जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने एमबीबीएस में प्रवेश के लिए नीट 2019 में ओबीसी वर्ग के अभ्यर्थियों को आरक्षण का लाभ देने पर केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय के सचिव, एमसीआई के सचिव, नीट चेयरमैन, राज्य के मुख्य सचिव, प्रमुख सामाजिक न्याय सचिव और नीट काउंसलिंग बोर्ड के चेयरमैन को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है.
न्यायाधीश आलोक शर्मा की एकलपीठ ने यह आदेश समता आंदोलन समिति व अन्य की ओर से दायर याचिका पर प्रारंभिक सुनवाई करते हुए दिए. याचिका में कहा गया कि एमबीबीएस में प्रवेश के लिए नीट 2019 परीक्षा आयोजित की गई. एमबीबीएस में प्रवेश के लिए अभ्यर्थियों की पहली काउंसलिंग भी हो चुकी है, जिसमें ओबीसी वर्ग के अभ्यर्थियों को आरक्षण का लाभ दिया गया है.
जबकि 102 वे संविधान संशोधन के बाद ओबीसी वर्ग की सूची जारी करने का अधिकार राष्ट्रपति को है, लेकिन राष्ट्रपति ने अभी तक ओबीसी की जातियों को अधिसूचित नहीं किया है. ऐसी स्थिति में ओबीसी वर्ग की लिस्ट के अभाव में ओबीसी आरक्षण का मौजूद समय में कोई अस्तित्व ही नहीं है.
ऐसे में केंद्र व राज्य सरकार के संस्थानों में ओबीसी को आरक्षण का लाभ नहीं दिया जाना चाहिए. याचिका ने गुहार की गई है कि ओबीसी वर्ग को आरक्षण दिए बिना एमबीबीएस में प्रवेश दिया जाए. जिस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है.