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यहां 22 में से 7 बांध पूरी तरह से सूखे, सिंचाई विभाग से लेकर किसानों तक को मानसून का इंतजार

डूंगरपुर जिले में मानसून की दस्तक से पहले 22 में से 7 बांध पूरी तरह से सूख चुके हैं, जबकि इतने ही बांधों में पानी पेंदे में चला गया है. ऐसे में सिंचाई विभाग (Irrigation Department) से लेकर किसानों तक को मानसून का इंतजार है. देखिये डूंगरपुर से ये रिपोर्ट...

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Published : Jun 17, 2021, 2:21 PM IST

तालाब , dam , Rajasthan latest news  ,dungarpur latest news
जिले के सूखे बांधों को मानसून का इंतजार

डूंगरपुर. मानसून का सभी को इंतजार है, जिससे कि जिले के बांध, तालाब पानी से भर जाएं और किसान अपनी खेतीबाड़ी में जुट जाएं. लेकिन बारिश से पहले जिले के बांध और तालाबों पर नजर दौड़ाई गई तो पता चला कि जिले में सिंचाई विभाग के पास सोम कमला बांध समेत छोटे-बड़े कुल 22 बांध हैं, लेकिन उनमें से 7 बांध पूरी तरह से सूख चुके हैं.

इसके अलावा 7 बांधो में पानी का स्तर न्यून है, जहां पानी का स्तर एक मीटर से भी नीचे पहुंच गया है. अन्य बांध और तालाबों में भी पानी की स्थिति कुछ ज्यादा अच्छी नहीं है. ऐसे में इन सभी बांध और तालाबों को अब बारिश का इंतजार है.

सूखे बांधों को मानसून का इंतजार...

जिले में एक भी बांध क्षतिग्रस्त नहीं, सुरक्षा के इंतजाम पूरे : अधीक्षण अभियंता

सिंचाई विभाग के अधीक्षण अभियंता ने बताया कि जिले में अभी कोई भी बांध क्षतिग्रस्त नहीं हैं और मानसून आने के बाद बांध और तालाब भर जाएंगे. ऐसी स्थिति में पाल के धंसने की समस्या को ध्यान में रखते हुए सभी तैयारियां कर ली गईं हैं. बांध और तालाब की पाल पर मिट्टी से भरे हुए कट्टे रखवाए गए हैं. यही नहीं, बारिश के दौरान 24 घंटे उन बांधों की निगरानी रखी जाएगी. इसके लिए सभी अधिकारियों को भी निर्देशित किया गया है.

किस बांध और तालाब की क्या है स्थिति ?

क्रं संबांधभराव क्षमताउपलब्ध जल स्तर
1सोम कमला आंबा13 मीटर9.95 मीटर
2लोडेश्वर8.93 मीटर 2.80 मीटर
3वात्रक4.72 मीटर1.75 मीटर
4भादर5.35 मीटर0.10 मीटर
5 आकरसोल का नाका 9 मीटर1.65 मीटर
6 मारगिया 8.85 मीटर 4.60 मीटर
7मेवाड़ा7.80 मीटर3.30 मीटर
8अमरपुरा 6.40 मीटर3.30 मीटर
9 बाबा की बार5.50 मीटरसूखा
10सूरी का तालाब 5.49 मीटरसूखा
11 गड़ाझुमजी 3.50 मीटरसूखा
12 टामटिया 3.20 मीटर सूखा
13पूंजपुर3.82 मीटर 2.65 मीटर
14बोडीगामा 4.35 मीटर 1.10 मीटर
15 कांठड़ी 8.50 मीटर सूखा
16 गलियाणा 4.60 मीटर0.10 मीटर
17गजपुर9.75 मीटरसूखा
18 भै का नाका10.07 मीटर सूखा
19 घोड़ियो का नाका8.50 मीटर 2.60 मीटर
20करावाड़ा तालाब 2.44 मीटर 0.300 मीटर
21 वरदोल का नाका 6 मीटर0.30 मीटर
22वारंदा 4.40 मीटर
1.95 मीटर

सबसे बड़ा डैम सोम कमला आंबा, 13 गेट का रखरखाव पूरा...

संभाग का दूसरा सबसे बड़ा बांध सोम कमला अंबा अभी भराव क्षमता से साढ़े 3 मीटर ही खाली है, जबकि मानसून नजदीक है. ऐसे में बांध के सभी 13 गेट के रखरखाव का कार्य पूरा कर लिया गया है. विभाग का कहना है कि बांध का पानी छोड़ते वक्त बेणेश्वर धाम टापू बन जाता है. इसके अलावा बांसवाडा के माही डैम का पानी भी आता है. ऐसे हालात में धाम के पुल पर निगरानी रखी जाएगी. निगरानी के लिए धाम पर वायरलैस सिस्टम भी लगाया गया है.

पढें: शुरू हुई बारिश की फुहारें, हैदराबाद में बीमारी पांव पसारे

कडाणा बैक वाटर के लिए गुजरात के अधिकारियों से संपर्क...

