जयपुर. जिला निर्वाचन विभाग ने लोगों को मतदान के लिए जागरूक करने के लिए अलग-अलग तरह के कार्यक्रम आयोजित करवा रहा है. जिला निवाचन विभाग ने लोगों को मतदान के लिए जागरूक करने के लिए शुभंकर भी बनाए हैं. छोटकी और वोटकी के नाम से बनाए गए शुभंकर जनता के बीच आकर्षण का केंद्र बने हुए हैं.
दरअसल छोटकी एक छोटी बच्ची है और वोटकी एक लड़की है जो 18 साल पूरी कर चुकी है. उसे पहला वोट डालने की अपार खुशी है. छोटकी जनता की तरफ से कुछ जिज्ञासा वाले सवाल पूछती है, इन सवालों के जवाब जनता के लिए महत्वपूर्ण होते हैं. छोटकी और वोटकी नुक्कड़ नाटक और अन्य कार्यकर्मो के जरिए लोगों को मतदान के लिए जागरूक कर रही है. उसकी जिज्ञासाओं को वोटकी जवाब देकर शांत कर रही है. दोनों स्कूल कॉलेजों और चौपाल लगाकर मतदान के लिए प्रेरित कर रही है, उन्हें वोट का महत्व भी समझा रही है. ये जागरूकता स्लोगन आईपीए मैचों में भी लोगों को वोट के महत्व को बताकर उन्हें मतदान करने के लिए प्रेरित किया जा रहा है.
छोटकी के कई सवाल होते हैं जैसे ईवीएम क्या है? बूथ क्या होता है? मतदान कहाँ करना है? मतदान की उम्र क्या है? और कौन कौन से पहचान पत्र बूथ पर लेकर जा सकते हैं? इस तरह के कई सवाल छोटकी वोटकी से करती है और वोट की उन सवालों के जवाब देती है. इससे जनता को मतदान की जानकारी आसानी से प्राप्त हो रही है.
जिला परिषद की मुख्य कार्यकारी अधिकीरी भारती दीक्षित ने बताया कि यह पहला अनोखा प्रयोग है. जयपुर जिले सहित पूरे प्रदेश में 18 साल के उम्र के पहली बार वोट देने वाले वोटरों की संख्या ज्यादा है. इन नव मतदाताओं पर ज्यादा फोकस किया जा रहा है ताकि मतदान का प्रतिशत बढ़ सके. भारतीय दीक्षित ने कहा की अंबे महिलाओं को पर भी फोकस किया है और उनके लिए टैगलाइन ही बनाई है कि ' जो महिलाएं घर चला सकती है वह देश भी चला सकती हैं'. इसलिए महिलाओं का मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए उनको भी प्रेरित किया जा रहा है.
महत्वपूर्ण स्लोगन जो मतदाताओं को जागरुक करने रहे हैं-
- उम्र अठारह खुशी अपार वोट करेंगे पहली बार
- जीवन सादा मजबूत इरादा राजस्थानी करता पक्का इरादा
- जिसका वोटर लिस्ट में लिखा हुआ है नाम डाले वोट अवश्य छोड़ घरेलू काम
- बात सत्य यह सौ टका बेशकीमती है वोट इसे करो बदनाम मत, लेकर के कुछ नोट
- चूक न जाना मित्रवर करने में मतदान मतदाता के हाथ में रक्षित हिंदुस्तान
- घर में बैठे ना रहे जिस दिन हो मतदान मतदाता ही देश के हैं असली भगवान
- सबसे न्यारा सबसे निका लोकतंत्र का नीला टीका
- मतदान......... महादान
- लोकतंत्र में है मतदाता भारत भाग्य विधाता
- इसमें शंका नहीं है लेश, एक वोट बनाएं देश
- गीता, बाईबिल और कुरान इन जैसा पावन मतदान
- छोटकी आचार संहिता है कांई, माँन्हे भी समझाओ वोटकी या लक्ष्मण रेखा चुनाव की, इं पार न जाओ
- हम जागेंगे और साथ में मतदाता जाग जाएगा भारत का लोकतंत्र तब सचमुच में मुस्काएगा