उदयपुर. प्रदेश की गहलोत सरकार के लिए बेरोजगारी की समस्या अब चुनौती बनती नजर आ रही है. गहलोत सरकार के खिलाफ युवा फिर से मोर्चा खोलने की तैयारी में हैं. राज्य में विरोध प्रदर्शन के बाद रोजगार की मांग को लेकर युवा सरकार को घेरने के लिए गुजरात कूच करेंगे. ऐसे में राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष उपेन यादव के नेतृत्व में छात्र प्रदर्शन करेंगे. वहीं मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को गुजरात विधानसभा चुनाव में सीनियर ऑब्जर्वर लगाया गया है. उदयपुर पहुंचे उपेन यादव ने (Upen Yadav in udaipur) ईटीवी भारत से खास बातचीत की.
उपेन यादव ने कहा कि राज्य के बेरोजगार युवाओं की मांगों को लेकर लंबे समय से विरोध प्रदर्शन किया गया. लेकिन अब ना तो मुख्यमंत्री सुन रहे हैं और ना ही इन समस्याओं को लेकर सरकार के मंत्री और अधिकारी ध्यान दे रहे हैं. ऐसे में सरकार की वादाखिलाफी को लेकर 21 अगस्त को गुजरात में कूच और सितंबर में महापड़ाव का एलान (Protest against Unemployment) किया जाएगा. उन्होंने कहा कि गुजरात विधानसभा चुनाव में कांग्रेसी नेताओं की होने वाली रैली और सभाओं में काले झंडे दिखाकर प्रदर्शन किया जाएगा.
उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार के 11 से ज्यादा मंत्री और खुद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत भी गुजरात में मौजूद हैं. ऐसे में विभिन्न मांगों को लेकर कांग्रेस के खिलाफ खुला विरोध प्रदर्शन किया जाएगा. प्रदेश सरकार ने एक लाख भर्तियां निकलने के बाद कही, लेकिन यह नहीं बता रहे कि किस विभाग में कौन सी भर्ती निकलेगी. ऐसे में मिशन गुजरात को लेकर प्रदर्शन करेंगे. 21 तारीख को गुजरात में मीटिंग करके सरकार को चुनौती देंगे. लेकिन इसके बावजूद भी अगर सरकार ने हमारी मांगों की तरफ ध्यान नहीं दिया तो सितंबर में गुजरात में महापड़ाव डाला जाएगा.
6 जिलों में युवाओं से संवाद: उपेन ने कहा कि सरकार ने वादे किए लेकिन अब उसकी तरफ ध्यान नहीं दे रही है. उन्होंने कहा कि इसके (Protest in Gujarat on 21 August) कारण युवाओं में आक्रोश है. युवाओं की मांग है कि सरकार ने जो वादे किए उन्हें पूरा करें. ऐसे में राज्य की सरकार उन वादों को पूरा नहीं करेगी सरकार को इसका बहुत बड़ा परिणाम चुकाना पड़ेगा.ऐसे में आगामी 2023 में कांग्रेस की 10 सीटें भी राजस्थान में नहीं आएंगी.ऐसे में जिन मांगों को लेकर लखनऊ में विरोध किया गया उससे बड़ा विरोध प्रदर्शन गुजरात में देखने को मिलेगा.
उपेन जो कहते हैं वह करते नहीं: यादव ने कहा कि हमने सरकार से बेरोजगार युवाओं की उन तमाम योजनाओं पर काम करवाया है, जिसे सरकार लटकाना और भटकाना चाहती थी. उन्होंने कहा कि राजस्थान विश्वविद्यालय के चुनाव में उम्मीदवार नहीं उतारा गया वो छात्रों से चर्चा के बाद की गई है. ऐसे में छात्रों ने सरकार को रोजगार को लेकर विरोध की बात कही थी. इस बार 2023 के चुनाव में जात-पात के आधार पर नहीं बल्कि रोजगार के आधार पर वोट दिए जाएंगे.