भीलवाड़ा. हाल ही में कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव और राज्य बीज निगम के अध्यक्ष धीरज गुर्जर, खेल मंत्री अशोक चांदना ने ट्वीट कर प्रदेश (Kalu Lal Gurjar on tweet of Ashok chandna) में नौकरशाही से नाराजगी जताई थी. वहीं, चित्तौड़गढ़ के बेगू से विधायक राजेंद्र बिधूड़ी ने भी इस मामले में बयान दिया था. इन गुर्जर राजनेताओं के ट्वीट और बयान के बाद शुक्रवार को राजस्थान गुर्जर महासभा के अध्यक्ष व भाजपा के पूर्व मंत्री कालू लाल गुर्जर ने ईटीवी भारत से खास बातचीत की.
उन्होंने कहा कि प्रदेश की सरकार गुर्जरों के साथ बहुत भेदभाव कर रही है. इसीलिए कांग्रेस पार्टी में हमारे गुर्जर राजनेता नौकरशाही के खिलाफ आवाज उठा रहे हैं. मैं उन गुर्जर राजनेताओं को सलाह देता हूं कि उनको कांग्रेस में घुटन महसूस हो रही हो तो वो भाजपा ज्वाइन कर लें. भाजपा में उनका मान सम्मान कांग्रेस से अच्छा रहेगा. प्रदेश में नौकरशाही से राजस्थान के सत्ताधारी दल के कांग्रेस के विधायक ही नाराज नहीं हैं, बल्कि इस लिस्ट में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के सबसे पावरफुल मंत्रियों में से एक अशोक चांदना का नाम भी शामिल है.
अशोक चांदना अपने विभाग के नौकरशाही के दखल से इतने ज्यादा नाराज हैं कि उन्होंने अब मंत्री पद एक जलालत (Kalu lal Gurjar on CM gehlot) लगने लगा है. इसी कारण उन्होंने एक ट्वीट कर उन्हें पदमुक्त करने को कहा था. इससे पहले कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव और राज्य बीज निगम के अध्यक्ष धीरज गुर्जर ने भी नौकरशाही को लेकर ट्वीट किया था. वहीं चित्तौड़गढ़ के बेगू से विधायक राजेंद्र बिधूड़ी ने भी प्रशासन पर सवाल खड़े किए थे.
पायलट को मुख्यमंत्री देखना चाहते हैं: प्रदेश में इन तीन गुर्जर राजनेताओं के बयान और ट्वीट के बाद राजस्थान गुर्जर महासभा के प्रदेश अध्यक्ष कालू लाल गुर्जर ने ईटीवी भारत से खास बातचीत करते हुए कहा कि कांग्रेस का जिस तरह व्यवहार गुर्जर समाज के प्रति है, उनका विस्फोट हो रहा है. सबसे पहले तो मैं कहना चाहूंगा कि सरकार भी गुर्जरों की वजह से ही सत्ता में आई. उस समय गुर्जर जाति को उम्मीद थी कि सचिन पायलट प्रदेश के मुख्यमंत्री बनेंगे, लेकिन मुख्यमंत्री अशोक गहलोत बने. जबकि प्रदेश में कांग्रेस की सरकार लाने के लिए धरातल पर मेहनत सचिन पायलट ने की थी.
गुर्जर समाज सचिन पायलट को मुख्यमंत्री देखना चाहता था इसी कारण हम जैसे भाजपा के राजनेता को भी पराजय का सामना करना पड़ा. आज मुझे हैरानी है कि अशोक चांदना ने भी ट्वीट किया है और लिखा पद जलालत भरी है इसीलिए मंत्री पद से छुटकारा दें. इससे पहले जिले के धीरज गुर्जर और चित्तौड़गढ़ के बेगू से राजेंद्र बिधूड़ी ने भी बयान दिए थे. मैं गुर्जर राजनेताओं को यही सलाह देता हूं कि उनको कांग्रेस में अगर घुटन महसूस हो रही है, तो भाजपा ज्वाइन कर लें. भाजपा में उनका मान सम्मान कांग्रेस से अच्छा होगा. सरकार बनते ही सबसे पहले सचिन पायलट को सीएम नहीं बनाया और फिर उनको छोटे-छोटे विभाग दिए गए.