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हनुमानगढ़: बाल कल्याण समिति ने नाबालिग से छेड़छाड़ मामले में पुलिस की कार्यशैली पर उठाए सवाल

हनुमानगढ़ बाल कल्याण समिति ने नाबालिग से छेड़छाड़ मामले में संगरिया पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाए हैं. नाबालिग के साथ छेड़छाड़ के मामले के पुलिस 21 दिन बीत जाने के बाद भी नामजद आरोपी तक पहुंच नहीं पाई है. वहीं दूसरी तरफ आरोपी के रिश्तेदार पीड़ित पक्ष को धमका रहे हैं.

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बाल कल्याण समिति ने नाबालिग से छेड़छाड़ मामले में पुलिस की कार्यशैली पर उठाए सवाल
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Published : Mar 27, 2021, 7:20 PM IST

हनुमानगढ़. नाबालिगों से जुड़े आपराधिक मामलों में पुलिस कितनी गंभीर है. इस बात का अंदाजा संगरिया पुलिस की कार्यशैली से लगाया जा सकता है. एक नाबालिग के साथ छेड़छाड़ के मामले के पुलिस 21 दिन बीत जाने के बाद भी नामजद आरोपी तक पहुंच नहीं पाई है. 6 मार्च को संगरिया पुलिस ने एक नाबालिग के चाचा की शिकायत के आधार पर पॉक्सो व अन्य धाराओं के तहत मामला तो दर्ज किया था. लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की है.

पढे़ं: होटल में सेक्स रैकेट के अड्डे पर पुलिस की रेड, 1 विदेशी महिला सहित 10 लोग गिरफ्तार

रिपोर्ट में नाबालिग पीड़िता के चाचा ने एक युवक पर आरोप लगाते हुए पुलिस को बताया कि युवक काफी समय से उसकी भतीजी को स्कूल आते-जाते समय छेड़ रहा है. जिससे चलते उसकी भतीजी व उनका परिवार मानसिक यातनाओं से जूझ रहा है. हालांकि इस बारे में आरोपी व उसके परिजनों को काफी बार समझाने के बावजूद आरोपी युवक अपनी हरकतों से बाज नहीं आ रहा. 4 मार्च की भी आरोपी ने उसकी भतीजी के साथ छेड़छाड़ की.

नाबालिग से छेड़छाड़ मामले में पुलिस की कार्यशैली पर उठे सवाल

छेड़छाड़ करने से रोकने पर आरोपी युवक ने पीड़ित पक्ष के एक व्यक्ति पर हमला कर दिया. जिसका इलाज जिला अस्पताल में चल रहा है. इस घटना का वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था. आरोपी की गिरफ्तारी नहीं होने पर पीड़ित पक्ष ने हनुमानगढ़ बाल कल्याण समिति से सम्पर्क किया और अपनी आपबीती बताई. बाल कल्याण समिति ने पुलिस से तथ्यात्मक रिपोर्ट मांगी है. समिति सदस्य विजय चौहान ने पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाते हुए कहा कि जहां एक तरफ पुलिस इस मामले को बहुत हल्के में ले रही है. वहीं दूसरी तरफ आरोपी के रिश्तेदार पीड़ित पक्ष को धमका रहे हैं उनके साथ मारपीट कर रहे हैं.

चौहान ने कहा की पॉक्सो एक्ट के तहत दर्ज मुकदमें में 72 घंटे निकलने के उपरांत पुलिस द्वारा मामले को बाल कल्याण समिति के संज्ञान में लाने का प्रावधान है. लेकिन पुलिस ने ऐसा नहीं किया. अब अगर पुलिस शीघ्र कोई उचित कार्रवाई नहीं करती है तो एसपी से पत्र व्यवहार किया जाएगा व जरूरत पड़ी तो संगरिया CO को समिति तलब भी करेगी.

