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बांसवाड़ा में जिला प्रशासन ने सरकार को दिया गिरदावरी रिपोर्ट, अब किसानों को राहत की उम्मीद

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Published : Oct 22, 2019, 7:13 PM IST

बांसवाड़ा में अतिवृष्टि से प्रभावित लोगों को राहत मिलने की उम्मीद है. जिले में मानसून के बाद भारी बारिश के चलते भारी मात्रा में फसल बर्बाद हो गए थे. इसे गंभीरता से लेते हुए जिला प्रशासन ने राज्य सरकार को गिरदावरी रिपोर्ट भेज दी है.

banswara, गिरदावरी रिपोर्ट

बांसवाड़ा. मानसून के बाद अगस्त और सितंबर महीने में जिले में भारी बारिश दर्ज की गई. नदी-नालों में उफान और भारी बारिश के चलते खरीफ की फसल पूरी तरह से बर्बाद हो गई थी. फसल तो दूर की बात है, मवेशियों के लिए चारे-पानी तक की किल्लत झेलनी पड़ी थी.

अतिवृष्टि से प्रभावित लोगों को राहत मिलने की उम्मीद

सरकार के निर्देशानुसार 15 अक्टूबर तक के ब्योरे की गिरदावरी रिपोर्ट भेजी गई. क्योंकि बांसवाड़ा जिला अतिवृष्टि प्रभावित जिलों में शुमार है. ऐसे में जिला प्रशासन द्वारा पहले से ही इसकी तैयारी कर ली गई थी. पटवार हलकों से समय से पहले गिरदावरी रिपोर्ट पहुंच गई. रिपोर्ट को देखते हुए जिले में फसलों के बड़े पैमाने पर बर्बादी का अंदाजा लगाया जा सकता है.

पढ़ें: अब स्टूडेंट्स को हवाई यात्रा का मिलेगा मौका, शिक्षा मंत्री ने की घोषणा

गिरदावरी रिपोर्ट के मुताबिक औसत रूप से जिलेभर में 63 प्रतिशत फसल के खराब होने का अनुमान लगाया जा रहा है. वैसे तो जिले भर में फसलों को नुकसान पहुंचा है लेकिन, सर्वाधिक बर्बादी बागीदौरा तहसील क्षेत्र में सामने आई है. यहां 71 प्रतिशत फसल पूरी तरह से सड़ गई है.

पढ़ेंः बसपा पदाधिकारियों की पिटाई मामले में गहलोत के मंत्री बोले- मायावती 400 किलोमीटर दूर, उन्हें सच्चाई का पता नहीं...

बांसवाड़ा से गिरदावरी रिपोर्ट राज्य सरकार के पाले में पहुंच गई है. नियमानुसार 33 प्रतिशत खराबे के साथ ही सरकारी राहत की प्रक्रिया शुरू हो जाती है. सभी जिला मुख्यालयों से गिरदावरी रिपोर्ट 25 अक्टूबर तक पहुंचने की उम्मीद है. इसके बाद ही सरकार पॉलिसी तय करेगी. देखने वाली बात यह होगी कि सरकार आखिर कितने प्रतिशन फसलों के खराबी को सही मानती है. उसी के अनुरूप बजट जारी होगा.

कार्यवाहक अतिरिक्त जिला कलेक्टर पर्वत सिंह चुंडावत के अनुसार फसली खराबे को देखते हुए उन्होंने पहले ही गिरदावरी के निर्देश जारी कर दिए थे. 15 अक्टूबर तक गिरदावरी रिपोर्ट आनी थी. विभिन्न तहसीलों से गिरदावरी आने के बाद जिले की रिपोर्ट तैयार की गई जिसमें औसत रूप से 63 प्रतिशत फसल को खराब माना गया. गिरदावरी रिपोर्ट सरकार को सौंपने के बाद अब प्रभावित किसानों को किस प्रकार राह दी जानी है. इसे लेकर सरकार के अगले आदेश का इंतजार करना होगा.

बांसवाड़ा. मानसून के बाद अगस्त और सितंबर महीने में जिले में भारी बारिश दर्ज की गई. नदी-नालों में उफान और भारी बारिश के चलते खरीफ की फसल पूरी तरह से बर्बाद हो गई थी. फसल तो दूर की बात है, मवेशियों के लिए चारे-पानी तक की किल्लत झेलनी पड़ी थी.

अतिवृष्टि से प्रभावित लोगों को राहत मिलने की उम्मीद

सरकार के निर्देशानुसार 15 अक्टूबर तक के ब्योरे की गिरदावरी रिपोर्ट भेजी गई. क्योंकि बांसवाड़ा जिला अतिवृष्टि प्रभावित जिलों में शुमार है. ऐसे में जिला प्रशासन द्वारा पहले से ही इसकी तैयारी कर ली गई थी. पटवार हलकों से समय से पहले गिरदावरी रिपोर्ट पहुंच गई. रिपोर्ट को देखते हुए जिले में फसलों के बड़े पैमाने पर बर्बादी का अंदाजा लगाया जा सकता है.

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गिरदावरी रिपोर्ट के मुताबिक औसत रूप से जिलेभर में 63 प्रतिशत फसल के खराब होने का अनुमान लगाया जा रहा है. वैसे तो जिले भर में फसलों को नुकसान पहुंचा है लेकिन, सर्वाधिक बर्बादी बागीदौरा तहसील क्षेत्र में सामने आई है. यहां 71 प्रतिशत फसल पूरी तरह से सड़ गई है.

पढ़ेंः बसपा पदाधिकारियों की पिटाई मामले में गहलोत के मंत्री बोले- मायावती 400 किलोमीटर दूर, उन्हें सच्चाई का पता नहीं...

