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राजस्थान का ऐसा गांव...जो बारिश नहीं होने की कर रहा दुआ

जिले के गाजसर गांव व उसके आस-पास के सभी इलाकों में 10 दिन पहले हुई बारिश से पूरा गांव पानी-पानी हो गया है. ऐसे में अगर फिर से बारिश होती है तो इन क्षेत्रों के डूबने की आशंकाएं बढ़ जाएंगी. बारिश के चलते गांव के पास में बने सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट, जिसकी क्षमता 7 एमएलडी है और पानी 11 एमएलडी बहने लगा है. जिससे खतरा अभी भी बना हुआ है.

सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट में बढ़ते जलस्तर से आस-पास के गांवों में बढ़ा खतरा
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Published : Aug 2, 2019, 12:49 PM IST

चूरू. जिले में तकरीबन 10 दिन पहले हुई बारिश के दौरान गिनाणी टूट जाने से पूरा गांव पानी-पानी हो गया है जो अभी तक सूखा नहीं है. सूत्रों की माने तो अगर बारिश नहीं रुकती तो गांव के डूबने के खतरा बन जाता. फिलहाल अभी भी मानसून का माहौल बना हुआ है. ऐसे में अगर फिर से बारिश होती है तो गाजसर और इसके आसपास के क्षेत्रों के डूबने का खतरा और अधिक बढ़ जाएंगा.

गाजसर गांव से थोड़ी दूर पर बनाए गए सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट जिसकी क्षमता 7 एमएलडी है, परन्तु भारी बारिश के चलते 11 एमएलडी पानी बहने लगा है. ऐसे में ओवरफ्लो कर पानी को खुले इलाकों में छोड़ा जा रहा है लेकिन इस समस्या का यह कोई समाधान नहीं है. इसी लिए पानी ओवरफ्लो होने लगा है. इसका कारण यह है कि ट्रीटमेंट प्लांट में केपेसिटी से ज्यादा जलभराव का होना.

ट्रीटमेंट प्लांट की कैपेसिटी 7 एमएलडी जबकि वहां पानी आ रहा है 11 एमएलडी

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बता दें कि अभी भी स्थिति गंभीर बनी हुई है. अभी भी गिनाणी और ट्रीटमेंट प्लांट दोनों के ही जलस्तर बढ़ने के वजह से पानी ओवरफ्लो हो रहा है. एक ओर जहां बारिश होने का इंतजार कर रहे है वहीं दूसरी ओर यहां के लोग बारिश न होने के लिए प्रार्थना कर रहे है. क्योंकि अगर अब बारिश होती है तो गिनाणी टूटने का पूरा खतरा बन जाएंगा और पानी से पूरा इलाका तबाह हो सकता है.

पढ़े- सीएम की डिनर पॉलिटिक्स...कांग्रेस विधायकों के साथ पहुंचे बीजेपी के ये बड़े नेता

ऐसे ग्रामीणों की बातें सुने तो उनका कहना है कि अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों से कई बार इस बारें कहा जा चुका है, परन्तु अब भी कोई हल नहीं निकल पाया है. जबकि नगर परिषद का यह कहना है कि हमारी पूरी कोशिश रहेगी कि इस समस्या से जल्द ही ग्रामीणों को छुटकारा मिल सके और लोगों की परेशानीयां दूर हो सके.

चूरू. जिले में तकरीबन 10 दिन पहले हुई बारिश के दौरान गिनाणी टूट जाने से पूरा गांव पानी-पानी हो गया है जो अभी तक सूखा नहीं है. सूत्रों की माने तो अगर बारिश नहीं रुकती तो गांव के डूबने के खतरा बन जाता. फिलहाल अभी भी मानसून का माहौल बना हुआ है. ऐसे में अगर फिर से बारिश होती है तो गाजसर और इसके आसपास के क्षेत्रों के डूबने का खतरा और अधिक बढ़ जाएंगा.

गाजसर गांव से थोड़ी दूर पर बनाए गए सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट जिसकी क्षमता 7 एमएलडी है, परन्तु भारी बारिश के चलते 11 एमएलडी पानी बहने लगा है. ऐसे में ओवरफ्लो कर पानी को खुले इलाकों में छोड़ा जा रहा है लेकिन इस समस्या का यह कोई समाधान नहीं है. इसी लिए पानी ओवरफ्लो होने लगा है. इसका कारण यह है कि ट्रीटमेंट प्लांट में केपेसिटी से ज्यादा जलभराव का होना.

