जयपुर: भारतीय जनता पार्टी की ओर से पूरे देश में मोदी कैबिनेट के नए मंत्रियों की ओर से जन आशीर्वाद यात्रा निकाली जा रही है. राजस्थान में इसकी कमान संभाली है केन्द्रीय मंत्री भूपेन्द्र यादव ने. जिनकी अगुवाई में रैली आगे बढ़ रही है. कांग्रेस, भाजपा के इस अंदाज के मायने निकाल रही है. वो इसे पूनिया के आत्मसमर्पण से जोड़ कर देख रही है.
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ऐसे निकाला कांग्रेस ने गुबार: भूपेंद्र यादव जन-जन का आशीर्वाद लेने की गर्ज से लाव लश्कर सहित आगे बढ़ रहे हैं. जगह-जगह आशीर्वाद बरसाने वालों को संबोधित भी कर रहे हैं. ऐसे ही एक संबोधन में उन्होंने कांग्रेस को आड़े हाथों लिया. परिवारवाद का आरोप लगाया. कांग्रेस को " एक परिवार की पार्टी " बताया. साथ ही उच्च सदन और निचले सदन में कांग्रेसी सांसदों के दुर्व्यवहार की भी कहानी सुनाई. इतनी ही कांग्रेस को 'छेड़ने' के लिए काफी था.
जोशी ने सुना दी भाजपा विधायकों की ''किताब गाथा'': राजस्थान विधानसभा के मुख्य सचेतक महेश जोशी ने भाजपा विधायकों के सदन में दुर्व्यवहार की पूरी गाथा सुना डाली. राजस्थान विधानसभा में भारतीय जनता पार्टी के विधायकों ने जो कुछ किया उसे उन्होंने मीडिया के सामने दोहरा दिया. कहा- चाहें मदन दिलावर हो या गुलाब चंद कटारिया जिस तरीके से विधानसभा में व्यवहार करते हैं , या फिर जिस तरीके से आसन के ऊपर किताबें फेंकी गई यह नजारा हर किसी ने देखा. यही उनके व्यवहार को जाहिर करने के लिए काफी है.
भाजपा सांसदों ने क्यों नहीं उठाया राजस्थान का मुद्दा ?: जोशी ने भाजपा सांसदों की चुप्पी को भी सालने वाला बताया. सवाल पूछा- भूपेंद्र यादव ही नहीं बल्कि राजस्थान के जितने भी सांसद है क्या किसी ने मोदी सरकार के इतने साल हो जाने के बावजूद भी राजस्थान के किसी मुद्दे को संसद में उठाया ?
पूनिया ने कर दिया आत्मसमर्पण: जोशी ने भूपेन्द्र यादव के बहाने सतीश पूनिया को निशाने पर लिया. उन्होंने कहा कि आज मोदी कैबिनेट के मंत्री भूपेंद्र यादव जन आशीर्वाद यात्रा निकाल रहे हैं. यह यात्रा भाजपा निकाले हमें कोई आपत्ति नहीं. लेकिन भाजपा के राजस्थान अध्यक्ष सतीश पूनिया जो अपने नाक पर मक्खी नहीं बैठने देते थे, वसुंधरा राजे के सामने झुकने को तैयार नहीं होते थे, अब उन्होंने भाजपा के संभावित मुख्यमंत्रियों की भीड़ में एक नये चेहरे भूपेंद्र यादव के सामने आत्मसमर्पण कर दिया है.
क्या पूनिया के जख्म को कुरेदा: जोशी ने कहा कि सतीश पूनिया ने यह नहीं देखा कि राजस्थान के विकास और निर्माण में यादव का क्या योगदान है? और सतीश पूनिया तुरंत उनके सामने समर्पित हो गए. भूपेंद्र यादव को नेता स्वीकार करना पूनिया को मुबारक हो लेकिन राजस्थान की जनता अब हर किसी को देख रही है, चाहे कोई भी नेता क्यों ना हो किसी को मौका नहीं मिलेगा.