जयपुर. हेरिटेज नगर निगम में समितियों का गठन नहीं होने से खफा निर्दलीय और कांग्रेसी पार्षद अब भूख हड़ताल (Protest in Nagar Nigam Heritage ) पर बैठेंगे. पार्षदों ने समितियां नहीं बनाने के पीछे सरकार की मंशा पर सवाल उठाते हुए इस संबंध में पहले सीएम अशोक गहलोत से गुहार लगाने और फिर भी सुनवाई नहीं होने पर भूख हड़ताल की चेतावनी दी है. भूख हड़ताल के बावजूद सुनवाई नहीं होती है तो फिर निर्दलीय पार्षद बड़ा फैसला लेने के लिए स्वतंत्र हैं.
वार्ड 26 से पार्षद प्रतिनिधि गफूर मंसूरी ने सरकार की मंशा पर सवाल उठाते हुए कहा कि समितियों के नहीं बनाने (Councillors will appeal to CM Gehlot) के पीछे सरकार की क्या मंशा है? वर्किंग कमेटियों का गठन नहीं होने के कारण चुने हुए जनप्रतिनिधि काम नहीं कर पा रहे हैं. वहीं वार्ड 60 से कांग्रेस पार्षद मोहम्मद फारूख ने चेतावनी देते हुए कहा कि सरकार ने अगले तीन दिन में समितियां नहीं बनाई तो मुख्यमंत्री के सामने अपनी बात रखेंगे. फिर भी सुनवाई नहीं होती हैं तो पार्षद भूख हड़ताल पर बैठेंगे.
वहीं वार्ड 30 से पार्षद प्रतिनिधि हाजी नवाब चिरानियां ने कहा कि भूख हड़ताल के बाद निर्दलीय पार्षद (Nigam Councillors threatens of Hunger Strike) बड़ा निर्णय लेने के लिए भी स्वतंत्र हैं. निर्दलीय पार्षदों के इस बड़े फैसले को कांग्रेस बोर्ड से हाथ खींचने के तौर पर देखा जा रहा है. 2 साल पहले कांग्रेस ने निर्दलीय पार्षदों के साथ मिलकर हेरिटेज निगम में मुनेश गुर्जर को महापौर बनाया था. लेकिन 2 साल बीतने के बावजूद संचालन समितियां नहीं बन पाई हैं.
इसके चलते अब कांग्रेस पार्षद और निर्दलीय पार्षद स्थानीय विधायकों का खुलकर विरोध कर रहे हैं. आलम ये है कि 2 दिन पहले धरना स्थल पर पहुंचे मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास और विधायक अमीन कागजी की समझाइश के बावजूद इस बार पार्षदों ने धरना खत्म नहीं किया. अब विधायकों से ऊपर उठकर पार्षद मुख्यमंत्री का दरवाजा खटखटाने जा रहे हैं. हालांकि धरने में अब तक सिविल लाइंस विधानसभा के पार्षद शामिल नहीं हुए हैं.