जोधपुर. डॉक्टर एसएन मेडिकल कॉलेज के इंटर्न डॉक्टर्स का अपने स्टाइपेंड बढ़ाने की मांग को लेकर दस दिनों से हड़ताल चल रही है. जोधपुर के साथ साथ यह हड़ताल पूरे प्रदेश के सरकारी मेडिकल कॉलेज में चल रही है. गुरुवार को हड़ताली इन्टर्नस ने एमडीएम अस्पताल के बाहर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के खिलाफ जमकर विरोध प्रदर्शन किया. इन्टर्नस का कहना है कि हमें वर्तमान में प्रतिदिन 233 रुपए का मानदेय दिया जा रहा है, जो न्यूनतम मजदूरी से भी कम है और मनरेगा मजदूर से भी कम है.
10 दिन से हम हड़ताल पर हैं, लेकिन किसी भी सरकारी अधिकारी ने आकर हमारी मांगों को लेकर हम से बात नहीं की है. न ही सरकार के स्तर पर कोई प्रयास किए गए हैं, जबकि हम इंटर्न को फ्रंटलाइन वर्कर बताकर कोरोना की भी ड्यूटी करवाई जा रही थी. हमने लगातार छह माह तक काम भी किया, लेकिन सरकार अब हमारी मांगों को सुनने के लिए भी तैयार नहीं है. इंटर्न डॉक्टर का आंदोलन पूरे प्रदेश के सातों सरकारी मेडिकल कॉलेज में चल रहा है.
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सरकार द्वारा इस पर ध्यान नहीं दिए जाने से गुरुवार से जयपुर में राज्य स्तर पर भूख हड़ताल भी शुरू हो गई है, जिसमें पूरे प्रदेश की सरकारी मेडिकल कॉलेज के इंटर्न डॉक्टर भाग ले रहे हैं. वहीं जोधपुर से भी कुछ इंटर्न डॉक्टर भूख हड़ताल में शामिल होने के लिए जयपुर गए हैं. बता दें कि एमबीबीएस करने वाले मेडिकोज के अंतिम एक साल की अवधि को इंटर्नशिप कहा जाता है. इस दौरान वे अस्पतालों में क्लीनिकल ड्यूटी करते हैं. इस इंटर्नशिप के बाद में बतौर एमबीबीएस डॉक्टर कॉउंसिल में रजिस्ट्रेशन के लिए एलिजेबल होते हैं.