झुंझुनू. नवसृजित नीमकाथाना जिले में गुढ़ागौड़जी तहसील की 24 ग्राम पंचायतों को शामिल करने को लेकर अब विरोध शुरू हो गया है. शनिवार को गुढ़ागौड़जी में 24 ग्राम पंचायतों की महापंचायत बुलाई गई. जिसमें गुढ़ागौड़जी बचाओ संघर्ष समिति के आह्वान पर हजारों की तादाद में महिलाएं और पुरुष शामिल हुए. इस दौरान सभी ने संकल्प लिया कि वो किसी भी सूरत में इस तहसील को झुंझुनू जिले से अलग नहीं होने देंगे.
इस महापंचायत को गुढ़ा व्यापार मंडल, शिक्षण संस्थाओं सहित अनेक संगठनों ने समर्थन दिया. महापंचायत को लेकर जिला प्रशासन ने भी सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए थे. हालांकि, बड़ी तादाद में पहुंची भीड़ के कारण कुछ समय के लिए कस्बे में जाम की स्थिति बन गई. जिसकी वजह से बाहर से आने वाले वाहनों को डायवर्ट कर वहां से निकाला गया. वहीं, महापंचायत के बाद संघर्ष समिति और जिला प्रशासन के मध्य वार्ता हुई. जिसमें संघर्ष समिति की मांगों को सरकार तक पहुंचाने के साथ ही आगामी सात अप्रैल तक उचित आश्वासन दिए जाने की बात कही गई.
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इसके बाद महापंचायत को स्थगित किया गया. संघर्ष समिति के पदाधिकारियों ने कहा कि अगर तय समय पर कोई लिखित आश्वासन नहीं दिया गया तो वो आगे आंदोलन के लिए मजबूर होंगे. इस दौरान मौके पर मौजूद रहे पूर्व विधायक शुभकरण चौधरी ने कहा कि झुंझुनू जिले से गुढ़ा तहसील करीब 20 किलोमीटर दूर है. वहीं, नवसृजित नीमकाथना 60 से 70 किलोमीटर पड़ता है. ऐसे में न ही वहां जाने के आवागमन के साधन है और न ही भौगोलिक दृष्टि से इस क्षेत्र से मेल खाता है. यही वजह है कि यहां के लोग इसका विरोध कर रहे हैं. वहीं, युवा जाट महासभा के अध्यक्ष नरेंद्र कुमार ने कहा कि संघर्ष समिति कई दिनों से इन ग्राम पंचायतों में जनसंपर्क कर रही थी. सभी लोगों ने नीमकाथाना में जाने का विरोध किया है. इसी को लेकर शनिवार को महापंचायत बुलाई गई थी. जिसमें हजारों की तादाद में लोग शामिल होकर अपना विरोध दर्ज कराए हैं.