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तहसीलदार को ज्ञापन देने पहुंचे पूर्व पार्षद की हो गई थी मौत, अधिकारियों पर संवेदनहीनता का आरोप, परिजनों ने दिया धरना

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Published : Aug 6, 2019, 6:13 PM IST

हनुमानगढ़ में तहसीलदार को धानका समाज के लोग ज्ञापने देने के लिए पहुंचे. जहां उन्हीं के समाज के एक नेता की मौत हो गई. उन्होंने अधिकारियों पर संवेदनहीनता का आरोप लगाते हुए रोष जताया. उनका कहना रहा कि मदद करने के बजाए तहसीलदार मौके से फरार हो गए.

Death of former councilor in front of tehsildar, Hanumangarh News, हनुमानगढ़ न्यूज

हनुमानगढ़. जिले में धानका समाज के लोग जाति प्रमाण पत्र बनवाने की मांग को लेकर पिछले लंबे समय से आंदोलन कर रहे हैं. इसी कड़ी में मंगलवार को तहसीलदार को समाज के लोग ज्ञापन देने पहुंचे तो वहां समाज के ही नेता इंद्रमोहन धानका की मौत हो गई थी.

तहसीलदार को ज्ञापन देने पहुंचे पूर्व पार्षद की मौत

बताया जा रहा है कि इंद्रमोहन धानका ज्ञापन देते समय अचेत हो गए. जिस पर तहसीलदार से गाड़ी मंगवाने की बात कही. लेकिन तहसीलदार मौके से फरार हो गया. जिससे समाज के लोगों में आक्रोश फैल गया. उन्होंने शव को लेकर मुख्य सड़क जाम करना चाहा लेकिन परिवार ने जिला कलेक्टर के सामने धरना लगाने की बात कही.

घटना के अनुसार पूर्व पार्षद इंद्रमोहन धानका और धानका समाज के जाति के नेता भी है. मंगलवार को प्रमाण पत्र बनवाने की मांग को लेकर तहसीलदार को ज्ञापन देने पहुंचे थे. वहां उन्होंने हार्ट अटैक आ गया और बेहोश हो गए. इसके बाद उन्हें अस्पताल ले जाया गया. वहां पर डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया. जिसके बाद समाज के लोगों में आक्रोश फैल गया. उनका कहना है कि यहां पर तहसीलदार ने संवेदनहीनता दिखाई. उन्हें गाड़ी के लिए बोला लेकिन उन्होंने गाड़ी नहीं दी और वह चले गए. जिसके बाद लोगों में आक्रोश है.

यह भी पढ़ें : जिस विधानसभा में विपक्ष हर बिल पर करता है विरोध, अपने वेतन का बिल आया तो कुछ मिनटों में ही हो गया पास

इस आक्रोश के चलते लोगों ने सड़क जाम करना चाही लेकिन मृतक के परिवारजनों ने जिला कलेक्ट्रेट के सामने धरना देने की बात कही और जिला कलेक्टर के सामने धरना शुरू कर दिया. लोग मांग कर रहे हैं कि तहसीलदार को निलंबित किया जाए और जो उनके प्रमाण पत्र की समस्या है उसे दूर किया जाए.

हनुमानगढ़. जिले में धानका समाज के लोग जाति प्रमाण पत्र बनवाने की मांग को लेकर पिछले लंबे समय से आंदोलन कर रहे हैं. इसी कड़ी में मंगलवार को तहसीलदार को समाज के लोग ज्ञापन देने पहुंचे तो वहां समाज के ही नेता इंद्रमोहन धानका की मौत हो गई थी.

तहसीलदार को ज्ञापन देने पहुंचे पूर्व पार्षद की मौत

बताया जा रहा है कि इंद्रमोहन धानका ज्ञापन देते समय अचेत हो गए. जिस पर तहसीलदार से गाड़ी मंगवाने की बात कही. लेकिन तहसीलदार मौके से फरार हो गया. जिससे समाज के लोगों में आक्रोश फैल गया. उन्होंने शव को लेकर मुख्य सड़क जाम करना चाहा लेकिन परिवार ने जिला कलेक्टर के सामने धरना लगाने की बात कही.

घटना के अनुसार पूर्व पार्षद इंद्रमोहन धानका और धानका समाज के जाति के नेता भी है. मंगलवार को प्रमाण पत्र बनवाने की मांग को लेकर तहसीलदार को ज्ञापन देने पहुंचे थे. वहां उन्होंने हार्ट अटैक आ गया और बेहोश हो गए. इसके बाद उन्हें अस्पताल ले जाया गया. वहां पर डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया. जिसके बाद समाज के लोगों में आक्रोश फैल गया. उनका कहना है कि यहां पर तहसीलदार ने संवेदनहीनता दिखाई. उन्हें गाड़ी के लिए बोला लेकिन उन्होंने गाड़ी नहीं दी और वह चले गए. जिसके बाद लोगों में आक्रोश है.

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इस आक्रोश के चलते लोगों ने सड़क जाम करना चाही लेकिन मृतक के परिवारजनों ने जिला कलेक्ट्रेट के सामने धरना देने की बात कही और जिला कलेक्टर के सामने धरना शुरू कर दिया. लोग मांग कर रहे हैं कि तहसीलदार को निलंबित किया जाए और जो उनके प्रमाण पत्र की समस्या है उसे दूर किया जाए.

Intro:हनुमानगढ़ में धानका समाज के लोग जाति प्रमाण पत्र बनवाने की मांग को लेकर पिछले लंबे समय से आंदोलनरत के आंदोलन की कड़ी में आज अब तहसीलदार को समाज के लोग ज्ञापन देने पहुंचे तो वहां समाज के ही नेता इंद्रमोहन धानका की मौत हो गई बताया जा रहा है कि इंद्रमोहन खान का ज्ञापन देते समय अचेत हो गया जिस पर तहसीलदार से गाड़ी मंगवाने की बात कही लेकिन तहसीलदार मौके से फरार हो गया जिससे समाज के लोगों में आक्रोश फैल गया उन्होंने डेड बॉडी को लेकर मुख्य सड़क जाम करना चाहिए लेकिन परिवार ने जिला कलेक्टर के सामने धरना लगाने की बात कही


Body:घटना के मुताबिक पूर्व पार्षद इंदौर मोहनदास इंद्रमोहन धान का जो कि धानका समाज जाति के नेता भी है वह आज प्रमाण पत्र बनवाने की मांग को लेकर तहसीलदार को ज्ञापन देने पहुंचे थे वहां पर आर्ट अटैक आ गया और बेहोश हो गए इसके बाद उन्हें अस्पताल ले जाया गया वहां पर डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया जिसके बाद समाज के लोगों में आक्रोश फैल गया उनका कहना है कि यहां पर तहसीलदार ने संवेदनहीनता दिखाई उन्हें गाड़ी के लिए बोला लेकिन उन्होंने गाड़ी नहीं दी और वह चले गए जिसके बाद लोगों में आक्रोश है

बाईट मनोज,समाज का नेता


Conclusion:इस आक्रोश के चलते लोगों ने सड़क जाम करना चाहिए लेकिन मृतक के परिवारजनों ने जिला कलेक्टर के सामने धरना देने की बात कही और जिला कलेक्टर के सामने धरना शुरू कर दिया अभिमान कर रहे हैं कि तहसीलदार को निलंबित किया जाए और जो उनके प्रमाण पत्र की समस्याओं से दूर की जाए
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