हनुमानगढ़. इंदिरा गांधी नहर में 12 जनवरी तक चार में से दो समूह में पानी की मांग को लेकर किसानों ने हनुमानगढ़ के सिंचाई विभाग के मुख्य अभियंता कार्यालय पर प्रदर्शन किया और आंदोलन करने की चेतावनी दी.
पानी की मांग को लेकर किसानों ने पूर्व में भी सिंचाई विभाग के अधिकारियों को कई बार ज्ञापन दिए थे. लेकिन ज्ञापन में कोई सुनवाई नहीं हुई. जिसके चलते किसानों ने अब तंग आकर आर-पार की लड़ाई लड़ने के लिए विभाग के सामने धरना दे दिया. इतना ही नहीं उन्होंने मुख्य गेट पर ताले जड़कर प्रदर्शन किया और मांग की कि उन्होंने पूरा पानी दिया जाए.
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किसानों की मांग है कि नहर में 12 जनवरी तक चार में से दो समूह में पानी दिया जाए, जबकि रेगुलेशन के अनुसार किसानों को 12 दिसम्बर तक चार में से दो समूह में पानी मिलेगा. इसके बाद 31 दिसम्बर तक तीन में से एक समूह में ही पानी चलेगा.
किसानों ने अपनी मांग को लेकर दिन में मुख्य अभियंता विनोद मित्तल और उपखण्ड अधिकारी कपिल यादव से वार्ता भी की और वार्ता विफल होने पर किसान अभी भी गेट पर धरना लगाकर बैठे हैं और किसानों ने मांग पूरी नहीं होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी भी दी है.
वहीं सिंचाई विभाग के मुख्य अभियंता ने कहा कि पानी का निर्धारण पूर्व में 31 दिसंबर तक किया जा चुका है. ऐसे में अब दोबारा पानी का रेगुलेशन तय करना उनके हाथ में नहीं है. इसके लिए वह बैठक करेंगे, उसके बाद तय किया जाएगा कि अगर पानी अधिक है तो उसी आधार पर पानी का वितरण किया जाएगा.
पलंग की पानी का निर्धारण को लेकर पूर्व में भी किसानों ने कई बार आंदोलन किए थे. उसके बाद पानी का रेगुलेशन तय हुआ था, लेकिन अब किसानों का कहना है कि जनवरी माह में उन्हें अगर पूरा पानी नहीं मिलता है तो उनकी फसलें खराब हो सकती है. इसलिए उन्हें नहरों में पूरा पानी मिलना चाहिए, नहीं तो वे उग्र आंदोलन को मजबूर होंगे.