जयपुर. पिछले 10 दिन से धरना दे रही पुलवामा शहीदों की वीरांगनाओं ने गुरुवार को एक बार फिर मुख्यमंत्री आवास की तरफ कूच किया. लेकिन उन्हें राजभवन चौराहे पर ही पुलिस ने रोक लिया. इस दौरान वीरांगनाओं ने पुलिस के आगे मुंह में हरी घास लेकर नतमस्तक होकर गुहार लगाई और कहा कि वह अपनी मांग को लेकर मुख्यमंत्री तक जाना चाहती हैं. उन्हें मुख्यमंत्री से मिलने दिया जाए.
सीएम से मिलने की मांग : दरअसल पिछले 10 दिन से राज्यसभा सांसद किरोड़ी लाल मीणा के साथ शहीदों की तीन वीरांगनाएं राजधानी जयपुर में धरने पर बैठी हैं. पहले 7 दिन शहीद स्मारक पर धरना देने के बाद पिछले 3 दिन से पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट के बंगले के बाहर भी वीरांगनाओं ने धरना दिया. गुरुवार दोपहर 3:00 बजे किरोड़ी लाल मीणा के नेतृत्व में एक बार फिर शहीदों की वीरांगनाओं ने मुख्यमंत्री आवास की ओर कूच किया, जहां पुलिस ने उन्हें रोक लिया.
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मुंह में हरी घास लेकर दंडवत निवेदन : मुख्यमंत्री से मुलाकात के लिए जा रही वीरांगनाओं को पुलिस ने रोक लिया. इस कार्रवाई के बाद वीरांगनाओं ने आदिवासी परंपरा के अनुसार मुंह में हरी घास लेकर पुलिस से दंडवत होकर निवेदन किया कि उन्हें मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से मिलने दिया जाए. दरअसल आदिवासी समाज में परंपरा है कि किसी भी फरियाद या विनती को मुंह में हरी घास (दूब) लेकर करने से वो पूरी होती है.
10 दिनों से चल रहा धरना : वीरांगनाओं ने कहा कि हमें 10 दिन हो गए धरने पर बैठे हुए. बेमौसम बारिश में हम भीग रहे हैं, लेकिन प्रदेश की गहलोत सरकार इस कदर गूंगी-बहरी हो चुकी है कि उन्हें हमारी मांग सुनाई नहीं दे रही है. इसलिए हम सीएम गहलोत से मिलने के लिए उनके आवास पर जा रहे हैं, लेकिन पुलिस ने एक बार फिर तानाशाही रुख अपनाते हुए हमें रोक लिया. हमे सीएम से मिलने नहीं दिया जा रहा है.
वीरांगनाओं ने बताया कि उनकी प्रमुख मांग है पति के बाद मिलने वाली नौकरी देवर को दी जाए. इसके साथ ही सांगोद चौराहे पर शहीद की मूर्ति लगाई जाए. उन्होंने कहा कि ये छोटी सी मांग सरकार नहीं मान रही है. किरोड़ी लाल मीणा ने कहा कि बड़ा दुर्भाग्य है कि राजस्थान की वीरांगनाओं को अपनी चुनी हुई सरकार के नेता से मिलने के लिए गुहार लगाना पड़ रहा है. सरकार इस कदर गूंगी-बहरी हो चुकी है कि उन्हें इन वीरांगनाओं के आंसू भी दिखाई नहीं दे रहे हैं. मीणा ने कहा कि जब तक सरकार उनकी मांगों को पूरा नहीं करती धरना जारी रहेगा.