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AICC के कारण बताओ नोटिस का शांति धारीवाल ने दिया जवाब, दिव्या बोली- तोबा! तोबा!

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Published : Oct 8, 2022, 8:59 AM IST

राजस्थान में 25 सितंबर को विधायक दल की बैठक (Congress Legislature Meeting) के समानांतर बैठक बुलाने के मामले में महेश जोशी, शांति धारीवाल और धर्मेंद्र राठौड़ को कारण बताओ नोटिस जारी किए गए थे. मंत्री धारीवाल ने नोटिस का जवाब भेज (Dhariwal replied to AICC show cause notice) दिया है, जिसमें कांग्रेस आलाकमान को सर्वोपरि माना है. वहीं, इसके बाद ओसियां विधायक दिव्या मदेरणा ने ट्वीट कर निशाना साधा है.

Dhariwal replied to AICC show cause notice
शांति धारीवाल

जयपुर. 25 सितंबर को विधायक दल की बैठक के समानांतर बैठक बुलाने के मामले में मुख्य सचेतक महेश जोशी, मंत्री शांति धारीवाल और आरटीडीसी चेयरमैन धर्मेंद्र राठौड़ को कारण बताओ नोटिस (AICC show cause notice) जारी किए गए थे. इनमें से मंत्री शांति धारीवाल ने खुद को मिले कारण बताओ नोटिस का जवाब कांग्रेस आलाकमान को भेज दिया है.

आलाकमान को माना सर्वोपरि- जानकारों की मानें तो धारीवाल ने अपने जवाब में आलाकमान को न केवल सर्वोपरि माना है बल्कि यह भी कहा है कि 25 सितंबर को कोई भी समानांतर बैठक उनके निवास पर विधायकों को फोन कर नहीं बुलाई गई. उन्होंने कहा है कि विधायकों में अविश्वास होने के कारण वे स्वविवेक से उनके निवास पर चर्चा करने पहुंच गए थे.

पढ़ें- विधायकों की समानांतर बैठक मामले में महेश जोशी को अब मिला नोटिस, धारीवाल और राठौड़ ने भेजा जवाब

मेरा आलाकमान में पूरा विश्वास- धारीवाल ने अपने नोटिस के जवाब में लिखा है कि मैं आलाकमान में पूरा विश्वास करता हूं और विधायक दल की बैठक के समानांतर में हमने कोई बैठक नहीं की बल्कि विधायक सिर्फ चर्चा के लिए इकट्ठा हुए थे. क्योंकि विधायक दल की बैठक से पहले MLA में यह अविश्वास पनपा की उनकी इच्छा-रायशुमारी के बिना बड़ा बदलाव किया जा रहा है. जबकि विधायकों की पसंद सीएम अशोक गहलोत हैं और वो सर्वमान्य नेता हैं. इसलिए इस अविश्वास के चलते ही वो CMR में बैठक में नहीं गए.

पढ़ें- Rajasthan Political Crisis: धारीवाल, जोशी और राठौड़ को नोटिस की मियाद पूरी, कांग्रेस आलाकमान के एक्शन पर नजर

विधायक नाराजगी के कारण एकत्रित हुए थे- खुद विधायक इस नाराजगी के चलते मेरे आवास पर एकत्रित हुए थे. किसी के इशारे पर वो बिल्कुल भी नहीं चल रहे थे और न ही किसी को फोन किया गया कि आप मेरे आवास पर आओ. सब सूचना मिलने पर अपने विवेक से वहां इकट्ठा हुए थे. ऐसे में सभी ने आहत होकर भारी मन से इस्तीफा देने का कदम उठाया, लेकिन किसी भी विधायक ने आलाकमान के खिलाफ एक शब्द भी नहीं बोला.