प्रकरण में आरोपी पक्ष ने अपने ऊपर लगे आरोपों को झूठा बताते हुए FIR खारिज करने की याचिका लगाई थी. जिसको न्यायालय ने स्वीकार नहीं किया. वही जब इस बारे में संगरिया CO दिनेश राजोरा व थानाधिकारी से बात की गई तो उनका कहना है कि आरोपियो की गिरफ्तारी के लिए जगह-जगह छापेमारी की जा रही है. जल्द ही उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाएगा. थानाप्रभारी ने गिरफ्तारी में देरी की वजह बताते हुए कहा कि आरोपी ने अपना फोन बंद कर लिया है. जिसकी वजह से उनको ट्रेस करने में मशक्त करनी पड़ रही है.

हनुमानगढ़. नाबालिगों से जुड़े आपराधिक मामलों में पुलिस कितनी गंभीर है. इस बात का अंदाजा संगरिया पुलिस की कार्यशैली से लगाया जा सकता है. एक नाबालिग के साथ छेड़छाड़ के मामले के पुलिस 21 दिन बीत जाने के बाद भी नामजद आरोपी तक पहुंच नहीं पाई है. 6 मार्च को संगरिया पुलिस ने एक नाबालिग के चाचा की शिकायत के आधार पर पॉक्सो व अन्य धाराओं के तहत मामला तो दर्ज किया था. लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की है.

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रिपोर्ट में नाबालिग पीड़िता के चाचा ने एक युवक पर आरोप लगाते हुए पुलिस को बताया कि युवक काफी समय से उसकी भतीजी को स्कूल आते-जाते समय छेड़ रहा है. जिससे चलते उसकी भतीजी व उनका परिवार मानसिक यातनाओं से जूझ रहा है. हालांकि इस बारे में आरोपी व उसके परिजनों को काफी बार समझाने के बावजूद आरोपी युवक अपनी हरकतों से बाज नहीं आ रहा. 4 मार्च की भी आरोपी ने उसकी भतीजी के साथ छेड़छाड़ की.

नाबालिग से छेड़छाड़ मामले में पुलिस की कार्यशैली पर उठे सवाल

छेड़छाड़ करने से रोकने पर आरोपी युवक ने पीड़ित पक्ष के एक व्यक्ति पर हमला कर दिया. जिसका इलाज जिला अस्पताल में चल रहा है. इस घटना का वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था. आरोपी की गिरफ्तारी नहीं होने पर पीड़ित पक्ष ने हनुमानगढ़ बाल कल्याण समिति से सम्पर्क किया और अपनी आपबीती बताई. बाल कल्याण समिति ने पुलिस से तथ्यात्मक रिपोर्ट मांगी है. समिति सदस्य विजय चौहान ने पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाते हुए कहा कि जहां एक तरफ पुलिस इस मामले को बहुत हल्के में ले रही है. वहीं दूसरी तरफ आरोपी के रिश्तेदार पीड़ित पक्ष को धमका रहे हैं उनके साथ मारपीट कर रहे हैं.

चौहान ने कहा की पॉक्सो एक्ट के तहत दर्ज मुकदमें में 72 घंटे निकलने के उपरांत पुलिस द्वारा मामले को बाल कल्याण समिति के संज्ञान में लाने का प्रावधान है. लेकिन पुलिस ने ऐसा नहीं किया. अब अगर पुलिस शीघ्र कोई उचित कार्रवाई नहीं करती है तो एसपी से पत्र व्यवहार किया जाएगा व जरूरत पड़ी तो संगरिया CO को समिति तलब भी करेगी.

प्रकरण में आरोपी पक्ष ने अपने ऊपर लगे आरोपों को झूठा बताते हुए FIR खारिज करने की याचिका लगाई थी. जिसको न्यायालय ने स्वीकार नहीं किया. वही जब इस बारे में संगरिया CO दिनेश राजोरा व थानाधिकारी से बात की गई तो उनका कहना है कि आरोपियो की गिरफ्तारी के लिए जगह-जगह छापेमारी की जा रही है. जल्द ही उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाएगा. थानाप्रभारी ने गिरफ्तारी में देरी की वजह बताते हुए कहा कि आरोपी ने अपना फोन बंद कर लिया है. जिसकी वजह से उनको ट्रेस करने में मशक्त करनी पड़ रही है.

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