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रेगिस्तान की बदलेगी तस्वीर और तकदीर...रिफाइनरी का काम जोरों पर, 38 हजार करोड़ का टेंडर जारी - बाड़मेर ड्रीम प्रोजेक्ट रिफाइनरी

सबसे बड़े ड्रीम प्रोजेक्ट रिफाइनरी को लेकर अब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पूरी तरीके से संवेदनशील नजर आ रहे हैं. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत रिफाइनरी क्षेत्र का अब तक तीन बार दौरा कर चुके हैं. उसके बाद लगातार अपने सलाहकार यानी गोविंद शर्मा को भेजकर हर महीने रिफाइनरी के कार्यों की प्रगति रिपोर्ट ले रहे हैं. हाल ही में मुख्यमंत्री के सलाहकार गोविंद शर्मा ने बाड़मेर के जिला कलेक्टर सहित कंपनी के अधिकारियों से वर्तमान स्थिति के बारे में सरकार को अवगत करवाया है.

barmer Refinery project,38 thousand crore tender issue
रेगिस्तान की बदलेगी तस्वीर और तकदीर...
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Published : Mar 13, 2021, 9:08 AM IST

बाड़मेर. सबसे बड़े ड्रीम प्रोजेक्ट रिफाइनरी को लेकर अब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पूरी तरीके से संवेदनशील नजर आ रहे हैं. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत रिफाइनरी क्षेत्र का अब तक तीन बार दौरा कर चुके हैं. उसके बाद लगातार अपने सलाहकार यानी गोविंद शर्मा को भेजकर हर महीने रिफाइनरी के कार्यों की प्रगति रिपोर्ट ले रहे हैं. हाल ही में मुख्यमंत्री के सलाहकार गोविंद शर्मा ने बाड़मेर के जिला कलेक्टर सहित कंपनी के अधिकारियों से वर्तमान स्थिति के बारे में सरकार को अवगत करवाया है. बाड़मेर जिला कलेक्टर विश्राम मीणा के अनुसार, अब तक 38 हजार करोड़ रुपए के टेंडर जारी हो चुके हैं.

बाड़मेर रिफाइनरी का काम जोरों पर...

जब से रेगिस्तान की सर जमीन पर तेल निकला है. उसके बाद से ही रेगिस्तान की तस्वीर बदल गई है. यह वही रेगिस्तान है, जिसे काले पानी की सजा के नाम से जाना जाता था. लेकिन, अब पिछले 10 15 सालों में जबसे क्रूड आयल निकला है. तब से लेकर अब तक राजस्थान नहीं पूरे देश में सबसे अधिक प्रति व्यक्ति आय वाला जिला भी बाड़मेर का नाम शामिल हो गया है. रिफाइनरी को लेकर मुख्यमंत्री काफी गंभीर है. मुख्यमंत्री खुद इस प्रोजेक्ट की कार्य प्रगति के बारे में मॉनिटरिंग कर रहे हैं. रिफाइनरी सरकार का अहम सपना है, जिसे समयबद्ध अमलीजामा पहनाने के लिए परस्पर तालमेल के साथ सभी अधिकारी गंभीर रहे.

पढ़ें: सार्वजनिक निर्माण विभाग की समीक्षा बैठक...अभियंताओं के साथ मुख्यमंत्री का संवाद

मुख्यमंत्री के साफ निर्देश है कि इसमें किसी भी प्रकार की कोताही बर्दाश्त योग्य नहीं होगी. मुख्यमंत्री के सलाहकार गोविंद शर्मा ने अब तक हुए कार्यों का बारीकी से निरीक्षण व समीक्षा कर शर्मा ने प्रस्तावित कार्यों की जानकारी ली. रिफाइनरी प्रोजेक्ट में कुल 45 हजार करोड़ रुपये की लागत आएगी. जब से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सरकार आई है, तब से ताबड़तोड़ तरीके से रिफाइनरी को 2022 में समय पर पूरा करने के लिए सरकार लगातार एक के बाद एक टेंडर प्रक्रिया जारी करके कार्य कर रही है.

