जोधपुर. तेलंगाना से प्रवासी मजदूरों को लेकर राजस्थान में पहली ट्रेन गुरुवार सुबह जोधपुर पहुंची. इस ट्रेन में 921 प्रवासी लोग थे, जो राज्य के विभिन्न जिलों के मूल निवासी हैं. जोधपुर पहुंचने पर सभी प्रवासियों की स्क्रीनिंग सैनिटाइजेशन की गई. इसके बाद सरकारी बसों से इनके जिलों में रवाना किया गया.
जिला कलेक्टर प्रकाश राजपुरोहित ने बताया कि जोधपुर जिले में जो भी प्रवासी आएगा. उसे 28 दिन होम क्वॉरेंटाइन में रखा जाएगा. ट्रेन से वापस आने वालों में सर्वाधिक 160 यात्री नागौर जिले के थे, सभी यात्रियों को रास्ते के लिए पानी की बोतल और भोजन के पैकेट भी दिए गए.
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हालांकि बुधवार को जिला प्रशासन ने जोधपुर मुख्य स्टेशन पर ट्रेन के पहुंचने को लेकर ट्रायल किया था, लेकिन देर रात इसे बदलकर भगत की कोठी उपनगरीय स्टेशन पर कर दिया गया. सुबह करीब 9 बजे ट्रेन पहुंची. प्रवासियों ने बताया कि तेलंगाना में परेशानियां भी थी, लेकिन सरकार के इंतजाम बहुत अच्छे थे. कुछ यात्रियों ने यह भी बताया कि काम हमारा चालू था, लेकिन घर आने की इच्छा हो गई इसलिए वहां रुकना उचित नहीं समझा.
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कुछ प्रवासी मजदूरों ने बताया कि स्थितियां परेशान करने वाली थी. सरकार की ओर से मिलने वाले खाने पर ही निर्भर थे. कुछ लोगों के पैसे भी खत्म हो गए थे. ट्रेन में कुछ लोग अपने परिवार के साथ ही अपने गांव लौट आए हैं. स्क्रीनिंग के दौरान जालोर निवासी एक युवक में लक्षण नजर आने पर उसे 108 से अस्पताल जांच के लिए ले जाया गया. ट्रेन में जोधपुर के अलावा जालोर, सिरोही, पाली, नागौर, अजमेर, अलवर, जयपुर, सीकर, झुंझुनू, चूरू सहित अन्य जिलों के प्रवासी थे.