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सहकारी उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर ड्रग विभाग की टीम ने मारा छापा, दुकान बंद करके भागे कर्मचारी - अलवर

जिले में उपभोक्ता भंडार की दुकानों को लेकर लंबे समय से शिकायतें मिल रही थी. जिसके बाद ड्रग्स विभाग की टीम ने दुकानों पर छापा मार कार्रवलाई की

दुकान बंद करके भागे कर्मचारी
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Published : Jun 19, 2019, 2:11 PM IST

अलवर. जिले में सहकारिता उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर लंबे समय से गड़बड़ी की शिकायतें मिल रही हैं. जिसके चलते सहकारी मंत्री ने सभी दुकानों की जांच करने व फार्मेसी स्टोर के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए.इसके बाद ड्रग्स विभाग की टीम ने बुधवार को शहर की सभी सहकारी उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर छापे मारे की. इस दौरान दुकानों पर बैठे कर्मचारी दुकाने बंद कर फरार हो गए.

दुकान बंद करके भागे कर्मचारी

दरसअल सहकारी उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर पेंशनरों को दवा मिलती है.करीब दो साल पहले इन दुकानों पर करोड़ों रुपए का घोटाला सामने आया था. दुकानों पर काम करने वाले फार्मासिस्ट पेंशनरों की डायरी पर अपने हिसाब से दवाई उठा लेते थे. इस मामले की जांच कई माह तक चली व कई दोषियों को दुकानों से हटाया गया.

लेकिन उसके बाद से लगातार इन दुकानों की कई तरह शिकायतें मिल रही थी. इन शिकायतों के चलते अलवर पूरे प्रदेश में बदनाम हो रहा था.हाल ही में जयपुर में एक बैठक के दौरान सहकारी मंत्री ने अलवर की सभी दुकानों की जांच करने व फार्मासिस्ट के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे. वहीं इंस्पेक्टर का कहना है कि जांच के दौरान गड़बड़ी मिलने वाले फार्मासिस्टओं के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी.

अलवर. जिले में सहकारिता उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर लंबे समय से गड़बड़ी की शिकायतें मिल रही हैं. जिसके चलते सहकारी मंत्री ने सभी दुकानों की जांच करने व फार्मेसी स्टोर के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए.इसके बाद ड्रग्स विभाग की टीम ने बुधवार को शहर की सभी सहकारी उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर छापे मारे की. इस दौरान दुकानों पर बैठे कर्मचारी दुकाने बंद कर फरार हो गए.

दुकान बंद करके भागे कर्मचारी

दरसअल सहकारी उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर पेंशनरों को दवा मिलती है.करीब दो साल पहले इन दुकानों पर करोड़ों रुपए का घोटाला सामने आया था. दुकानों पर काम करने वाले फार्मासिस्ट पेंशनरों की डायरी पर अपने हिसाब से दवाई उठा लेते थे. इस मामले की जांच कई माह तक चली व कई दोषियों को दुकानों से हटाया गया.

लेकिन उसके बाद से लगातार इन दुकानों की कई तरह शिकायतें मिल रही थी. इन शिकायतों के चलते अलवर पूरे प्रदेश में बदनाम हो रहा था.हाल ही में जयपुर में एक बैठक के दौरान सहकारी मंत्री ने अलवर की सभी दुकानों की जांच करने व फार्मासिस्ट के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे. वहीं इंस्पेक्टर का कहना है कि जांच के दौरान गड़बड़ी मिलने वाले फार्मासिस्टओं के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी.

Intro:
अलवर।
अलवर में सहकारिता उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर लंबे समय से गड़बड़ी की शिकायतें मिल रही हैं। तो इन शिकायतों के चलते अलवर पूरे प्रदेश में बदनाम हो रहा है। इन शिकायतों को देखते हुए हाल ही में सहकारी मंत्री ने सभी दुकानों की जांच करने व फार्मेसी स्टोर के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए। इसके बाद ड्रग्स विभाग की टीम ने बुधवार को अलवर शहर की सभी सहकारी उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर छापे मारे। इस दौरान दुकानों पर बैठे कर्मचारी दुकाने बंद कर फरार हो गए।


Body:दरसअल सहकारी उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर पेंशनरों को दवा मिलती है। करीब दो साल पहले इन दुकानों पर करोड़ों रुपए का घोटाला सामने आया था। दुकानों पर काम करने वाले फार्मासिस्ट पेंशनरों की डायरी पर अपने हिसाब से दवाई उठा लेते थे। इस मामले की जांच कई माह तक चली व कई दोषियों को दुकानों से हटाया गया।

लेकिन उसके बाद से लगातार इन दुकानों पर फार्मेसिस्ट द्वारा गड़बड़ी करने दुकानों पर नहीं बैठने सहित कई तरह की शिकायतें मिल रही थी। इन शिकायतों के चलते अलवर पूरे प्रदेश में बदनाम हो रहा था। हाल ही में जयपुर में एक बैठक के दौरान सहकारी मंत्री ने अलवर की सभी दुकानों की जांच करने व फार्मासिस्ट के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे। इस पर वन विभाग की टीम ने बुधवार को अलवर शहर के सभी सहकारिता भंडार की दुकानों पर छापे मारे विभाग की टीम को देखकर दुकानों पर बैठे लोग दुकानें बंद कर फरार हो गए।


Conclusion: अलवर की सहकारी उपभोक्ता भंडार की दुकानों पर फार्मासिस्ट ने अवैध लोगों को लगा रखे है। यह लोग दुकान पर काम हैं। इसकी एवज में इन लोगों को फार्मासिस्ट 10 हजार रुपए तक वेतन देते हैं। जबकि फार्मेसिस्ट खुद अन्य जगह पर दुकान संचालित करता है। ऐसे में मरीजों की जान के साथ खिलवाड़ होने का खतरा रहता है। तो वही दवाओं में गड़बड़ी होती है। इसलिए पकड़े जाने के डर से दुकानों पर काम करने वाले लोग मौके से फरार हो गए। वहीं विभाग की टीम लगातार पूरे मामले की जांच कर रही है ड्रग इंस्पेक्टर का कहना है कि जांच के दौरान गड़बड़ी मिलने वाले फार्मासिस्ट ओं के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी।

बाइट- ड्रग इंस्पेक्टर
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