बाड़मेर जिला कलेक्टर विश्राम मीणा ने बताया कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत लगातार हमसे रिफाइनरी प्रोजेक्ट की रिपोर्ट ले रहे हैं. साथ ही, हाल ही में मुख्यमंत्री के सलाहकार गोविंद शर्मा ने रिफाइनरी क्षेत्र का दौरा कर वर्तमान स्थिति के बारे में जानकारी ली. साथ ही, रेवेन्यू और अन्य संबंधित आने वाली समस्याओं के बारे में भी हमने सरकार को अवगत करवाया है. पचपदरा रिफाइनरी राजस्थान का सबसे बड़ा प्रोजेक्ट है. इसके मूर्त रूप लेने के बाद क्षेत्र की दिशा ही नहीं, प्रदेश में विकास के नए आयाम स्थापित होंगे. तस्वीर और तकदीर बदलने के लिए यह प्रोजेक्ट मील का पत्थर साबित होगा. प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से हजारों लोगों को रोजगार के अवसर प्राप्त होंगे.

बाड़मेर. सबसे बड़े ड्रीम प्रोजेक्ट रिफाइनरी को लेकर अब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पूरी तरीके से संवेदनशील नजर आ रहे हैं. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत रिफाइनरी क्षेत्र का अब तक तीन बार दौरा कर चुके हैं. उसके बाद लगातार अपने सलाहकार यानी गोविंद शर्मा को भेजकर हर महीने रिफाइनरी के कार्यों की प्रगति रिपोर्ट ले रहे हैं. हाल ही में मुख्यमंत्री के सलाहकार गोविंद शर्मा ने बाड़मेर के जिला कलेक्टर सहित कंपनी के अधिकारियों से वर्तमान स्थिति के बारे में सरकार को अवगत करवाया है. बाड़मेर जिला कलेक्टर विश्राम मीणा के अनुसार, अब तक 38 हजार करोड़ रुपए के टेंडर जारी हो चुके हैं.

बाड़मेर रिफाइनरी का काम जोरों पर...

जब से रेगिस्तान की सर जमीन पर तेल निकला है. उसके बाद से ही रेगिस्तान की तस्वीर बदल गई है. यह वही रेगिस्तान है, जिसे काले पानी की सजा के नाम से जाना जाता था. लेकिन, अब पिछले 10 15 सालों में जबसे क्रूड आयल निकला है. तब से लेकर अब तक राजस्थान नहीं पूरे देश में सबसे अधिक प्रति व्यक्ति आय वाला जिला भी बाड़मेर का नाम शामिल हो गया है. रिफाइनरी को लेकर मुख्यमंत्री काफी गंभीर है. मुख्यमंत्री खुद इस प्रोजेक्ट की कार्य प्रगति के बारे में मॉनिटरिंग कर रहे हैं. रिफाइनरी सरकार का अहम सपना है, जिसे समयबद्ध अमलीजामा पहनाने के लिए परस्पर तालमेल के साथ सभी अधिकारी गंभीर रहे.

पढ़ें: सार्वजनिक निर्माण विभाग की समीक्षा बैठक...अभियंताओं के साथ मुख्यमंत्री का संवाद

मुख्यमंत्री के साफ निर्देश है कि इसमें किसी भी प्रकार की कोताही बर्दाश्त योग्य नहीं होगी. मुख्यमंत्री के सलाहकार गोविंद शर्मा ने अब तक हुए कार्यों का बारीकी से निरीक्षण व समीक्षा कर शर्मा ने प्रस्तावित कार्यों की जानकारी ली. रिफाइनरी प्रोजेक्ट में कुल 45 हजार करोड़ रुपये की लागत आएगी. जब से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सरकार आई है, तब से ताबड़तोड़ तरीके से रिफाइनरी को 2022 में समय पर पूरा करने के लिए सरकार लगातार एक के बाद एक टेंडर प्रक्रिया जारी करके कार्य कर रही है.

बाड़मेर जिला कलेक्टर विश्राम मीणा ने बताया कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत लगातार हमसे रिफाइनरी प्रोजेक्ट की रिपोर्ट ले रहे हैं. साथ ही, हाल ही में मुख्यमंत्री के सलाहकार गोविंद शर्मा ने रिफाइनरी क्षेत्र का दौरा कर वर्तमान स्थिति के बारे में जानकारी ली. साथ ही, रेवेन्यू और अन्य संबंधित आने वाली समस्याओं के बारे में भी हमने सरकार को अवगत करवाया है. पचपदरा रिफाइनरी राजस्थान का सबसे बड़ा प्रोजेक्ट है. इसके मूर्त रूप लेने के बाद क्षेत्र की दिशा ही नहीं, प्रदेश में विकास के नए आयाम स्थापित होंगे. तस्वीर और तकदीर बदलने के लिए यह प्रोजेक्ट मील का पत्थर साबित होगा. प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से हजारों लोगों को रोजगार के अवसर प्राप्त होंगे.

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