बांसवाड़ा से गिरदावरी रिपोर्ट राज्य सरकार के पाले में पहुंच गई है. नियमानुसार 33 प्रतिशत खराबे के साथ ही सरकारी राहत की प्रक्रिया शुरू हो जाती है. सभी जिला मुख्यालयों से गिरदावरी रिपोर्ट 25 अक्टूबर तक पहुंचने की उम्मीद है. इसके बाद ही सरकार पॉलिसी तय करेगी. देखने वाली बात यह होगी कि सरकार आखिर कितने प्रतिशन फसलों के खराबी को सही मानती है. उसी के अनुरूप बजट जारी होगा.

कार्यवाहक अतिरिक्त जिला कलेक्टर पर्वत सिंह चुंडावत के अनुसार फसली खराबे को देखते हुए उन्होंने पहले ही गिरदावरी के निर्देश जारी कर दिए थे. 15 अक्टूबर तक गिरदावरी रिपोर्ट आनी थी. विभिन्न तहसीलों से गिरदावरी आने के बाद जिले की रिपोर्ट तैयार की गई जिसमें औसत रूप से 63 प्रतिशत फसल को खराब माना गया. गिरदावरी रिपोर्ट सरकार को सौंपने के बाद अब प्रभावित किसानों को किस प्रकार राह दी जानी है. इसे लेकर सरकार के अगले आदेश का इंतजार करना होगा.

Intro:बांसवाड़ाl अतिवृष्टि से प्रभावित लोगों के लिए राहत की खबर हैl बांसवाड़ा में करीब 63% फसली खराबा माना गया हैl समय से पहले ही जिला प्रशासन द्वारा गिरदावरी रिपोर्ट राज्य सरकार को भेज दी गई हैl वैसे नुकसान को देखते हुए किसानों को खासा राहत मिलने की उम्मीद हैl फिलहाल गेंद राज्य सरकार के पाले में हैl


Body:मानसून के दौरान अगस्त और सितंबर में जिले में भारी बारिश के कई दौर आएl नदी नालों के उफान में आने के साथ ही भारी बारिश से खरीफ की फसल डूब गईl अधिकांश क्षेत्रों में कई दिनों तक फसलें पानी में डूबी रहीl नतीजा यह निकला कि फसलें गल गईl फसल तो दूर की बात मवेशियों के लिए चारे पानी तक की किल्लत हो गईl सरकार के निर्देशानुसार 15 अक्टूबर तक गिरदावरी रिपोर्ट भेजी थीl क्योंकि बांसवाड़ा जिला अतिवृष्टि प्रभावित जिलों में शुमार है ऐसे में जिला प्रशासन द्वारा पहले से ही इसकी तैयारी कर ली गई थीl ऐसे में पटवार हलकों से समय से पहले गिरदावरी रिपोर्ट पहुंच गईl रिपोर्ट में जिले में बड़े पैमाने पर फसलों को नुकसान होना माना गया हैl



Conclusion:गिरधारी रिपोर्ट के अनुसार औसत रूप से जिलेभर में 63% फसली खराबे का अनुमान लगाया गया हैl वैसे तो जिले भर में फसलों को नुकसान पहुंचा है लेकिन सबसे अधिक बागीदौरा तहसील क्षेत्र में 71% खराबे की बात सामने आई हैl जिलेभर का औसत 63% माना गया हैl

सरकार पर नजर

बांसवाड़ा से गिरदावरी रिपोर्ट राज्य सरकार के पाले में पहुंच गई हैl नियमानुसार 33% खराबे के साथ ही सरकारी राहत की प्रक्रिया शुरू हो जाती हैl सभी जिला मुख्यालयों से गिरदावरी रिपोर्ट 25 अक्टूबर तक पहुंचने की उम्मीद हैl उसके बाद ही सरकार पॉलिसी तय करेगीl देखने वाली बात यह होगी कि सरकार आखिर कितना खराबा मानती हैl उसी के अनुरूप बजट जारी होगाl

200000 हेक्टर क्षेत्र में की गई थी बुवाई

कृषि विभाग के आंकड़ों पर नजर डाले तो जिले में खरीफ फसल के दौरान 216940 हेक्टर क्षेत्र में विभिन्न प्रकार की फसलों की बुवाई की गई थीl सबसे अधिक लगभग 100000 हेक्टेयर में मक्का की बुवाई की गई वहीं 17250 हेक्टेयर में धान बोया गयाl जिले में मक्का के बाद सबसे अधिक 70,000 से अधिक हेक्टेयर भूभाग में सोयाबीन की बुवाई की गई थीl कुल मिलाकर 200000 हेक्टेयर क्षेत्र से अधिक भूभाग में खरीफ की फसल बोई गई थीl गिरदावरी रिपोर्ट में 63% खराबे का आकलन किया गया है इस प्रकार करीब 130000 हेक्टेयर क्षेत्र में फसली खराबा माना गया हैl कार्यवाहक अतिरिक्त जिला कलेक्टर पर्वत सिंह चुंडावत के अनुसार फसली खराबे को देखते हुए हमने पहले ही गिरदावरी के निर्देश जारी कर दिए थेl 15 अक्टूबर तक गिरदावरी रिपोर्ट आनी थीl विभिन्न तहसीलों से गिरदावरी आने के बाद जिले की रिपोर्ट तैयार की गई जिसमें औसत रूप से 63% खराब माना गया हैl हमने गिरदावरी रिपोर्ट राज्य सरकार को भेज दी हैl अब प्रभावित किसानों को किस प्रकार राह दी जानी हैं ,सरकार के अगले आदेश का इंतजार हैl

बाइट.... पर्वत सिंह चुंडावत कार्यवाहक अतिरिक्त जिला कलेक्टर बांसवाड़ा
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