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चित्तौड़ दुर्ग के गुप्त प्रवेश द्वार पर गिरी आकाशीय बिजली...छतरी हुई क्षतिग्रस्त

चित्तौड़गढ़ दुर्ग के कीर्ति स्तंभ पर गिरी आकाशीय बिजली से हुए नुकसान को लेकर अब तक कोई कार्रवाई नहीं हो पाई है. इस बीच दुर्ग के गुप्त प्रवेश द्वार पर अब बिजली गिरी है.

Chittorgarh Fort, Chittorgarh News
चित्तौड़गढ़ दुर्ग के गुप्त द्वार पर गिरी बिजली
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Published : Oct 4, 2021, 9:48 PM IST

चित्तौड़गढ़. विश्व विख्यात चित्तौड़ दुर्ग के ऐतिहासिक भवन कीर्ति स्तम्भ पर बिजली गिरने से हुए नुकसान की मरम्मत का प्रस्ताव ही कागजों में अटका हुवा है. वहीं दो दिन पहले चित्तौड़ दुर्ग के गुप्त प्रवेश द्वार लाखोटा बारी पर भी बिजली गिरी है. इससे प्रवेश द्वार पर बनी छतरी का शिखर क्षतिग्रत हो गया है.

जानकारी के मुताबिक शनिवार रात को चित्तौड़गढ़ शहर और आस-पास के इलाके में बिजली कड़कने के साथ ही तेज बरसात भी हुई थी. इस दौरान चित्तौड़ दुर्ग पर बिजली गिरने की घटना हुई थी. यहां दुर्ग के पार्श्व भाग में स्थित लाखोटा बारी पर बिजली गिरी. लाखोटा बारी के ऊपर छतरी बनी हुई है. इस छतरी पर बिजली गिरी, जिससे इस पर बना शिखर से क्षतिग्रस्त हो गया. इतना ही नहीं शिखर के ऊपर लगा कमल की आकृति का पत्थर (इन्डा) बिखर गया.

यह भी पढ़ें. जयपुर : एनजीटी ने नाहरगढ़ किले पर सभी वाणिज्यिक गतिविधियों पर लगाई रोक, अब वन विभाग विकसित करेगा इको टूरिज्म

इसके पत्थर दो दिशाओं में बिखरे मिले हैं. शिखर में भी दरार आ गई है और मौके पर काफी चुना बिखरा हुआ है. इसकी जानकारी पुरातत्व विभाग के स्थानीय कर्मचारियों को मिली तो उन्होंने जोधपुर मुख्यालय उच्च अधिकारियों को सूचित किया है. फिलहाल कोई भी कदम इसकी सुरक्षा को लेकर नहीं उठाया गया. बताया जा रहा है कि लाखोटा बारी और गुप्त प्रवेश द्वार का निर्माण 14वीं सदी में महाराणा लाखा ने करवाया था. लाखोटा बारी पर बने दरवाजे का उपयोग दुर्ग पर हुए हमलों के दौरान गुप्त द्वार के रूप में होता था.

चित्तौड़गढ़. विश्व विख्यात चित्तौड़ दुर्ग के ऐतिहासिक भवन कीर्ति स्तम्भ पर बिजली गिरने से हुए नुकसान की मरम्मत का प्रस्ताव ही कागजों में अटका हुवा है. वहीं दो दिन पहले चित्तौड़ दुर्ग के गुप्त प्रवेश द्वार लाखोटा बारी पर भी बिजली गिरी है. इससे प्रवेश द्वार पर बनी छतरी का शिखर क्षतिग्रत हो गया है.

जानकारी के मुताबिक शनिवार रात को चित्तौड़गढ़ शहर और आस-पास के इलाके में बिजली कड़कने के साथ ही तेज बरसात भी हुई थी. इस दौरान चित्तौड़ दुर्ग पर बिजली गिरने की घटना हुई थी. यहां दुर्ग के पार्श्व भाग में स्थित लाखोटा बारी पर बिजली गिरी. लाखोटा बारी के ऊपर छतरी बनी हुई है. इस छतरी पर बिजली गिरी, जिससे इस पर बना शिखर से क्षतिग्रस्त हो गया. इतना ही नहीं शिखर के ऊपर लगा कमल की आकृति का पत्थर (इन्डा) बिखर गया.

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