  • तोबा ! तोबा ! चर्चा से इस्तीफ़े तक का सफ़र और उस के मध्य वहाँ आलाकमान के ख़िलाफ़ बयानबाज़ी - ग़ज़ब तरीक़ा है आलाकमान में पूरा विश्वास जताने का । https://t.co/tCaujvH3Rk

    — Divya Mahipal Maderna (@DivyaMaderna) October 7, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

पढ़ें- नोटिस पाने वाले गहलोत समर्थक धर्मेंद्र राठौड़ ने पायलट को बताया गद्दार

दिव्या मदेरणा ने किया ट्वीट- इधर, जब धारीवाल के जवाब की बातें सोशल मीडिया पर चलने लगी तो विधायक दिव्या मदेरणा (Divya Maderna targets Shanti Dhariwal) जो धारीवाल और महेश जोशी को लगातार समानांतर बैठक बुलाने पर घेर रही हैं उन्होंने वह बयान याद दिलाए हैं जो 25 सितंबर को नेताओं की ओर से दिए गए थे. उन्होंने ट्वीट कर कहा कि तोबा ! तोबा ! चर्चा से इस्तीफे तक का सफ़र और उस के मध्य वहां आलाकमान के खिलाफ बयानबाजी - गजब तरीका है आलाकमान में पूरा विश्वास जताने का.

जयपुर. 25 सितंबर को विधायक दल की बैठक के समानांतर बैठक बुलाने के मामले में मुख्य सचेतक महेश जोशी, मंत्री शांति धारीवाल और आरटीडीसी चेयरमैन धर्मेंद्र राठौड़ को कारण बताओ नोटिस (AICC show cause notice) जारी किए गए थे. इनमें से मंत्री शांति धारीवाल ने खुद को मिले कारण बताओ नोटिस का जवाब कांग्रेस आलाकमान को भेज दिया है.

आलाकमान को माना सर्वोपरि- जानकारों की मानें तो धारीवाल ने अपने जवाब में आलाकमान को न केवल सर्वोपरि माना है बल्कि यह भी कहा है कि 25 सितंबर को कोई भी समानांतर बैठक उनके निवास पर विधायकों को फोन कर नहीं बुलाई गई. उन्होंने कहा है कि विधायकों में अविश्वास होने के कारण वे स्वविवेक से उनके निवास पर चर्चा करने पहुंच गए थे.

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मेरा आलाकमान में पूरा विश्वास- धारीवाल ने अपने नोटिस के जवाब में लिखा है कि मैं आलाकमान में पूरा विश्वास करता हूं और विधायक दल की बैठक के समानांतर में हमने कोई बैठक नहीं की बल्कि विधायक सिर्फ चर्चा के लिए इकट्ठा हुए थे. क्योंकि विधायक दल की बैठक से पहले MLA में यह अविश्वास पनपा की उनकी इच्छा-रायशुमारी के बिना बड़ा बदलाव किया जा रहा है. जबकि विधायकों की पसंद सीएम अशोक गहलोत हैं और वो सर्वमान्य नेता हैं. इसलिए इस अविश्वास के चलते ही वो CMR में बैठक में नहीं गए.

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विधायक नाराजगी के कारण एकत्रित हुए थे- खुद विधायक इस नाराजगी के चलते मेरे आवास पर एकत्रित हुए थे. किसी के इशारे पर वो बिल्कुल भी नहीं चल रहे थे और न ही किसी को फोन किया गया कि आप मेरे आवास पर आओ. सब सूचना मिलने पर अपने विवेक से वहां इकट्ठा हुए थे. ऐसे में सभी ने आहत होकर भारी मन से इस्तीफा देने का कदम उठाया, लेकिन किसी भी विधायक ने आलाकमान के खिलाफ एक शब्द भी नहीं बोला.

  • तोबा ! तोबा ! चर्चा से इस्तीफ़े तक का सफ़र और उस के मध्य वहाँ आलाकमान के ख़िलाफ़ बयानबाज़ी - ग़ज़ब तरीक़ा है आलाकमान में पूरा विश्वास जताने का । https://t.co/tCaujvH3Rk

    — Divya Mahipal Maderna (@DivyaMaderna) October 7, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

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दिव्या मदेरणा ने किया ट्वीट- इधर, जब धारीवाल के जवाब की बातें सोशल मीडिया पर चलने लगी तो विधायक दिव्या मदेरणा (Divya Maderna targets Shanti Dhariwal) जो धारीवाल और महेश जोशी को लगातार समानांतर बैठक बुलाने पर घेर रही हैं उन्होंने वह बयान याद दिलाए हैं जो 25 सितंबर को नेताओं की ओर से दिए गए थे. उन्होंने ट्वीट कर कहा कि तोबा ! तोबा ! चर्चा से इस्तीफे तक का सफ़र और उस के मध्य वहां आलाकमान के खिलाफ बयानबाजी - गजब तरीका है आलाकमान में पूरा विश्वास जताने का.

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