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प्रहलाद गुंजल के करीबी इन दो पार्षदों को यूडीएच ने किया निलंबित - Billu Balita and Rakesh Putra Suspended

राजस्थान में कोटा उत्तर नगर निगम के दो पार्षदों को (UDH Suspended Two Counselors in Kota) स्वायत शासन विभाग ने निलंबित कर दिया है. दोनों पार्षद 2020 में हुए नगर निगम चुनाव में जीत कर आए थे. दोनों ने निर्दलीय चुनाव भारतीय जनता पार्टी से टिकट नहीं मिलने पर लड़ा था और दोनों ही पूर्व विधायक प्रहलाद गुंजल (Action on Prahlad Gunjal Close Counselors) के करीबी हैं. दोनों पार्षदों में राकेश पुटरा और बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू बालिता पर अवैध खनन और अतिक्रमण करने के आरोप लगाए गए थे.

ex bjp mla in kota
राकेश पुटरा और बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू बालिता पर कार्रवाई
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Published : Nov 29, 2021, 3:13 PM IST

Updated : Nov 29, 2021, 7:17 PM IST

कोटा. पूर्व विधायक प्रहलाद गुंजल के दो करीबियों पर (UDH Suspended Two Counselors in Kota) यूडीएच ने कार्रवाई करते हुए निलंबित कर दिया है. दोनों पार्षदों में राकेश पुटरा और बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू बालिता पर अवैध खनन और अतिक्रमण करने के आरोप लगाए गए थे.

पढ़ें : Ajmer : CM गहलोत ने RPSC परिसर में नए ब्लॉक का शिलान्यास और आयोग के ग्रीवेंस पोर्टल को किया लॉन्च

पढ़ें : कोटा में BJP के दो नेताओं का शक्ति प्रदर्शन, पूर्व विधायक गुंजल सहित 25 के खिलाफ केस दर्ज

इन आरोपों को स्वायत शासन विभाग (UDH) के निदेशक दीपक नंदी दोनों पर लगे आरोप प्रमाणित माने हैं. जिनके आधार पर ही उन्हें निलंबित करने के आदेश दिए गए हैं. हाल ही में पार्षद बिल्लू बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू को बूंदी जिले की तालेड़ा पुलिस ने गिरफ्तार किया था. इससे पहले कोटा शहर की कुन्हाड़ी थाना पुलिस भी उनके खिलाफ कार्रवाई कर चुकी है.

यह लगे हैं पार्षदों पर आरोप, मिट्टी चोरी और दूसरे पर अतिक्रमण...

राकेश सुमन पुटरा 2014 में भी पार्षद रहे हैं. तब भारतीय जनता पार्टी से जीते थे, लेकिन 2020 के चुनाव में उनका टिकट काट दिया. इसके बाद उन्होंने निर्दलीय हुंकार भरते हुए जीत दर्ज की थी. उनके खिलाफ लैंडमार्क सिटी के नजदीक कमला उद्यान में एक पार्क पर अवैध कब्जा करने जमाने और पक्का निर्माण करने का आरोप लगा था. जिसमें पार्क को खुर्द-बुर्द करने के भी आरोप लगाए गए. इसी तरह से बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू बालिता खिलाफ भी नगर विकास न्यास की जमीन पर से मिट्टी की अवैध रूप से खुदाई कर उस मिट्टी को खुर्द-बुर्द करने के आरोप लगे थे.

पढ़ें : कोयले की कमी से आया बिजली संकट राजस्थान नहीं, पूरे देश में...यह केंद्र सरकार का कू-प्रबंधन : मंत्री धारीवाल

इस संबंध में यूआईटी ने मुकदमा भी कुन्हाड़ी थाने में दर्ज करवाया था. जिस पर बिल्लू को पुलिस ने गिरफ्तार की भी किया था, साथ ही बिल्लू के घर से मिट्टी बरामद भी की गई थी. दोनों मामलों में यूआईटी ने कुन्हाड़ी थाने में मुकदमा दर्ज करवाया था. जिसमें पुलिस ने आरोप प्रमाणित माने थे, बाद में राज्य सरकार ने इस मामले को विधि विभाग को भिजवाया था. जिसके बाद ही उन्हें निलंबित किया गया है. निलंबित किए गए दोनों पार्षद पूर्व विधायक प्रहलाद गुंजल की बैठकों और मीटिंग में अक्सर नजर आते हैं. वर्तमान में दोनों निर्दलीय पार्षद हैं.

निलंबित पार्षद बोले- यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल निकाल रहे हैं राजनीतिक द्वेषता...

निलंबित किए गए वार्ड नंबर 49 के पार्षद बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू बालिता का कहना है कि यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल के द्वारा पूर्ण कार्रवाई उनके ऊपर करवाई गई है. उनका कहना है कि इस मामले में उनका कोई भी लेना देना नहीं था. उसमें जबरन उनके खिलाफ कार्रवाई की गई. उनके वाहनों को पकड़ लिया गया. इस मामले में पुलिस ने चालान भी पेश कर दिया है, जिसमें कुछ भी नहीं निकला है. इसके बावजूद भी उन्हें निलंबित किया गया है.

