से नकदी लेकर पुखराज निकला था, वहां के सीसीटीवी फुटेज देखे गए तो वहां एक कर्मचारी अर्जुन प्रजापत की कैश काउंटर के पास संदिग्ध गतिविधि नजर आई. जिससे कड़ी पूछताछ करने पर मामले से जुड़ी परतें खुलती गई.

इसे भी पढ़ें-जयपुर: डेयरी के कलेक्शन कर्मचारी से 10 लाख रुपए की लूट

जिसे आउटलेट से निकाला उसने रची साजिश : पूछताछ में अर्जुन ने पुलिस को बताया कि आउटलेट में पहले मुकेश मेघवाल नाम का कर्मचारी काम करता था जो वहां का सामान चुराता था. उसे कुछ दिनों पहले चोरी के आरोप में बाहर निकाल दिया गया था. बदला लेने के लिए उसने अर्जुन से संपर्क किया और रुपए लूटने की योजना बनाई. मुकेश ने एक अन्य व्यक्ति हरचंद मेघवाल को इसमें शामिल किया. हरचंद ने बदमाश रामनिवास मेघवाल को बुलाया और लूट की पूरी साजिश रची.

15-16 दिसंबर के दौरान भी सभी ने मिलकर लूट का प्रयास किया था, लेकिन सफल नहीं हो पाए. 1 जनवरी को जब पुखराज कैश लेकर बैंक जा रहा था, तो अर्जुन ने मुकेश को फोन कर बताया कि वह निकल गया है, जिसके बाद हरचंद और मुकेश ने रामनिवास को सूचना दी. रामनिवास अपने साथ भैराराम और भागीरथ को लेकर आया भागीरथ के पास पिकअप थी, जिसमें बैठकर उन्होंने पुखराज का पीछा किया और टक्कर मारी.

रामनिवास का राजू ठेहट गैंग से संबंध : डीसीपी ने बताया कि घटना के दिन रामनिवास मेघवाल एक अन्य साथी के साथ बाइक पर पुखराज के साथ-साथ रवाना हुआ. पिकअप की टक्कर से पुखराज के गिरते ही रामनिवास 10 लाख रुपए से भरा बैग लेकर बाइक पर अपने साथी के साथ भाग गया. आगे जाकर सभी लोग पिकअप में बैठ गए. पैसों का बंटवारा करते हुए रामनिवास ने मुकेश हरचंद भागीरथ और भैराराम को 4 लाख रुपए दिए और 6 लाख रुपए लेकर वहां से निकल गया. पुलिस ने बताया कि रामनिवास के खिलाफ 2021 में अंतिम मुकदमा जोधपुर क्षेत्र में दर्ज हुआ था. उसके संबंध राजू ठेहठ की गैंग के साथ भी रहे हैं.

दो लोगों को नागौर से हिरासत में लिया : डीसीपी ने बताया कि लूट की घटना को अंजाम देने के बाद सभी आरोपी जयपुर की तरफ भाग गए थे. इनमें भागीरथ और भैराराम के नागौर में होने की जानकारी मिलने पर पुलिस वहां से दोनों को हिरासत में लेकर आई, जबकि रामनिवास और उसके साथी का अभी तक पता नहीं चला है. जिस पिकअप से पुखराज को टक्कर मारी गई थी वह भागीरथ के नाम रजिस्टर्ड है.

10 लाख रुपए की लूट का पुलिस ने किया खुलासा

जोधपुर. जिले में 1 जनवरी को रातानाडा थाना क्षेत्र में हुई 10 लाख रुपए की लूट का पुलिस ने खुलासा कर दिया है. इस मामले में पुलिस ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया है. मुख्य आरोपी सहित दो लोग अभी फरार हैं. पुलिस की पड़ताल में सामने आया है कि फ्रेश एंड ग्रीन आउटलेट के एक पूर्व कर्मचारी ने इस लूट का षड्यंत्र रचा था. डीसीपी ईस्ट अमृता दुहान ने बताया कि 1 जनवरी को फ्रेश एंड ग्रीन आउटलेट का कर्मचारी पुखराज बिश्नोई कलेक्शन लेकर बैंक जा रहा था. इस दौरान रेलवे स्टेडियम के पास एक पिकअप ने उसकी बाइक को टक्कर मारी थी. पुखराज के पास ही एक और बाइक चल रही थी. पिकअप की टक्कर से जब पुखराज गिरा तो नजदीक चल रहे बाइक सवार व्यक्ति ने 10 लाख रुपए से भरा बैग लिया और भाग गया.

