जयपुर. पॉक्सो मामलों की विशेष अदालत क्रम-3 महानगर द्वितीय ने नाबालिग का अपहरण कर उसके साथ दुष्कर्म करने वाले अभियुक्त बाबूलाल उर्फ शिवा को दस साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई है. इसके साथ ही अदालत ने अभियुक्त पर 58 हजार रुपए का आर्थिक जुर्माना भी लगाया है. वहीं अदालत ने इस अपराध में सहयोग करने वाली एक महिला विमला को भी यही सजा सुनाई है. अदालत ने इस प्रकरण में विमला के प्रेमी सुभाष कुमार को बरी कर दिया है.
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नाबालिग का विवाह भी अवैधः अदालत ने अपने आदेश में कहा कि नाबालिग की सहमति कानून में कोई महत्व नहीं रखती है और उनका विवाह भी अवैध है. अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक ललिता संजीव महरवाल ने अदालत को बताया कि 12 वर्षीय पीड़िता अभियुक्त विमला की परिचित थी. पांच जुलाई 2018 की रात को विमला और पीड़िता मुख्य अभियुक्त बाबूलाल और सुभाष कुमार के साथ किराये के मकान से कहीं चली गईं थीं. इस पर पीड़ित नाबालिग के पिता ने 6 जुलाई को थाने में FIR दर्ज करा दी थी.
आरोपी महिला और सुभाष के थे प्रेम संबंधः पिता द्वारा दायर कराई गई इस रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने 23 जुलाई को तीनों को गिरफ्तार कर नाबालिग को बरामद कर लिया था. पुलिस की जांच-पड़ताल में पता चला कि विमला और सुभाष के प्रेम संबंध थे और दुष्कर्मी बाबूलाल की भी सुभाष से दोस्ती थी. नाबालिग को बहला फुसलाकर अपने साथ ले जाने के बाद उसकी बाबूलाल के साथ शादी भी करा दी थी. अभियोजन पक्ष की ओर पेश गवाहों के आधार पर अदालत ने दोनों अभियुक्तों को उक्त सजा सुनाई है.