इस पूरे मामले को लेकर वह कोर्ट से लेकर हर मोर्चे पर लड़ेंगे. क्योंकि यह पूर्णतया राजनीतिक द्वेषता की राजनीति का ही नतीजा है, जो यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल कर रहे हैं. वार्ड नंबर 50 से निर्दलीय पार्षद राकेश सुमन पुटरा का कहना है कि राजनीतिक व्यवस्था के चलते ही उन्हें निलंबित किया गया है. सरकार कांग्रेस की है और वह भारतीय जनता पार्टी के समर्थित हैं. जिस जगह पर अतिक्रमण बताकर कार्रवाई की गई है, वह जमीन मालिक का ही कुआं और धार्मिक स्थल है.

कोटा. पूर्व विधायक प्रहलाद गुंजल के दो करीबियों पर (UDH Suspended Two Counselors in Kota) यूडीएच ने कार्रवाई करते हुए निलंबित कर दिया है. दोनों पार्षदों में राकेश पुटरा और बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू बालिता पर अवैध खनन और अतिक्रमण करने के आरोप लगाए गए थे.

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इन आरोपों को स्वायत शासन विभाग (UDH) के निदेशक दीपक नंदी दोनों पर लगे आरोप प्रमाणित माने हैं. जिनके आधार पर ही उन्हें निलंबित करने के आदेश दिए गए हैं. हाल ही में पार्षद बिल्लू बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू को बूंदी जिले की तालेड़ा पुलिस ने गिरफ्तार किया था. इससे पहले कोटा शहर की कुन्हाड़ी थाना पुलिस भी उनके खिलाफ कार्रवाई कर चुकी है.

यह लगे हैं पार्षदों पर आरोप, मिट्टी चोरी और दूसरे पर अतिक्रमण...

राकेश सुमन पुटरा 2014 में भी पार्षद रहे हैं. तब भारतीय जनता पार्टी से जीते थे, लेकिन 2020 के चुनाव में उनका टिकट काट दिया. इसके बाद उन्होंने निर्दलीय हुंकार भरते हुए जीत दर्ज की थी. उनके खिलाफ लैंडमार्क सिटी के नजदीक कमला उद्यान में एक पार्क पर अवैध कब्जा करने जमाने और पक्का निर्माण करने का आरोप लगा था. जिसमें पार्क को खुर्द-बुर्द करने के भी आरोप लगाए गए. इसी तरह से बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू बालिता खिलाफ भी नगर विकास न्यास की जमीन पर से मिट्टी की अवैध रूप से खुदाई कर उस मिट्टी को खुर्द-बुर्द करने के आरोप लगे थे.

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इस संबंध में यूआईटी ने मुकदमा भी कुन्हाड़ी थाने में दर्ज करवाया था. जिस पर बिल्लू को पुलिस ने गिरफ्तार की भी किया था, साथ ही बिल्लू के घर से मिट्टी बरामद भी की गई थी. दोनों मामलों में यूआईटी ने कुन्हाड़ी थाने में मुकदमा दर्ज करवाया था. जिसमें पुलिस ने आरोप प्रमाणित माने थे, बाद में राज्य सरकार ने इस मामले को विधि विभाग को भिजवाया था. जिसके बाद ही उन्हें निलंबित किया गया है. निलंबित किए गए दोनों पार्षद पूर्व विधायक प्रहलाद गुंजल की बैठकों और मीटिंग में अक्सर नजर आते हैं. वर्तमान में दोनों निर्दलीय पार्षद हैं.

निलंबित पार्षद बोले- यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल निकाल रहे हैं राजनीतिक द्वेषता...

निलंबित किए गए वार्ड नंबर 49 के पार्षद बलविंदर सिंह उर्फ बिल्लू बालिता का कहना है कि यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल के द्वारा पूर्ण कार्रवाई उनके ऊपर करवाई गई है. उनका कहना है कि इस मामले में उनका कोई भी लेना देना नहीं था. उसमें जबरन उनके खिलाफ कार्रवाई की गई. उनके वाहनों को पकड़ लिया गया. इस मामले में पुलिस ने चालान भी पेश कर दिया है, जिसमें कुछ भी नहीं निकला है. इसके बावजूद भी उन्हें निलंबित किया गया है.

इस पूरे मामले को लेकर वह कोर्ट से लेकर हर मोर्चे पर लड़ेंगे. क्योंकि यह पूर्णतया राजनीतिक द्वेषता की राजनीति का ही नतीजा है, जो यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल कर रहे हैं. वार्ड नंबर 50 से निर्दलीय पार्षद राकेश सुमन पुटरा का कहना है कि राजनीतिक व्यवस्था के चलते ही उन्हें निलंबित किया गया है. सरकार कांग्रेस की है और वह भारतीय जनता पार्टी के समर्थित हैं. जिस जगह पर अतिक्रमण बताकर कार्रवाई की गई है, वह जमीन मालिक का ही कुआं और धार्मिक स्थल है.

Last Updated : Nov 29, 2021, 7:17 PM IST
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