डीसीपी ने बताया कि जहां घटना हुई थी उस इलाके में सीसीटीवी फुटेज नहीं थे, ऐसे में पुलिस को आरोपियों तक पहुंचने में काफी मशक्कत करनी पड़ी. आउटलेट जहां से नकदी लेकर पुखराज निकला था, वहां के सीसीटीवी फुटेज देखे गए तो वहां एक कर्मचारी अर्जुन प्रजापत की कैश काउंटर के पास संदिग्ध गतिविधि नजर आई. जिससे कड़ी पूछताछ करने पर मामले से जुड़ी परतें खुलती गई.

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जिसे आउटलेट से निकाला उसने रची साजिश : पूछताछ में अर्जुन ने पुलिस को बताया कि आउटलेट में पहले मुकेश मेघवाल नाम का कर्मचारी काम करता था जो वहां का सामान चुराता था. उसे कुछ दिनों पहले चोरी के आरोप में बाहर निकाल दिया गया था. बदला लेने के लिए उसने अर्जुन से संपर्क किया और रुपए लूटने की योजना बनाई. मुकेश ने एक अन्य व्यक्ति हरचंद मेघवाल को इसमें शामिल किया. हरचंद ने बदमाश रामनिवास मेघवाल को बुलाया और लूट की पूरी साजिश रची.

15-16 दिसंबर के दौरान भी सभी ने मिलकर लूट का प्रयास किया था, लेकिन सफल नहीं हो पाए. 1 जनवरी को जब पुखराज कैश लेकर बैंक जा रहा था, तो अर्जुन ने मुकेश को फोन कर बताया कि वह निकल गया है, जिसके बाद हरचंद और मुकेश ने रामनिवास को सूचना दी. रामनिवास अपने साथ भैराराम और भागीरथ को लेकर आया भागीरथ के पास पिकअप थी, जिसमें बैठकर उन्होंने पुखराज का पीछा किया और टक्कर मारी.

रामनिवास का राजू ठेहट गैंग से संबंध : डीसीपी ने बताया कि घटना के दिन रामनिवास मेघवाल एक अन्य साथी के साथ बाइक पर पुखराज के साथ-साथ रवाना हुआ. पिकअप की टक्कर से पुखराज के गिरते ही रामनिवास 10 लाख रुपए से भरा बैग लेकर बाइक पर अपने साथी के साथ भाग गया. आगे जाकर सभी लोग पिकअप में बैठ गए. पैसों का बंटवारा करते हुए रामनिवास ने मुकेश हरचंद भागीरथ और भैराराम को 4 लाख रुपए दिए और 6 लाख रुपए लेकर वहां से निकल गया. पुलिस ने बताया कि रामनिवास के खिलाफ 2021 में अंतिम मुकदमा जोधपुर क्षेत्र में दर्ज हुआ था. उसके संबंध राजू ठेहठ की गैंग के साथ भी रहे हैं.

दो लोगों को नागौर से हिरासत में लिया : डीसीपी ने बताया कि लूट की घटना को अंजाम देने के बाद सभी आरोपी जयपुर की तरफ भाग गए थे. इनमें भागीरथ और भैराराम के नागौर में होने की जानकारी मिलने पर पुलिस वहां से दोनों को हिरासत में लेकर आई, जबकि रामनिवास और उसके साथी का अभी तक पता नहीं चला है. जिस पिकअप से पुखराज को टक्कर मारी गई थी वह भागीरथ के नाम रजिस्टर्ड है.

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