पोकरण (जैसलमेर). कस्बे के लाठी थाना क्षेत्र में लाठी फील्ड फायरिंग रेंज में तैनात सेना के जवानों पर एक चरवाहे की पीट-पीटकर हत्या (Army soldiers accused of killing the shepherd) करने का गंभीर आरोप लगाया गया है. मृतक के परिजनों ने ही जवानों पर यह आरोप लगाया है. मामले में 6 जवानों के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है. वहीं, परिजन आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग को लेकर एसडीएम कार्यालय के बाहर शव रखकर प्रदर्शन कर रहे थे. 30 घंटे बाद कैबिनेट मंत्री सालेह मोहम्मद ने मृतक के परिजनों से दूरभाष पर वार्ता करते हुए सरकारी लाभ दिलाने का आश्वासन देने के बाद वार्ता सफल हुई.
समझौता वार्ता सफल होने के बाद गमगीन माहौल में परिजन व कौम के लोग शव अपने घर के लिए रवाना हुए. देर रात जैसलमेर जिला कलेक्टर टीना डाबी और एसपी भंवरसिंह नाथावत धरना स्थल पहुंच परिजनों से वार्ता करते हुए शव का पोस्टमार्टम करवाया था. फिर भी परिजनों ने शव लेकर एसडीएम कार्यालय पहुंचकर धरना शुरू कर दिया था. तीन मुख्य मांगों पर मृतक के परिजनों और प्रशासनिक अधिकारियों के बीच सहमति बनने के बाद प्रशासन ने राहत की सांस ली.
शव का पोस्टमार्टम करके चिकित्सा विभाग ने एफएसएल के लिए वीसरा मेडिकल टीम (Jaisalmer Shepherd Murder Case) को भेज दिए हैं. पोकरण एसडीएम कार्यालय परिसर में पोकरण, सांकड़ा, भणियाणा, रामदेवरा, नोख सहित जिलेभर का पुलिस जाप्ता, आरएसी, बाड़मेर व जोधपुर जिले आया. बता दें कि चरवाहे सलमानखां की शादी दो माह पूर्व हुई थी. इस घटना की जानकारी मिलते ही क्षेत्र में शोक की लहर छा गई.
कल से चलता रहा वार्ता का दौर : कल यानि सोमवार से लगातार मृतक के परिजनों और प्रशासनिक अधिकारियों के बीच समझौता वार्ता का दौर चलता रहा. पहले परिजनों ने सेना के जवानों के खिलाफ मामला दर्ज कराने की मांग की थी. तब तत्काल पोकरण सीओ मोटाराम चौधरी ने लाठी एसएचओ को निर्देश देकर धारा 302 के तहत 6 सेना के जवानों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था. मामला दर्ज करने के बाद प्रशासनिक अधिकारियों ने धरना स्थल पहुंच जानकारी देकर शव का पोस्टमार्टम के लिए कहा तब परिजन 6 सूत्री की मांगों पर अड़ गए थे. आखिरकार देर रात जिला कलेक्टर और एसपी ने मौके पर पहुंचकर वार्ता की. जिला कलेक्टर और एसपी की समझाइश के बाद शव का देररात्रि को पोस्टमार्टम पोकरण में करवाया गया. शव का पोस्टमार्टम करके फिर मोर्चरी से शव लेकर परिजन एसडीएम कार्यालय के आगे पहुंच गए और धरना शुरू कर दिया.
सुबह एसडीएम राजेश बिश्नोई धरना स्थल पहुंचे और परिजनों से वार्ता की लेकिन बेनतीजा रही. दोपहर में पूर्व जिला प्रमुख अब्दुला फकीर की मध्यस्यता से प्रशासनिक अधिकारियों के बीच समझौता वार्ता चली. करीब 30 घंटे के बाद समझौता वार्ता सफल हुई, इसके बाद पुलिस प्रशासन ने राहत की सांस ली.
इन बिंदुओं पर हुई सहमति
- चरवाहा मृतक सलमानखां प्रकरण की जांच निष्पक्ष तरीके से करते हुए आरोपियों के खिलाफ 10 दिन में सख्त कार्रवाई का आश्वासन दिया गया.
- मृतक के परिजनों को 50 लाख की आर्थिक राशि का मुआवजा दिलाने के लिए राज्य सरकार तक जिला कलेक्टर के माध्यम फाइल भेजी जाएगी.
- मृतक के दो परिजनों को सरकारी नौकरी के लिए राज्य सरकार तक जिला कलेक्टर के माध्यम फाइल भेजी जाएगी.
यह है पूरा मामला : पोकरण के लाठी थाना क्षेत्र में फिल्ड फायरिंग रेंज क्षेत्र में गायों को ढूंढने गए एक चरवाहे की सेना के जवानों द्वारा पीट-पीटकर हत्या का आरोप लगाते हुए सैंकड़ों लोगों ने पोकरण एसडीएम कार्यालय के आगे बवाल मचा दिया. परिजनों ने आरोप लगाया कि लाठी थाना क्षेत्र में गायों को ढूंढने लाठी गांव निवासी सलमान और उस्मान रेंज एरिया में गए थे, तभी गार्ड की एक टीम ने सलमान नामक चरवाहे को पकड़कर उसके साथ मारपीट कर दिया. इस मारपीट में गंभीर घायल चरवाहे ने पोकरण अस्पताल में दम तोड़ दिया. चरवाहे की हत्या के मामले ने तूल पकड़ लिया, जिसके बाद पोकरण अस्पताल परिसर में दो-तीन घंटे शव रखकर लोगों ने विरोध किया, फिर शव को पेटी में पैक करके पोकरण एसडीएम कार्यालय के आगे रखकर विरोध-प्रदर्शन शुरू कर दिया.
परिजनों की पहली मांग पर पुलिस ने धारा 302 में 6 सेना के जवानों के खिलाफ मामला दर्ज करके जांच शुरू कर दी है. इस दौरान कई बार समझौते की कोशिश हुई, लेकिन बेनतीजा रही वहीं पूर्व जिला प्रमुख अब्दुला फकीर ने परिजनों की तरफ से प्रशासन के सामने पैरवी की, लेकिन वार्ता विफल रही. परिजनों ने मांग की है कि कल सुबह जैसलमेर जिला कलेक्टर व एसपी धरनास्थल पहुंच हमारी मांगों सूनकर कठोर कार्रवाई करें. 50 लाख का मुआवजा, दो परिजनों को सरकारी नौकरी दिलाने सहित 6 सूत्री मांगे रखी है. वहीं, परिजनों ने कहा कि फिर शव का पोस्टमार्टम करवाया जाएगा.