चूरू. जिला मुख्यालय से सात किलोमीटर दूर देपालसर गांव के तारागढ़ी गणेश मंदिर में 11 सौ किलो के एकल मोदक का प्रसाद गणेश चतुर्थी पर भगवान गणेश के चढ़ाया जाएगा. रविवार शाम तक 17 हलवाइयों की टीम ने यह मोदक तैयार भी कर लिया. इस मोदक को बनाने में दो दिन लगे और इसकी लागत करीब तीन से साढ़े तीन लाख रुपए आई है.
मोदक का प्रसाद गणेश चतुर्थी के दिन सुबह चार बजे भगवान गणेश को चढ़ाया जाएगा. उसके बाद में इस प्रसाद को भक्तों को वितरित किया जाएगा. मेले की आयोजन समिति का कहना है कि यह मोदक आयोजन समिति के सदस्यों के आर्थिक सहयोग से तैयार किया जाता है. इससे पहले मंदिर में मेले की तैयारियां भी पूरी कर ली गई. यहां पर शाम से ही भक्तों का आना शुरू हो गया.
मोदक की शुरुआत वर्ष 2001 में हुई थी
गणेश सेवा समिति के सदस्यों का कहना है कि एकल मोदक का प्रसाद चढ़ाने की शुरुआत इस मंदिर में करीब 18 साल पहले वर्ष 2001 में हुई थी. उस समय यहां पर एक सवामन यानी कि 60 किलो का एक लड्डू तैयार किया गया था. यहां पर भक्तों को प्रसाद चढ़ाने में कुछ दिक्कतों का सामना हुआ था. उसके बाद में यहां पर गणेश सेवा समिति ने ही एकल मोदक चढ़ाने का निर्णय लिया. बाद में बढ़ते - बढ़ते इस मोदक का वजन 11 सौ किलो तक पहुंच गया है.
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मेले में दूसरे जिलों के भी आते हैं श्रद्धालु
तारागढ़ी के इस गणेश मंदिर पर गणेश चतुर्थी के मौके पर बनने वाले मेले में चूरू जिले से ही नहीं आसपास के सीकर, बीकानेर और झुंझुनू जिले से भी श्रद्धालु दर्शन करने आते है. खासकर इस ग्रामीण इलाके के आसपास के लोग चाहे वे कहीं भी हो गणेश चतुर्थी पर जरूर अपने गांव आते है.
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गणेश चतुर्थी को लेकर समिति की हुई बैठक
गणेश चतुर्थी पर भरने वाले मेले की तैयारियों को लेकर रविवार को समिति के सदस्यों की एक बैठक हुई. जिसमें अध्यक्ष बहादुर फगेड़िया, सचिव विकास रणवां, सुरेश, रामलाल बुडानिया, सुशील लोहिया, विजय पूनिया और राजेश फोगाट सहित समिति के सदस्य मौजूद रहे.