जयपुर. राजधानी जयपुर के सांगानेर इलाके में व्यवसायी हरजेश नाराणिया से पांच करोड़ रुपए की रंगदारी मांगने और फायरिंग के लिए बदमाशों को हथियार मुहैया करवाने वाले आरोपी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी की शिनाख्त रोहित गोदारा गैंग के बदमाश शिवराज सिंह तोलियासर के रूप में हुई है. पुलिस की ओर से बताया गया कि आरोपी शिवराज रोहित गोदारा गैंग के लिए कम्युनिकेशन नेटवर्क बनाने का काम करता था. साथ ही वो कंप्यूटर साइंस में बीटेक डिग्री होल्डर है.
पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव ने बताया कि पांच करोड़ की फिरौती नहीं देने पर व्यवसायी हरजेश नाराणिया पर इस साल फरवरी में फायरिंग करने आए शूटर धर्मेंद्र उर्फ मोची और मनीष उर्फ कबूतर को जयपुर में रुकवाने और हथियार मुहैया करवाने का काम शिवराज सिंह ने किया था. उसने अपने दोस्त युधिष्ठिर सिंह के मार्फत दोनों शूटर्स को मानसरोवर में रुकवाया था. शिवराज ने ही युधिष्ठिर के पास 4 पिस्टल, 8 मैगजीन और 40 राउंड भिजवाए थे, जो उसने शूटर्स को दिए थे और उन्हें पिस्टल चलाने का प्रशिक्षण भी दिया था. ये दोनों शूटर हरजेश नाराणिया को फिरौती के लिए धमकाने के लिए उसकी गाड़ी पर फायरिंग करने वाले थे. लेकिन पुलिस बंदोबस्त देखकर वारदात नहीं कर पाए. बाद में पुलिस को भनक लगी तो दोनों को दिल्ली से गिरफ्तार कर लिया गया था.
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गैंग का सक्रिय बदमाश, रोहित का खास दोस्त भी - अतिरिक्त पुलिस आयुक्त कैलाशचंद विश्नोई ने बताया कि शिवराज सिंह तोलियासर झुंझुनू का रहने वाला है और रोहित गोदारा गैंग का सक्रिय बदमाश है. वह रोहित गोदारा का खास दोस्त भी है. उसने कंप्यूटर साइंस में बीटेक किया है. गोदारा गैंग उसे कम्युनिकेशन नेटवर्क के लिए काम में लेती है. हालांकि, सांगानेर फिरौती मामले में नाम आने के बाद से ही वो फरार चल रहा था. उसके जयपुर आने की सूचना मिलने पर जयपुर कमिश्नरेट की एसआईटी ने मंगलवार को उसे कालवाड़ रोड से गिरफ्तार कर लिया. फिलहाल सांगानेर थाना पुलिस उससे पूछताछ कर रही है.
शिप्रा पथ पुलिस पहले भी कर चुकी गिरफ्तार - प्रारंभिक पड़ताल में सामने आया है कि धौलपुर निवासी ठेकेदार नरेंद्र शर्मा ने एक पार्टी को सड़क बनाने का ठेका दिया था. उसके और दूसरी पार्टी के बीच 17 करोड़ रुपए का विवाद चल रहा था. इस मामले में नरेंद्र शर्मा से रुपए मांगने वालों ने रोहित गोदारा से संपर्क किया था. इस मामले में नरेंद्र शर्मा को धमकी देने के लिए उसके विरोधी और रोहित गोदारा की मीटिंग शिवराज सिंह के फ्लैट पर ही हुई थी. इसके बाद रोहित ने कई बार नरेंद्र को कॉल कर धमकी दी तो मामला पुलिस तक पहुंचा और शिवराज सहित 12 आरोपियों को पुलिस ने पिछले साल गिरफ्तार किया गया. इसके एक महीने बाद उसकी जमानत हो गई थी.