चित्तौड़गढ़. मानसून की दस्तक देने में महज कुछ ही दिन बाकी रह गए है. ऐसे में किसान खरीफ फसलों की बुवाई की तैयारियों में जुट गए हैं. इसे देखते हुए सोमवार को कृषि विज्ञान केंद्र पर किसान गोष्टी का आयोजन किया गया. जिसमें किसानों को खरीफ फसलों की बुवाई के बारे में बताया गया कि किस प्रकार कम पानी में ज्यादा उत्पादन करें. किसानों को सोयाबीन, मक्का और उड़द की निशुल्क बीज की किट बांटी गई.
निशुल्क बीज पाने वालों में बड़ी संख्या में महिला काश्तकार भी शामिल थी. जनजाति उप योजना के अंतर्गत किसानों को 1 किलो से लेकर 40 किलोग्राम तक बीजों की किट बांटी गई. कृषि वैज्ञानिक और केंद्र प्रभारी डॉ. रतन लाल सोलंकी सहित विशेषज्ञों की ओर से बड़ी सादड़ी से लेकर भदेसर और आसपास के इलाकों से आए काश्तकारों को इस मानसून में किस प्रकार की फसलों की बुवाई की जानी चाहिए जिससे अधिक आर्थिक लाभ कमाया जा सके, इसके बारे में विस्तार से जानकारी दी.
इस मौके पर मुख्य अतिथि सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना और विशिष्ट अतिथि पूर्व विधायक सुरेंद्र सिंह जाड़ावत रहे. सहकारिता मंत्री ने देश में बढ़ती महंगाई के लिए केंद्र सरकार को जिम्मेदार ठहराया. उन्होंने कहा कि किसानों को जो निशुल्क बीज वितरण किया गया है उसका फायदा किसानों को नहीं मिल पाएगा, क्योंकि घर से कृषि केंद्र तक आने-जाने में ही किसानों का उससे ज्यादा पैसा तो पेट्रोल में खर्च हो जाएगा. यह तो केवल किसानों को हाइब्रिड बीज के इस्तेमाल के बारे में प्रेरित करने का जरिया है.
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पूर्व विधायक जाड़ावत ने राज्य सरकार की विभिन्न योजनाओं से किसानों को अवगत कराया. उन्होंने बताया कि सरकार किसानों के हित के लिए काम कर रही है. अंत में अतिथियों ने 50 किसानों को एक 1 किलो हाइब्रिड मक्का के बीज का वितरण किया. साथ ही 50 अन्य काश्तकारों को एक-एक बीघा खेती के लिए सोयाबीन के बीजों की किट वितरित की.