जयपुर. नियमितीकरण की मांग को लेकर 77 दिन से धरना दे रहे पैराटीचर्स, मदरसा पैराटीचर्स और शिक्षाकर्मियों ने आज नए साल के पहले दिन अपना धरना (Strike of Parateachers ends) खत्म कर दिया है. सरकार से सकारात्मक बातचीत के बाद उन्होंने आज शहीद स्मारक पर चल रहा धरना खत्म कर दिया. उम्मीद जताई जा रही है कि इस साल बजट में इन्हें नियमितीकरण की सौगात मिल सकती है.
दरअसल, नियमितीकरण की मांग को लेकर पैराटीचर्स, मदरसा पैराटीचर्स और शिक्षाकर्मियों ने 15 अक्टूबर को शहीद स्मारक पर पड़ाव डालकर धरना (strike of parateachers) शुरू किया था. इसके बाद शमशेर भालू खान ने 21 अक्टूबर से अनशन शुरू किया. बीती रात मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शमशेर भालू खान का अनशन तुड़वाया और उनकी मांग पर जल्द सकारात्मक फैसला लेने का भरोसा दिलाया. आज विधायक अमीन कागजी, रफीक खान और वाजिब अली शहीद स्मारक पर धरना स्थल पहुंचे और धरना खत्म करवाया है.
मीडिया से बातचीत में रफीक खान ने कहा कि सरकार की पहले दिन से ही मंशा थी कि इन्हें न्याय मिले. बहुत कम मानदेय पर ये काम कर रहे हैं. पहले जब इन्होंने आंदोलन किया तो मानदेय में बढ़ोतरी की गई थी. कल मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से सकारात्मक बातचीत हुई. जब किसी भी चीज को कानूनी रूप देना होता है तो उसमें कुछ समय लगता ही है. मुख्यमंत्री ने आश्वस्त किया है कि इनकी हर समस्या का समाधान किया जाएगा. आगे बजट आ रहा है. हमें उम्मीद है कि इस साल बजट में इनकी समस्याओं का निस्तारण कर लिया जाएगा. नए साल में बहुत अच्छी सौगात इन्हें मिली है.