चूरू. सीएम की सभा के बाद जिले के सांडवा थाना अधिकारी हंसराज लूणा पर गाज गिरी है. मामला अशोक गहलोत की सुरक्षा में चूक का बताया जा रहा है. हालांकि पूरे मामले में चूरू एसपी का कहना है कि प्रशासनिक कारणों के चलते सांडवा थानाधिकारी को लाइन हाजिर किया गया है. लेकिन अब सवाल उठ रहे है कि आखिरकार ऐसे कौनसे प्रशासनिक कारण हैं, जिनको चूरू एसपी बता नहीं पा रहे और थानाधिकारी को सीएम की सभा के बाद लाइन हाजिर कर दिया.
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जानकारी यह भी आ रही है कि निर्देश के बावजूद सांडवा थाना अधिकारी ने सीएम की सुरक्षा में पुलिस बल नहीं लगाया और सीएमओ से आए निर्देश के बाद एसपी नारायण टोग्स ने सीएम की सुरक्षा में लापरवाही बरतने वाले थाना अधिकारी को लाइन हाजिर कर दिया. चूरू और बीकानेर की सीमा पर 27 फरवरी को सीएम गहलोत ने अस्लाव ताल में सभा की थी. जिसे लेकर सीएम की सुरक्षा में लगे अधिकारियों की ओर से सभा स्थल सांडवा थाना क्षेत्र से सटा होने के कारण थानाधिकारी से जाप्ते सहित सुरक्षा के लिए तैनात रहने के लिए कहा था. लेकिन थानाधिकारी की ओर से सीएम की सुरक्षा में लगे अधिकारियों को सभा स्थल श्रीडूंगरगढ़ होने व थाने का क्षेत्राधिकार नहीं होना बताकर इससे साफ इनकार कर दिया था.
सभा समाप्त होने के बाद में मामले को लेकर सुरक्षा में तैनात अधिकारियों ने सीएम को इस बात से अवगत करवाया और मामले को गंभीरता से लेते हुए एसपी नारायण टोग्स को लापरवाह पुलिस अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई के लिए कहा गया. जिस पर पुलिस अधीक्षक नारायण टोग्स ने सांडवा थाना अधिकारी हंसराज लूणा को लाइन हाजिर कर दिया. हालांकि अभी तक सांडवा थाने में लाइन हाजिर किए गए थानाधिकारी की जगह किसी और को थाने में नहीं लगाया गया है.