झुंझुनू. जिले में 5 वर्षीय मासूम के साथ हुए दुष्कर्म के विरोध में छात्र संगठन एसएफआई मोरारका महाविद्यालय झुंझुनू की कॉलेज कमेटी के आह्वान पर सैकड़ों की तादाद में छात्र-छात्राओं ने आक्रोश रैली निकाली, जो मोरारका महाविद्यालय से शुरू होकर जिला कलेक्ट्रेट तक पहुंची. इस दौरान छात्र छात्राओं ने दुष्कर्म के आरोपी को फांसी की सजा दिलाने की मांग की.
तहसील महासचिव राजेश आलडिया ने बताया कि झुंझुनू जिले के चिड़ावा में 5 वर्षीय मासूम के साथ हुई घटना झकझोर कर देने वाली है. प्रदेश महासचिव सोनू जीलोवा ने बताया कि इस प्रकार के अपराधों पर अंकुश लगाने के लिए सरकार को कठोर कदम उठाने चाहिए तथा जमीनी स्तर पर उनको लागू करवाने चाहिए. एसएफआई के भूतपूर्व प्रदेश महासचिव कॉमरेड फूलचंद बरवड़ ने बताया कि इस प्रकार के अपराधों की कड़ी निन्दा करते हैं. साथ ही यह मांग भी करते हैं कि इस प्रकार के आरोपियों को जितना जल्दी हो सके कठोर सजा मिलनी चाहिए.
नगर महासचिव विशेक शर्मा ने बताया कि एसएफआई हर उस घटना के खिलाफ लड़ती है, जो अमानवीय हो. महाविद्यालय की छात्रा सब कमेटी अध्यक्ष पूजा नायक ने बताया कि शेखावाटी आंचल में सबसे शिक्षित और वीरधरा होने के बावजूद झुंझुनू जिले में ऐसी घटना का होना जिले को शर्मशार करता है. लड़कियों को इतना आत्मविश्वास अपने अंदर पैदा करना चाहिए, जिससे कोई उनकी तरफ आंख उठाकर ना देख सके. छात्रा हिमांशी चौधरी ने कहा कि ऐसे दरिंदों को समाज में जीने का कोई हक नहीं है. इन्हे बीच चौराहे पर सजा देनी चाहिए.
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एसएफआई के जिलाध्यक्ष पंकज गुर्जर ने बताया कि इस प्रकार की घटना का होना किसी विशेष क्षेत्र के लिए ही नहीं पूरे देश के लिए शर्मनाक है. एक पांच साल की मासूम बच्ची जिसने अच्छी तरह से चलना पहनना भी नहीं सीखा था, दरिंदे ने उस मासूम को भी नहीं बख्शा. जिला सयुंक्त सचिव अब्दुल कय्यूम ने बताया कि इस प्रकार की घटना से हमें पता चलता है कि उसके मानसिक और मानवीय मूल्य कितने गिर चुके हैं, जो कि समाज के लिए एक अभिशाप है. छात्रसंघ महासचिव इंतजार अली ने बताया कि यदि जल्द से जल्द आरोपी को सजा नहीं दी गई तो छात्र संगठन एसएफआई बड़े आंदोलन की रूपरेखा तैयार करेगा, जिसकी सम्पूर्ण जिम्मेदारी प्रशासन की होगी.