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निजी स्कूलों के मनमाने आदेश का अभिभावकों ने जताया विरोध - सासंद सीपी जोशी

चित्तौड़गढ़ में सोमवार को अपनी विभिन्न मांगों को लेकर जिला अभिभावक संघ के तत्वाधान में अभिभावकों ने प्रदर्शन किया. इस दौरान अभिभावकों ने चेतावनी दी है कि आगामी 7 दिवस में फीस नहीं लौटाई, तो शिक्षण संस्थानों के बाहर उग्र प्रदर्शन किया जाएगा.

स्कूल की फीस लौटाने की मांग, Demand for refund of school fees
अभिभावकों ने किया विरोध-प्रदर्शन
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Published : Jul 6, 2020, 9:45 PM IST

चित्तौड़गढ़. जिला अभिभावक संघ के तत्वावधान में शहर के कई अभिभावकों ने सोमवार को कलेक्ट्रेट चौराहे पर निजी स्कूलों की मनमर्जी, जबरन फीस वसूली और ऑनलाइन शिक्षा के तहत घर पर बच्चों को स्कूल ड्रेस पहना कर पढ़ाई कराने जैसे तुगलकी आदेशों के खिलाफ प्रदर्शन किया. इस दौरान चित्तौड़गढ़ सासंद सीपी जोशी ने भी अभिभावकों के साथ उपस्थित रहकर प्रदर्शन का समर्थन किया.

अभिभावकों ने जताया विरोध

इस दौरान सांसद सीपी जोशी ने कहा कि अभिभावकों के इस विरोध-प्रदर्शन को देखते हुए जिला प्रशासन को इन निजी शिक्षण संस्थानों पर तुरंत लगाम कसते हुए इन्हे पाबंद करने की कार्रवाई करनी चाहिए. अभिभावक संघ के विजय सिंह राजावत ने बताया की अभिभावकों ने 7 दिन पूर्व जिला कलेक्टर को ज्ञापन देकर निजी शिक्षण संस्थानों सीबीएसई बोर्ड और राजस्थान बोर्ड से सम्बंधित स्कूलों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी. इस पर अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है. ना ही किसी भी स्कूल को पाबंद किया गया है.

पढ़ेंः प्रदेशभर में निजी स्कूलों के खिलाफ अभिभावकों ने खोला मोर्चा, बोले- जब तक स्कूल नहीं.. तब तक फीस नहीं

स्कूल प्रबंधक लगातार अभिभावकों को कोरोना काल अप्रैल से जून और जुलाई से सितंबर की अग्रिम फीस जमा करने या चेक प्राप्त करने के लिए फोन करते है. इसके खिलाफ कुछ अभिभावकों ने बताया कि स्कूल प्रबंधन समिति द्वारा बच्चों को घर पर ऑनलाइन एजुकेशन के दौरान स्कूल ड्रेस पहनकर शिक्षा ग्रहण करने का आदेश दिया गया है. यह सभी स्कूलों का ड्रेस बेचने वाले व्यापारियों के साथ साठगांठ और कमीशन का खेल है.

इसमें अभिभावक ऑनलाइन शिक्षा के नाम पर कभी मोबाइल खरीदने और कभी फीस जमा करवाने जैसै फोन करके जबरन परेशान किया जा रहा है. जिला अभिभावक संघ के जिला संयोजक निलेश बल्दवा ने बताया कि अगर निजी शिक्षण संस्थानों द्वारा अभिभावकों को फीस, ड्रेस और ऑनलाइन शिक्षा के लिए बाध्य किया जाएगा, तो ऐसे निजी शिक्षण संस्थानों के स्कूल प्रबंधन समिति और जिला प्रशासन के खिलाफ क्रमबद्ध रूप से शिक्षण संस्थानों के बाहर उग्र प्रदर्शन किया जाएगा.

अभिभावकों से ली हुई फीस मानवीय दृष्टिकोण से पुनः लौटा देनी चाहिए. अभी स्कूल विधिवत रूप से चालू नहीं हुए हैं. ऐसे में बच्चों की पूरी फीस वसूल की जा चुकी है. अभिभावकों ने चेतावनी दी है कि आगामी 7 दिवस में फीस नहीं लौटाई तो शिक्षण संस्थानों के बाहर उग्र प्रदर्शन होगा.

