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हिंदुस्तान जिंक के प्लांट आवश्यक सेवाओं के तहत संचालित - Chittaurgarh special story

चितौड़गढ़ के पुठोली स्थित हिंदुस्तान जिंक की ईकाई सरकार के आदेश से संचालित है. ऐसे में यहां कोरोना से बचाव की सारी गाइडलाइंस की पालना की जा रही है.

हिंदुस्तान जिंक Chittaurgarh news
हिंदुस्तान जिंक आवश्यक सेवाओं के तहत संचालित
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Published : Apr 14, 2020, 7:05 PM IST

चितौड़गढ़. हिन्दुस्तान जिंक की इकाइयों और माइंस से आवश्यक उत्पादन होने के कारण लॉकडाउन के दौरान भी प्लांट संचालित करने की अनुमति सरकार ने दी है. ऐसे में हिंदुस्तान जिंक के प्लांट में उत्पादन हो रहा है, लेकिन यहां कोरोना के संक्रमण से बचाव को लेकर सरकार की ओर से जारी आवश्यक निर्देशों की पालना भी की जा रही है. जिससे कोरोना के संक्रमण का खतरा नहीं रहे. साथ ही प्लांट में पहले तो मांग के अनुसार उत्पादन होता था, लेकिन अब सरकार की आवश्यकता के अनुसार उत्पादन हो रहा है.

हिंदुस्तान जिंक आवश्यक सेवाओं के तहत संचालित

भारत सरकार ने लॉकडाउन की अवधि में राष्ट्रीय महत्व के कुछ उद्योगों को अपनी गतिविधियां संचालन के लिए छूट प्रदान की है. जिससे आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति संभव हो सके. इसी कड़ी में हिंदुस्तान जिंक की इकाइयों का आवश्यक शर्तों के साथ संचालन किया जा रहा है. जिले में पुठोली स्थित इस इकाई में जिंक, लेड और सल्फ्यूरिक एसिड खाद, दवाइयां बनाने और अन्य आवश्यक वस्तुएं बनाने में काम आने वाले पदार्थ तैयार होते हैं. साथ ही जिंक में ही पावर प्लांट भी है, जिससे बिजली का उत्पादन होता है.

हिंदुस्तान जिंक Chittaurgarh news
हर दिन होती है सभी की टेम्परेचर जांच

इसी उत्पादित बिजली से प्लांट चलता है और घोसुण्डा बांध भी भेजा जाता है. दूसरी तरफ कुछ बिजली सरकार को भी आपूर्ति की जाती है. वैसे तो सामान्य दिनों में यह प्लांट 24 घंटे चलता है. यहां करीब 3 हजार ठेका कर्मी और करीब 800 नियमित कर्मचारी काम करते हैं. हिंदुस्तान जिंक के उपमुख्य कार्यकारी अधिकारी अरुण मिश्रा ने बताया कि लॉकडाउन के दौरान यह प्लांट सरकार के आदेश के अनुसार दो शिफ्ट में ही चल रहा है. इसमें भी 300 से 400 कर्मचारी ही आ रहे हैं. ऐसे में एक चौथाई श्रमिक ही प्लांट में काम कर रहे हैं. ये भी सुरक्षा का पूरा ध्यान रख रहे हैं.

हिंदुस्तान जिंक Chittaurgarh news
हाथ सैनिटाइज करता कर्मचारी

प्रतिदिन हो रही कर्मचारियों की स्क्रीनिंग

साथ ही अरुण मिश्रा का कहना है कि हिंदुस्तान जिंक प्रबंधन कोरोना संक्रमण से बचाव की निर्धारित सभी बातों का पालन कर रहा है. इसमें सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए किसी भी कार्मिक के आने और जाने के लिए उपलब्ध वाहनों में भी बैठने पर दूरी रखी जा रही है. दैनिक थर्मल स्क्रीनिंग करते हुए उसका रिकॉर्ड दर्ज किया जा रहा है. साथ ही कोरोना संक्रमण को देखते हुए श्रमिकों की उपस्थिति बायोमेट्रिक के माध्यम से नहीं ली जा रही है. दूसरे अन्य जिले से किसी भी कर्मचारी को इकाई में प्रवेश नहीं दिया जा रहा है.

यह भी पढ़ें. Special: जिस संगमरमर के लिए पहचाना जाता है मकराना, आज लॉकडाउन ने उसकी चमक कर दी फीकी

वहीं उद्योग संचालन के समय मेडिकेटेड सैनिटाइजर, साबुन, मास्क और अन्य सुरक्षा उपकरणों का उपयोग किया जा रहा है. साथ ही परिसर को भी समय-समय पर पूरी तरह से सैनिटाइज करने की व्यवस्था की गई है. कोविड-19 से बचाव के लिए सभी उपायों को अपनाया जा रहा है.

दूसरी तरफ उत्पादित माल नहीं हो रहा एक्सपोर्ट

वहीं सभी जगह कामकाज ठप पड़े हुए हैं. ऐसे में यहां से उत्पादित होने वाले माल का एक्सपोर्ट नहीं हो रहा है. सरकार की मांग के अनुसार ही माल का उत्पादन हो रहा है. इसे यूं कह सकते हैं कि सामान्य दिनों में मांग के अनुसार उत्पादन होता था. वहीं अब आवश्यकता के अनुसार उत्पादन हो रहा है. सबसे बड़ी बात यह भी है कि पुठोली स्थित प्लांट देश का एक मात्र प्लांट है, जहां जिंक निकलती है. इन दिनों लॉकडाउन के चलते इसके उत्पादन पर भारी फर्क आया है.

