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Nexa Evergreen Dholera Controversy : राठौड़ ने जांच की बत कही थी तो डोटासर ने भी कर दी सिफारिश, यह है पूरा मामला - Nexa Evergreen Dholera Controversy

राजेंद्र राठौड़ ने नेक्सा एवरग्रीन कंपनी के फर्जीवाड़े की जांच एसओजी से करवाने की मांग रखी थी. शुक्रवार को डोटासरा ने भी कह दिया कि इस कंपनी की जांच एसओजी से हो. क्या है पूरा ममला ? यहां समझिए...

Govind Dotasra on Rajendra Rathore
पीसीसी चीफ डोटासरा
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Published : Feb 3, 2023, 10:46 PM IST

जयपुर. नेक्सा एवरग्रीन धोलेरा कंपनी के फर्जीवाड़े का मामला राजस्थान विधानसभा के उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने गुरुवार को विधानसभा में उठाया था. राठौड़ ने सीकर के लक्ष्मणगढ़ से आरोपियों के होने के चलते प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा पर कटाक्ष किया था. उस नेक्सा एवरग्रीन कंपनी की जांच गोविंद सिंह डोटासरा ने पुलिस महानिदेशक को पत्र लिख एसओजी से करवाने की मांग की है. डोटासरा ने अपने पत्र में लिखा है कि इस कंपनी द्वारा जमीन में निवेश पर अच्छे मुनाफे का लालच देकर प्रदेश में हजारों लोगों के साथ करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी करने का मामला सामने आया है.

इस जालसाजी के कुछ चेहरों का सीकर जिले से संबंध होने के कारण वहां के मासूम किसानों ने अपने घर-जमीन, जेवर, ट्रैक्टर आदि गिरवी रखकर मेहनत से कमाई हुई अपनी पूंजी इस कंपनी में निवेश की, जिसे लेकर कंपनी के संचालक फरार हैं. डोटासरा ने कहा कि बहुत बड़ी संख्या में सरकारी कर्मचारियों का भी इस जालसाजी में फंसने की खबरें हैं. ऐसे में इस पूरे प्रकरण में ठगी की राशि, प्रकरण की प्रकृति और ठगों के दूसरे राज्यों या विदेशों से जुड़े संभावित संबंधों को देखते हुए इस मामले की जांच एसओजी या सक्षम स्तर पर करवाई जानी चाहिए.

Govind Dotasra on Rajendra Rathore
डोटासरा का ट्वीट...

पढ़ें : राजेंद्र राठौड़ का गहलोत-पायलट पर कटाक्ष, 'किस्सा कुर्सी का फिल्म में एक नायक और एक खलनायक'

आपको बता दें कि गुरुवार को विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौर ने यह मामला उठाते हुए कहा था कि नेक्सा एवरग्रीन कंपनी 20 हजार लोगों के 780 करोड़ रुपये लेकर फरार हो गई. इस कंपनी का रजिस्टर्ड ऑफिस सीकर के पिपराली में था, लेकिन आज भी कंपनी की संपत्ति जब्त नहीं की गई है, ना गाड़ियां जब्त की गई हैं और ना कपंनी का अकाउंट जब्त किया गया. राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि सुभाष बिजारणिया इस कंपनी का कर्ताधर्ता है जो पहले फर्जी डिग्रियों के काम में लिप्त था. इस कंपनी ने गुजरात में एयरपोर्ट बनाने वाली कंपनी बताकर सबको फंसाया. ऐसी स्थिति में एसओजी इस मामले की जांच करे. इस मामले में सदन में राजेंद्र राठौड़ और गोविंद डोटासरा के बीच नोकझोंक भी हुई थी. अब उसी मामले को लेकर डोटासरा ने एसओजी से मामले की जांच करवाने की मांग रखी है.

जयपुर. नेक्सा एवरग्रीन धोलेरा कंपनी के फर्जीवाड़े का मामला राजस्थान विधानसभा के उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने गुरुवार को विधानसभा में उठाया था. राठौड़ ने सीकर के लक्ष्मणगढ़ से आरोपियों के होने के चलते प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा पर कटाक्ष किया था. उस नेक्सा एवरग्रीन कंपनी की जांच गोविंद सिंह डोटासरा ने पुलिस महानिदेशक को पत्र लिख एसओजी से करवाने की मांग की है. डोटासरा ने अपने पत्र में लिखा है कि इस कंपनी द्वारा जमीन में निवेश पर अच्छे मुनाफे का लालच देकर प्रदेश में हजारों लोगों के साथ करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी करने का मामला सामने आया है.

इस जालसाजी के कुछ चेहरों का सीकर जिले से संबंध होने के कारण वहां के मासूम किसानों ने अपने घर-जमीन, जेवर, ट्रैक्टर आदि गिरवी रखकर मेहनत से कमाई हुई अपनी पूंजी इस कंपनी में निवेश की, जिसे लेकर कंपनी के संचालक फरार हैं. डोटासरा ने कहा कि बहुत बड़ी संख्या में सरकारी कर्मचारियों का भी इस जालसाजी में फंसने की खबरें हैं. ऐसे में इस पूरे प्रकरण में ठगी की राशि, प्रकरण की प्रकृति और ठगों के दूसरे राज्यों या विदेशों से जुड़े संभावित संबंधों को देखते हुए इस मामले की जांच एसओजी या सक्षम स्तर पर करवाई जानी चाहिए.

Govind Dotasra on Rajendra Rathore
डोटासरा का ट्वीट...

पढ़ें : राजेंद्र राठौड़ का गहलोत-पायलट पर कटाक्ष, 'किस्सा कुर्सी का फिल्म में एक नायक और एक खलनायक'

आपको बता दें कि गुरुवार को विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौर ने यह मामला उठाते हुए कहा था कि नेक्सा एवरग्रीन कंपनी 20 हजार लोगों के 780 करोड़ रुपये लेकर फरार हो गई. इस कंपनी का रजिस्टर्ड ऑफिस सीकर के पिपराली में था, लेकिन आज भी कंपनी की संपत्ति जब्त नहीं की गई है, ना गाड़ियां जब्त की गई हैं और ना कपंनी का अकाउंट जब्त किया गया. राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि सुभाष बिजारणिया इस कंपनी का कर्ताधर्ता है जो पहले फर्जी डिग्रियों के काम में लिप्त था. इस कंपनी ने गुजरात में एयरपोर्ट बनाने वाली कंपनी बताकर सबको फंसाया. ऐसी स्थिति में एसओजी इस मामले की जांच करे. इस मामले में सदन में राजेंद्र राठौड़ और गोविंद डोटासरा के बीच नोकझोंक भी हुई थी. अब उसी मामले को लेकर डोटासरा ने एसओजी से मामले की जांच करवाने की मांग रखी है.

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