पढ़ेंः भीलवाड़ा: निजी स्कूल की मनमानी पर भड़के अभिभावक, दे डाली ये चेतावनी

जिला अभिभावक संघ के साथ सामाजिक संगठनों ने भी इस आंदोलन में पूर्ण समर्थन के साथ निजी शिक्षण संस्थानों द्वारा किए जा रहे मानसिक दबाव का भी विरोध किया. विरोध के दौरान जिला अभिभावक संघ के संरक्षक मण्डल सदस्य लोकेश त्रिपाठी, पवन पटवारी, अशोक जोशी पूर्व पार्षद, जिला संयोजक निलेश बल्दवा, पंकज मोदी पूर्व पार्षद, प्रदीप काबरा मौजूद रहे.

चित्तौड़गढ़. जिला अभिभावक संघ के तत्वावधान में शहर के कई अभिभावकों ने सोमवार को कलेक्ट्रेट चौराहे पर निजी स्कूलों की मनमर्जी, जबरन फीस वसूली और ऑनलाइन शिक्षा के तहत घर पर बच्चों को स्कूल ड्रेस पहना कर पढ़ाई कराने जैसे तुगलकी आदेशों के खिलाफ प्रदर्शन किया. इस दौरान चित्तौड़गढ़ सासंद सीपी जोशी ने भी अभिभावकों के साथ उपस्थित रहकर प्रदर्शन का समर्थन किया.

अभिभावकों ने जताया विरोध

इस दौरान सांसद सीपी जोशी ने कहा कि अभिभावकों के इस विरोध-प्रदर्शन को देखते हुए जिला प्रशासन को इन निजी शिक्षण संस्थानों पर तुरंत लगाम कसते हुए इन्हे पाबंद करने की कार्रवाई करनी चाहिए. अभिभावक संघ के विजय सिंह राजावत ने बताया की अभिभावकों ने 7 दिन पूर्व जिला कलेक्टर को ज्ञापन देकर निजी शिक्षण संस्थानों सीबीएसई बोर्ड और राजस्थान बोर्ड से सम्बंधित स्कूलों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी. इस पर अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है. ना ही किसी भी स्कूल को पाबंद किया गया है.

पढ़ेंः प्रदेशभर में निजी स्कूलों के खिलाफ अभिभावकों ने खोला मोर्चा, बोले- जब तक स्कूल नहीं.. तब तक फीस नहीं

स्कूल प्रबंधक लगातार अभिभावकों को कोरोना काल अप्रैल से जून और जुलाई से सितंबर की अग्रिम फीस जमा करने या चेक प्राप्त करने के लिए फोन करते है. इसके खिलाफ कुछ अभिभावकों ने बताया कि स्कूल प्रबंधन समिति द्वारा बच्चों को घर पर ऑनलाइन एजुकेशन के दौरान स्कूल ड्रेस पहनकर शिक्षा ग्रहण करने का आदेश दिया गया है. यह सभी स्कूलों का ड्रेस बेचने वाले व्यापारियों के साथ साठगांठ और कमीशन का खेल है.

इसमें अभिभावक ऑनलाइन शिक्षा के नाम पर कभी मोबाइल खरीदने और कभी फीस जमा करवाने जैसै फोन करके जबरन परेशान किया जा रहा है. जिला अभिभावक संघ के जिला संयोजक निलेश बल्दवा ने बताया कि अगर निजी शिक्षण संस्थानों द्वारा अभिभावकों को फीस, ड्रेस और ऑनलाइन शिक्षा के लिए बाध्य किया जाएगा, तो ऐसे निजी शिक्षण संस्थानों के स्कूल प्रबंधन समिति और जिला प्रशासन के खिलाफ क्रमबद्ध रूप से शिक्षण संस्थानों के बाहर उग्र प्रदर्शन किया जाएगा.

अभिभावकों से ली हुई फीस मानवीय दृष्टिकोण से पुनः लौटा देनी चाहिए. अभी स्कूल विधिवत रूप से चालू नहीं हुए हैं. ऐसे में बच्चों की पूरी फीस वसूल की जा चुकी है. अभिभावकों ने चेतावनी दी है कि आगामी 7 दिवस में फीस नहीं लौटाई तो शिक्षण संस्थानों के बाहर उग्र प्रदर्शन होगा.

पढ़ेंः भीलवाड़ा: निजी स्कूल की मनमानी पर भड़के अभिभावक, दे डाली ये चेतावनी

जिला अभिभावक संघ के साथ सामाजिक संगठनों ने भी इस आंदोलन में पूर्ण समर्थन के साथ निजी शिक्षण संस्थानों द्वारा किए जा रहे मानसिक दबाव का भी विरोध किया. विरोध के दौरान जिला अभिभावक संघ के संरक्षक मण्डल सदस्य लोकेश त्रिपाठी, पवन पटवारी, अशोक जोशी पूर्व पार्षद, जिला संयोजक निलेश बल्दवा, पंकज मोदी पूर्व पार्षद, प्रदीप काबरा मौजूद रहे.

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