चितौड़गढ़. हिन्दुस्तान जिंक की इकाइयों और माइंस से आवश्यक उत्पादन होने के कारण लॉकडाउन के दौरान भी प्लांट संचालित करने की अनुमति सरकार ने दी है. ऐसे में हिंदुस्तान जिंक के प्लांट में उत्पादन हो रहा है, लेकिन यहां कोरोना के संक्रमण से बचाव को लेकर सरकार की ओर से जारी आवश्यक निर्देशों की पालना भी की जा रही है. जिससे कोरोना के संक्रमण का खतरा नहीं रहे. साथ ही प्लांट में पहले तो मांग के अनुसार उत्पादन होता था, लेकिन अब सरकार की आवश्यकता के अनुसार उत्पादन हो रहा है.

हिंदुस्तान जिंक आवश्यक सेवाओं के तहत संचालित

भारत सरकार ने लॉकडाउन की अवधि में राष्ट्रीय महत्व के कुछ उद्योगों को अपनी गतिविधियां संचालन के लिए छूट प्रदान की है. जिससे आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति संभव हो सके. इसी कड़ी में हिंदुस्तान जिंक की इकाइयों का आवश्यक शर्तों के साथ संचालन किया जा रहा है. जिले में पुठोली स्थित इस इकाई में जिंक, लेड और सल्फ्यूरिक एसिड खाद, दवाइयां बनाने और अन्य आवश्यक वस्तुएं बनाने में काम आने वाले पदार्थ तैयार होते हैं. साथ ही जिंक में ही पावर प्लांट भी है, जिससे बिजली का उत्पादन होता है.

हिंदुस्तान जिंक Chittaurgarh news
हर दिन होती है सभी की टेम्परेचर जांच

इसी उत्पादित बिजली से प्लांट चलता है और घोसुण्डा बांध भी भेजा जाता है. दूसरी तरफ कुछ बिजली सरकार को भी आपूर्ति की जाती है. वैसे तो सामान्य दिनों में यह प्लांट 24 घंटे चलता है. यहां करीब 3 हजार ठेका कर्मी और करीब 800 नियमित कर्मचारी काम करते हैं. हिंदुस्तान जिंक के उपमुख्य कार्यकारी अधिकारी अरुण मिश्रा ने बताया कि लॉकडाउन के दौरान यह प्लांट सरकार के आदेश के अनुसार दो शिफ्ट में ही चल रहा है. इसमें भी 300 से 400 कर्मचारी ही आ रहे हैं. ऐसे में एक चौथाई श्रमिक ही प्लांट में काम कर रहे हैं. ये भी सुरक्षा का पूरा ध्यान रख रहे हैं.

हिंदुस्तान जिंक Chittaurgarh news
हाथ सैनिटाइज करता कर्मचारी

प्रतिदिन हो रही कर्मचारियों की स्क्रीनिंग

साथ ही अरुण मिश्रा का कहना है कि हिंदुस्तान जिंक प्रबंधन कोरोना संक्रमण से बचाव की निर्धारित सभी बातों का पालन कर रहा है. इसमें सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए किसी भी कार्मिक के आने और जाने के लिए उपलब्ध वाहनों में भी बैठने पर दूरी रखी जा रही है. दैनिक थर्मल स्क्रीनिंग करते हुए उसका रिकॉर्ड दर्ज किया जा रहा है. साथ ही कोरोना संक्रमण को देखते हुए श्रमिकों की उपस्थिति बायोमेट्रिक के माध्यम से नहीं ली जा रही है. दूसरे अन्य जिले से किसी भी कर्मचारी को इकाई में प्रवेश नहीं दिया जा रहा है.

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वहीं उद्योग संचालन के समय मेडिकेटेड सैनिटाइजर, साबुन, मास्क और अन्य सुरक्षा उपकरणों का उपयोग किया जा रहा है. साथ ही परिसर को भी समय-समय पर पूरी तरह से सैनिटाइज करने की व्यवस्था की गई है. कोविड-19 से बचाव के लिए सभी उपायों को अपनाया जा रहा है.

दूसरी तरफ उत्पादित माल नहीं हो रहा एक्सपोर्ट

वहीं सभी जगह कामकाज ठप पड़े हुए हैं. ऐसे में यहां से उत्पादित होने वाले माल का एक्सपोर्ट नहीं हो रहा है. सरकार की मांग के अनुसार ही माल का उत्पादन हो रहा है. इसे यूं कह सकते हैं कि सामान्य दिनों में मांग के अनुसार उत्पादन होता था. वहीं अब आवश्यकता के अनुसार उत्पादन हो रहा है. सबसे बड़ी बात यह भी है कि पुठोली स्थित प्लांट देश का एक मात्र प्लांट है, जहां जिंक निकलती है. इन दिनों लॉकडाउन के चलते इसके उत्पादन पर भारी फर्क आया है.

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