डूंगरपुर. राज्य बाल संरक्षण आयोग (State Child Protection Commission) की अध्यक्ष संगीता बेनीवाल (Sangeeta Beniwal) और सदस्यों की टीम शुक्रवार को डूंगरपुर (Dungarpur) जिले के दौरे पर रही. इस दौरान उन्होंने मातृ शिशु अस्पताल (Maternal Child Hospital), शिशु गृह का निरीक्षण करते हुए कोविड डेडिकेटेड अस्पताल (covid dedicated hospital) की अधूरी व्यवस्थाओं को लेकर नाराजगी जताई. साथ ही जल्द ही व्यवस्थाएं सुधारने के निर्देश भी दिए.
मातृ शिशु अस्पताल के निरीक्षण के दौरान संगीता बेनीवाल ने लेबर रूम, अति कुपोषित वार्ड और एसएनसीयू वार्ड का निरीक्षण किया. इस दौरान उन्होंने वार्ड में भर्ती बच्चों और उनके माता-पिता से बातचीत करते हुए चिकित्सा सेवाओं और सुविधाओं के बारे में जानकारी ली. इसके बाद बच्चों के लिए कोविड डेडिकेटेड अस्पताल का निरीक्षण किया, बाद में अस्पताल में अधूरी तैयारियों पर नाराजगी जताई.
निरीक्षण के दौरान डॉक्टरों ने बताया कि बच्चों के लिए अभी वार्ड तैयार हो रहा है, लेकिन वहां वेंटिलेटर या अन्य किसी भी तरह की सुविधा नहीं है. इस पर आयोग अध्यक्ष ने नाराजगी जताई.
आयोग अध्यक्ष संगीता बेनीवाल ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि तीसरी लहर को लेकर सरकार और आयोग गंभीर है, प्रत्येक जिले में बच्चों के लिए कोविड डेडिकेटेड वार्ड बनाने के निर्देश दिए गए है, लेकिन अभी तक डूंगरपुर में बच्चों के लिए कोई तैयारी नहीं है. उन्होंने कहा कि सरकार के आदेशों के बावजूद किस स्तर पर लापरवाही बरती जा रही है, इसे लेकर वे कलेक्टर से बैठक में चर्चा करेंगे. उन्होंने कहा की वे कोविड अस्पताल में व्यवस्थाओं को लेकर असंतुष्ट है.
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शिशु गृह में भवन की कमी, अधिकारियों ने हाथ जोड़कर मांगा भवन
बाल आयोग की अध्यक्ष संगीता बेनीवाल ने समाज कल्याण विभाग के शिशु गृह का भी निरीक्षण किया. इस दौरान समाज कल्याण विभाग के सहायक निदेशक अशोक शर्मा ने कहा कि शिशु गृह में सामान्य तौर पर 7 से 8 बच्चे रहते है और वर्तमान में 4 बच्चे है, जिसमे से 2 शिशु गृह और 2 अस्पताल में है, लेकिन जगह की कमी के कारण परेशानी हो रही है. अधिकारियों ने हाथ जोड़कर उनसे नए भवन की मांग रखी, जिस पर उन्होंने जल्द ही स्वीकृति का भरोसा दिलाया.