ट्रीटमेंट प्लांट की कैपेसिटी 7 एमएलडी जबकि वहां पानी आ रहा है 11 एमएलडी

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बता दें कि अभी भी स्थिति गंभीर बनी हुई है. अभी भी गिनाणी और ट्रीटमेंट प्लांट दोनों के ही जलस्तर बढ़ने के वजह से पानी ओवरफ्लो हो रहा है. एक ओर जहां बारिश होने का इंतजार कर रहे है वहीं दूसरी ओर यहां के लोग बारिश न होने के लिए प्रार्थना कर रहे है. क्योंकि अगर अब बारिश होती है तो गिनाणी टूटने का पूरा खतरा बन जाएंगा और पानी से पूरा इलाका तबाह हो सकता है.

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ऐसे ग्रामीणों की बातें सुने तो उनका कहना है कि अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों से कई बार इस बारें कहा जा चुका है, परन्तु अब भी कोई हल नहीं निकल पाया है. जबकि नगर परिषद का यह कहना है कि हमारी पूरी कोशिश रहेगी कि इस समस्या से जल्द ही ग्रामीणों को छुटकारा मिल सके और लोगों की परेशानीयां दूर हो सके.

Intro:चूरू। यह तस्वीरें गाजसर के पास बनी गंदे पानी की गिनाणी और पास ही बने सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट की है। गिनाणी और ट्रीटमेंट प्लांट दोनों में ही अभी पानी ओवरफ्लो होने के करीब है। ऐसे में जहां लोग बारिश का इंतजार कर रहे हैं वहीं गाजसर और इसके आसपास के इलाके के लोग ईश्वर से प्रार्थना करते हैं कि बारिश ना हो,क्योंकि बारिश होते ही गिनाणी टूटने का पूरा खतरा बना रहता है। यह पानी सीधा इनके गांव में आता है।
ग्रामीणों की माने तो अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों को कई बार कह चुके लेकिन अभी कोई समाधान नहीं हुआ है। जबकि नगर परिषद का कहना है कि हमारी पूरी कोशिश है कि समस्या का जल्द समाधान हो तांकि लोग परेशान ना हो।


Body:10 दिन पहले टूटी थी गिनाणी
चूरू में करीब 10 दिन पहले हुई बारिश के दौरान गिनाणी टूटने से पूरे गांव में पानी पानी हो गया था। 10 दिन पहले हुई बारिश का पानी अभी तक भी सूखा नहीं है। वह तो बारिश का दौर थम गया नहीं तो गांव डूबने का खतरा बन गया था। अभी मानसून का दौर जारी है ऐसे में फिर भारी बारिश हो गई तो गाजसर और इसके आसपास के इलाकों के डूबने का खतरा बना हुआ है।
ट्रीटमेंट प्लांट की कैपेसिटी 7 एमएलडी जबकि वहां पानी आ रहा है 11 एमएलडी
गाजसर गांव से आगे बनाए गए सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट की कैपेसिटी 7 एमएलडी ही है जबकि वहां अभी 11 एमएलडी पानी आ रहा है। ऐसे में बाकी के पानी को यहां खुले इलाके में छोड़ा जा रहा है लेकिन यह समस्या का स्थाई समाधान नहीं है। इसी वजह से गिनाणी में पानी ओवरफ्लो हो रहा है। वजह है ट्रीटमेंट प्लांट की केपेसिटी कम होना।



Conclusion:बाइट: एक- निरंजन सिंह, चूरू।
चूरू के निरंजन सिंह का कहना है कि जोहरी सागर में बारिश के दिनों में काफी पानी इकट्ठा हो जाता है। सरकार को एक योजना बनानी चाहिए कि पानी इकट्ठा नहीं हो ताकि यहां के लोग परेशान ना हो। यह बारिश की सीजन में ऐसा ही होता है इसका कुछ स्थाई समाधान निकालना चाहिए।
बाइट: दो- गोपीराम डूडी, ग्रामीण, गाजसर।
ग्रामीण गोपी राम डूडी का कहना है कि बारिश के दिनों में गिलानी टूटने का खतरा बना रहता है। इसके समाधान को लेकर नेता और अधिकारियों से मिल चुके हैं लेकिन अभी तक कोई समाधान नहीं हुआ है। बारिश के दिनों में गिनाणी के आसपास पानी रोकने की औपचारिकता पूरी कर ली जाती है।
बाइट: तीन-अभिलाषा सिंह, आयुक्त, नगर परिषद चूरू।
नगर परिषद के आयुक्त अभिलाषा सिंह का कहना है कि ट्रीटमेंट प्लांट की कैपेसिटी 7 एमएलडी की है जबकि वहां पानी 11 एमएलडी जा रहा है। हमारी कोशिश है कि एक पंपिंग स्टेशन और बनाया जाए ताकि समस्या का समाधान हो सके। समस्या के समाधान को लेकर हमारी कोशिश जारी है।
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