ओसियां (जोधपुर). राज्य सरकार की किसान विरोधी नीतियों को लेकर आगामी 23 अगस्त को ओसियां में संपूर्ण लॉकडाउन की रणनीति को लेकर पूर्व विधायक भैराराम सियोल डोर टू डोर जनसंपर्क कर रहे हैं. इसी के तहत उनका मथानिया में जनसंवाद का कार्यक्रम हुआ. जिस पर मथानिया पुलिस ने उनके खिलाफ कोरोना गाइडलाइन की पालना नहीं करने पर मुकदमा दर्ज करवाया है. वहीं पुलिस की इस कार्रवाई को लेकर भाजपा कार्यकर्ताओं में भारी आक्रोश व्याप्त है.
पूर्व विधायक सियोल का कहना है कि स्थानीय जनप्रतिनिधि के दबाव में ओसियां उपखंड अधिकारी ने आनन-फानन में मथानिया के मुख्य बाजार में एक निर्धारित स्थान पर अचानक फिर से कंटेंटमेंट क्षेत्र घोषित कर पुलिस पर दबाव बनाया. तब जाकर मेरे खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ है. जबकि उक्त स्थान जनसंपर्क स्थल से काफी दूर है.
किसान विभिन्न मांगों को लेकर आंदोलनरत हैं, उनकी जायज मांगों को सुनने और ज्ञापन लेने के लिए उनके बीच में जा रहा हूं. कोरोना को लेकर आमजन सजग और सतर्क है. जनसंपर्क के दौरान मास्क सैनिटाइजर और सामाजिक दूरी का ख्याल रखा जा रहा है. उन्होंने कहा कि मेरे जीवन में पहला मुकदमा किसान हितों की लड़ाई लड़ते हो रहा है, यह अच्छा नहीं है.
पूर्व विधायक सियोल का आरोप-
पूर्व विधायक ने पुलिस द्बारा उनके ऊपर दर्ज मुकदमे को लेकर विधायक दिव्या मदेरणा पर सत्ता दुरुपयोग का आरोप लगाते हुए कहा कि मेरे द्वारा कोराना गाइडलाइन का पालन करते हुए किसानों के समर्थन में किये जा रहे जनसंपर्क कार्यक्रम को रोकने हेतु वर्तमान विधायक एसडीएम और पुलिस पर दबाव बनाकर मेरे खिलाफ कानूनी करवाई की गई है. उन्होंने कहा कि में गीदड़ धमकियों से डरने वाला नहीं हूं. 23 अगस्त को ओसियां विधानसभा क्षेत्र में सम्पूर्ण लॉकडाउन होकर रहेगा, चाहे मुझे जेल ही क्यों न जाना पड़े.
वर्तमान विधायक मदेरणा का आरोप-
वर्तमान विधायक दिव्या मदेरणा ने कहा कि ओसियां के पूर्व विधायक पर प्रशासन द्वारा कोराना गाइडलाइन का उल्लंघन करने की जो करवाई की गई, वह प्रशासनिक है. उसके लिए मैंने अधिकारियों पर किसी तरह का कोई दबाव नहीं बनाया है. पूर्व विधायक द्वारा मेरे ऊपर लगाये गए सभी आरोप निराधार हैं. अगर मैं स्वयं कोरोना महामारी की जारी गाइडलाइन का उल्लंघन करती हूं, तो प्रशासन मेरे खिलाफ भी कानूनी करवाई कर सकता है.