जयपुर. जिला कलेक्टर जगरूप सिंह यादव ने सामोद वीर हनुमान महाराज मंदिर के श्रद्धालुओं को मंदिर तक पहुंचाने वाले रोपवे को बंद कर दिया गया है. जिला कलेक्टर यादव का कहना रहा कि रोपवे को बिना लाइसेंस ही शुरू कर दिया गया था. उन्होंने बिना अनुमति रोपवे शुरू करने के मामले में स्पष्टीकरण मांगा है. नांगल बड़ा स्थित सीतारामजी एवं वीर हनुमान महाराज मंदिर के महंत एवं ट्रस्टी अवध बिहारी दास महाराज से यह स्पष्टीकरण मांगा है.
कलेक्टर यादव ने बताया कि रोपवे का बिना अनुज्ञा संचालन राजस्थान रज्जू अधिनियम 1996 का उल्लंघन है. जिला कलेक्टर की ओर से स्पष्टीकरण के संबंध में जारी पत्र में महंत व ट्रस्टी को पाबंद किया गया है कि इस अधिनियम के अनुसार आवेदन एवं प्रक्रिया का पालन करते हुए जिला मजिस्ट्रेट से रोपवे संचालन का लाइसेंस प्राप्त करने के बाद ही इस रोपवे का संचालन करें अन्यथा नियमानुसार कार्रवाई अमल में लाई जाएगी.
राजस्थान रज्जू अधिनियम 1996 की धारा 7 के अनुसार आवेदन करते हुए नियमानुसार मुख्य निरीक्षक (रोपवे) की रिपोर्ट के बाद जिला मजिस्ट्रेट द्वारा लाइसेंस प्रदान करने के संबंध में आगामी कार्रवाई की जाती है. इसके बाद लाइसेंस में वर्णित शर्तों के तहत रोपवे का संचालन आमजन के उपयोग के लिए किया जा सकेगा.
चौमूं विधायक रामलाल शर्मा का कहना है कि रोपवे संचालित करने वाली कंपनी ने औपचारिकताएं पूरी करने के बाद ही रोपवे का संचालन शुरू किया था. पीडब्ल्यूडी के इंजीनियरों से भी पूरी जांच कराई गई थी. रामलाल शर्मा के अनुसार जिला कलेक्टर का कहना है कि पीडब्ल्यूडी के एक्सईएन व एईएन सिविल इंजीनियर है, लेकिन अब रोपवे की पीडब्ल्यूडी के टेक्निकल इंजीनियरों से जांच करानी चाहिए.
उन्होंने कहा कि इसके लिए रोपवे को बंद करना गलत है. यह काम जिला कलेक्टर एक नोटिस देकर भी करवा सकते हैं. शर्मा ने कहा कि रोपवे बंद होने से श्रद्धालुओं को भगवान के दर्शन करने में दिक्कतें हो रही है. उन्होंने मांग की है कि जिला कलेक्टर को तत्काल रोक हटा देनी चाहिए. ताकि बुजुर्ग इस रोपवे का इस्तेमाल कर भगवान के दर्शन कर सकें.