अधीक्षण अभियंता ने बताया कि जिले में गुजरात के कडाणा बांध का बैक वाटर आता है. जिस कारण वाटर लेवल 422 से अधिक होने पर डूंगरपुर का गलियाकोट क्षेत्र डूब जाता है. ऐसी स्थिति में गुजरात के कडाणा के अधिकारियों से संपर्क किया गया है. भारी बारिश के साथ ही माही और सोम कमला अंबा के गेट खोलने पर कडाणा से आने वाले पानी का फीडबैक गुजरात के अधिकारियों को देते हुए लेवल को मेंटेन करने का प्रयास किया जाएगा. जरूरत के अनुसार गलियाकोट कस्बे को खाली कराने का काम भी किया जाएगा.

डूंगरपुर. मानसून का सभी को इंतजार है, जिससे कि जिले के बांध, तालाब पानी से भर जाएं और किसान अपनी खेतीबाड़ी में जुट जाएं. लेकिन बारिश से पहले जिले के बांध और तालाबों पर नजर दौड़ाई गई तो पता चला कि जिले में सिंचाई विभाग के पास सोम कमला बांध समेत छोटे-बड़े कुल 22 बांध हैं, लेकिन उनमें से 7 बांध पूरी तरह से सूख चुके हैं.

इसके अलावा 7 बांधो में पानी का स्तर न्यून है, जहां पानी का स्तर एक मीटर से भी नीचे पहुंच गया है. अन्य बांध और तालाबों में भी पानी की स्थिति कुछ ज्यादा अच्छी नहीं है. ऐसे में इन सभी बांध और तालाबों को अब बारिश का इंतजार है.

सूखे बांधों को मानसून का इंतजार...

जिले में एक भी बांध क्षतिग्रस्त नहीं, सुरक्षा के इंतजाम पूरे : अधीक्षण अभियंता

सिंचाई विभाग के अधीक्षण अभियंता ने बताया कि जिले में अभी कोई भी बांध क्षतिग्रस्त नहीं हैं और मानसून आने के बाद बांध और तालाब भर जाएंगे. ऐसी स्थिति में पाल के धंसने की समस्या को ध्यान में रखते हुए सभी तैयारियां कर ली गईं हैं. बांध और तालाब की पाल पर मिट्टी से भरे हुए कट्टे रखवाए गए हैं. यही नहीं, बारिश के दौरान 24 घंटे उन बांधों की निगरानी रखी जाएगी. इसके लिए सभी अधिकारियों को भी निर्देशित किया गया है.

किस बांध और तालाब की क्या है स्थिति ?

क्रं संबांधभराव क्षमताउपलब्ध जल स्तर
1सोम कमला आंबा13 मीटर9.95 मीटर
2लोडेश्वर8.93 मीटर 2.80 मीटर
3वात्रक4.72 मीटर1.75 मीटर
4भादर5.35 मीटर0.10 मीटर
5 आकरसोल का नाका 9 मीटर1.65 मीटर
6 मारगिया 8.85 मीटर 4.60 मीटर
7मेवाड़ा7.80 मीटर3.30 मीटर
8अमरपुरा 6.40 मीटर3.30 मीटर
9 बाबा की बार5.50 मीटरसूखा
10सूरी का तालाब 5.49 मीटरसूखा
11 गड़ाझुमजी 3.50 मीटरसूखा
12 टामटिया 3.20 मीटर सूखा
13पूंजपुर3.82 मीटर 2.65 मीटर
14बोडीगामा 4.35 मीटर 1.10 मीटर
15 कांठड़ी 8.50 मीटर सूखा
16 गलियाणा 4.60 मीटर0.10 मीटर
17गजपुर9.75 मीटरसूखा
18 भै का नाका10.07 मीटर सूखा
19 घोड़ियो का नाका8.50 मीटर 2.60 मीटर
20करावाड़ा तालाब 2.44 मीटर 0.300 मीटर
21 वरदोल का नाका 6 मीटर0.30 मीटर
22वारंदा 4.40 मीटर
1.95 मीटर

सबसे बड़ा डैम सोम कमला आंबा, 13 गेट का रखरखाव पूरा...

संभाग का दूसरा सबसे बड़ा बांध सोम कमला अंबा अभी भराव क्षमता से साढ़े 3 मीटर ही खाली है, जबकि मानसून नजदीक है. ऐसे में बांध के सभी 13 गेट के रखरखाव का कार्य पूरा कर लिया गया है. विभाग का कहना है कि बांध का पानी छोड़ते वक्त बेणेश्वर धाम टापू बन जाता है. इसके अलावा बांसवाडा के माही डैम का पानी भी आता है. ऐसे हालात में धाम के पुल पर निगरानी रखी जाएगी. निगरानी के लिए धाम पर वायरलैस सिस्टम भी लगाया गया है.

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कडाणा बैक वाटर के लिए गुजरात के अधिकारियों से संपर्क...

अधीक्षण अभियंता ने बताया कि जिले में गुजरात के कडाणा बांध का बैक वाटर आता है. जिस कारण वाटर लेवल 422 से अधिक होने पर डूंगरपुर का गलियाकोट क्षेत्र डूब जाता है. ऐसी स्थिति में गुजरात के कडाणा के अधिकारियों से संपर्क किया गया है. भारी बारिश के साथ ही माही और सोम कमला अंबा के गेट खोलने पर कडाणा से आने वाले पानी का फीडबैक गुजरात के अधिकारियों को देते हुए लेवल को मेंटेन करने का प्रयास किया जाएगा. जरूरत के अनुसार गलियाकोट कस्बे को खाली कराने का काम भी किया जाएगा.

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