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प्रदेश के इन जिलों में 7 मार्च से होगी नहरबंदी - नहर मरम्मत कार्य

प्रदेश के 9 जिलों में इस बार गर्मी के मौसम (Summer season) में पानी का भंयकर संकट (Water crisis) पैदा होने जा रहा है. प्रदेश की जीवन रेखा (Lifeline) कही जाने वाली इंदिरा गांधी नहर (Indira Gandhi Canal) को मरम्मत के चलते गर्मियों में लगभग ढाई महीने बंद (Close) रखने की योजना है.

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7 मार्च से होगी नहरबंदी
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Published : Mar 5, 2021, 5:21 PM IST

Updated : Mar 5, 2021, 6:17 PM IST

नागौर. प्रदेश में नौ जिलों को पेयजल और सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध करवाने वाली इंदिरा गांधी नहर में आगामी 7 मार्च से नहरबंदी शुरू होनी प्रस्तावित है. इसमें खासबात यह है कि यह नहरबंदी आज तक के इतिहास में सबसे बड़ी नहरबंदी कही जा सकती है. नहरी इलाकों में 84 दिन की नहरबंदी की बात अधिकारियों की ओर से कही जा रही है.

7 मार्च से होगी नहरबंदी

इंदिरा गांधी मुख्य नहर में मरम्मत और लाइनिंग कार्य करने से 7 मार्च से नागौर, बीकानेर, झुंझुनू और जोधपुर सहित अन्य जिलों में 84 दिन का क्लोजर शुरू होगा. वहीं 8 मार्च से नहर में पंजाब और गंगानगर के किसानों को सिंचाई का पानी नहीं मिलेगा. लेकिन नागौर के लिए नोखा दैया के नागौर लिफ्ट परियोजना के लिए दो आरडब्यूआर की 10,110 मिलियन लीटर पानी से नागौर के गांवों और बड़े शहरों को अप्रैल से जून माह के दौरान पीने का पानी मिलेगा. नहरबंदी के निर्धारित समय से आगामी 30 दिन तक नहर से पीने के पानी को भी बंद कर दिया जाएगा. इस दौरान शहर और गांवों को स्टोरेज डेम से एक दिन छोड़कर सप्लाई दी जाएगी.

यह भी पढ़ें: बीकानेर: इंदिरा गांधी नहर की मरम्मत के लिए 84 दिन की नहरबंदी 7 मार्च से

बता दें कि नागौर में मार्च, अप्रैल और मई के दौरान 280 एमएलडी की डिमांड रहेगी. परियोजना से 12 शहर और 990 गांवों को लेकर व्यवस्था की गई है. अधिकारियों के मुताबिक कुल मिलाकर नहरबंदी 84 दिन की होगी. मगर शुरुआती 54 दिन तक पीने का पानी मिलेगा. इस दौरान सिंचाई के लिए नहर का पानी नहीं मिलेगा. अंतिम 30 से 35 दिन तक पीने का पानी भी नहर से नहीं मिलेगा. इस दौरान स्थानीय स्रोतों और स्टोरेज डेम से सप्लाई बहाल की जाएगी.

यह भी पढ़ें: नहरबंदी टालने के लिए केंद्रीय मंत्री अर्जुन मेघवाल का सीएम गहलोत को पत्र, फोन पर भी की बात

अधिकारियों ने नहरबंदी के दौरान पानी को सहेजकर रखने और जरूरत के मुताबिक ही इस्तेमाल करने की अपील की है. उनका कहना है कि नहरबंदी के कारण कुछ समय के लिए निर्धारित मात्रा में जलापूर्ति प्रभावित हो सकती है. नहर क्षतिग्रस्त होने के कारण 35 से 40 प्रतिशत पानी की छीजत हो रही है, जिससे अंतिम छोर तक सुचारू आपूर्ति में दिक्कतें आती हैंं. ऐसे में नहरबंदी कर जीर्णोद्धार कार्य करवाना जरूरी है.

नागौर. प्रदेश में नौ जिलों को पेयजल और सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध करवाने वाली इंदिरा गांधी नहर में आगामी 7 मार्च से नहरबंदी शुरू होनी प्रस्तावित है. इसमें खासबात यह है कि यह नहरबंदी आज तक के इतिहास में सबसे बड़ी नहरबंदी कही जा सकती है. नहरी इलाकों में 84 दिन की नहरबंदी की बात अधिकारियों की ओर से कही जा रही है.

7 मार्च से होगी नहरबंदी

इंदिरा गांधी मुख्य नहर में मरम्मत और लाइनिंग कार्य करने से 7 मार्च से नागौर, बीकानेर, झुंझुनू और जोधपुर सहित अन्य जिलों में 84 दिन का क्लोजर शुरू होगा. वहीं 8 मार्च से नहर में पंजाब और गंगानगर के किसानों को सिंचाई का पानी नहीं मिलेगा. लेकिन नागौर के लिए नोखा दैया के नागौर लिफ्ट परियोजना के लिए दो आरडब्यूआर की 10,110 मिलियन लीटर पानी से नागौर के गांवों और बड़े शहरों को अप्रैल से जून माह के दौरान पीने का पानी मिलेगा. नहरबंदी के निर्धारित समय से आगामी 30 दिन तक नहर से पीने के पानी को भी बंद कर दिया जाएगा. इस दौरान शहर और गांवों को स्टोरेज डेम से एक दिन छोड़कर सप्लाई दी जाएगी.

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बता दें कि नागौर में मार्च, अप्रैल और मई के दौरान 280 एमएलडी की डिमांड रहेगी. परियोजना से 12 शहर और 990 गांवों को लेकर व्यवस्था की गई है. अधिकारियों के मुताबिक कुल मिलाकर नहरबंदी 84 दिन की होगी. मगर शुरुआती 54 दिन तक पीने का पानी मिलेगा. इस दौरान सिंचाई के लिए नहर का पानी नहीं मिलेगा. अंतिम 30 से 35 दिन तक पीने का पानी भी नहर से नहीं मिलेगा. इस दौरान स्थानीय स्रोतों और स्टोरेज डेम से सप्लाई बहाल की जाएगी.

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अधिकारियों ने नहरबंदी के दौरान पानी को सहेजकर रखने और जरूरत के मुताबिक ही इस्तेमाल करने की अपील की है. उनका कहना है कि नहरबंदी के कारण कुछ समय के लिए निर्धारित मात्रा में जलापूर्ति प्रभावित हो सकती है. नहर क्षतिग्रस्त होने के कारण 35 से 40 प्रतिशत पानी की छीजत हो रही है, जिससे अंतिम छोर तक सुचारू आपूर्ति में दिक्कतें आती हैंं. ऐसे में नहरबंदी कर जीर्णोद्धार कार्य करवाना जरूरी है.

Last Updated : Mar 5, 2021, 6:17 PM IST
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