हैदराबाद: भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने दो बैंकों के विलय को मंजूरी दे दी है. नेशनल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड (एनसीबीएल), बैंगलोर (कर्नाटक) का विलय कॉसमॉस को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड (महाराष्ट्र) के साथ होगा. आरबीआई ने आधिकारिक बयान में कहा, "बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ धारा 44A की उपधारा (4) के तहत प्रदत्त शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए इस स्कीम को मंजूरी दी गई है."
आरबीआई ने बताया कि यह स्कीम सोमवार 6 जनवरी से लागू होगी. केंद्रीय बैंक ने कहा कि एनसीबीएल की शाखाएं 6 जनवरी, 2025 से कॉसमॉस बैंक की शाखाओं के रूप में काम करेंगी. एनसीबीएल बैंक के ग्राहकों को सारी सेवाएं अब कॉसमॉस बैंक में मिलेंगी.
इससे पहले 31 दिसंबर को आरबीआई ने पहले जारी किए गए कुछ निर्देशों का पालन न करने के लिए कॉसमॉस बैंक पर 8.30 लाख रुपये का मौद्रिक जुर्माना लगाया था. आरबीआई ने कहा कि बैंक ने कुछ व्यक्तिगत उधारकर्ताओं को मंजूर किए गए फ्लोटिंग रेट टर्म लोन पर फोरक्लोजर शुल्क लगाया था.
उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस बैंक के साथ उत्कर्ष कोरइन्वेस्ट का विलय
इसले अलावा, आरबीआई ने उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस बैंक लिमिटेड के साथ उत्कर्ष कोरइन्वेस्ट लिमिटेड के विलय को मंजूरी दे दी है. बैंक ने एक्सचेंज फाइलिंग में यह जानकारी दी. सितंबर में, उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस बैंक के बोर्ड ने अपनी मूल कंपनी के साथ विलय को मंजूरी दे दी थी, जिसका उद्देश्य परिचालन को सरल बनाना, शेयरधारक मूल्य को बढ़ाना और एक मजबूत कंपनी बनाना है.
एनडीटीवी प्रॉफिट की रिपोर्ट के मुताबिक, उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस बैंक के साथ मूल कंपनी उत्कर्ष कोरइन्वेस्ट लिमिटेड का विलय अगले 12-13 महीनों में पूरा हो जाएगा. मुख्य कार्यकारी अधिकारी और प्रबंध निदेशक गोविंद सिंह ने यह जानकारी दी थी.
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