ETV Bharat / city

Ground Report : कोरोना की तीसरी लहर बच्चों के लिए घातक होने की आशंका, बचाव के लिए तैयारियां तेज - rajasthan covid-19 news

देश अभी कोरोना की दूसरी लहर से जूझ रहा है, लेकिन विशेषज्ञ कह चुके हैं कि तीसरी लहर का आना तय है. जिसमें बच्चों के चपेट में आने की ज्यादा आशंका है. इसे ध्यान में रखते हुए राजस्थान में चिकित्सा व्यवस्थाओं को सुदृढ़ करने की तैयारी शुरू हो चुकी है. इस कड़ी में राजधानी के जेके लोन अस्पताल में 3 करोड़ की लागत से अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ 20 बेड वाला आईसीयू बनाया जा रहा है. इसके साथ ही लिक्विड ऑक्सीजन प्लांट और डेडिकेटेड कोरोना वार्ड भी बनाया जा रहा है. देखिये जयपुर से ईटीवी भारत की ये रिपोर्ट...

preparations to save children
राजस्थान में बचाव के लिए तैयारियां तेज
author img

By

Published : May 26, 2021, 9:10 AM IST

जयपुर. कोरोना की दूसरी लहर ने शहरों से लेकर गांव-ढाणी तक लोगों को मौत का दर्द दिया. अब तीसरी लहर बच्चों के लिए घातक बताई जा रही है. यदि ऐसा हुआ तो प्रदेश में हालात बदतर हो सकते है. एक सर्वे के मुताबिक ज्यादातर जिलों में 5 से 20 फीसदी बच्चे कुपोषण की जद में हैं, जो कोरोना का सॉफ्ट टारगेट हो सकते हैं. बताया जा रहा है कि अक्टूबर-नवंबर में देश में तीसरी लहर दस्तक देगी. इससे पहले की राजस्थान में तैयारियों को दुरुस्त किया जा रहा है. खुद चिकित्सा सचिव वैभव गालरिया ने इसकी कमान संभाल रखी है.

कोरोना की तीसरी लहर बच्चों के लिए घातक होने की आशंका...

ईटीवी भारत से खास बातचीत में गालरिया ने बताया कि कोरोना की तीसरी लहर को मद्देनजर रखते हुए प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल और दूसरे अस्पतालों के साथ तैयारी की जा रही है. जैसा की पहली लहर की तुलना में दूसरी लहर में वेंटिलेटेड बेड की रिक्वायरमेंट बढ़ी है, उसी दिशा में कार्रवाई करते हुए अस्पतालों में भी वेंटिलेटेड बेड बढ़ाने की रूपरेखा तैयार की गई है. यदि जेके लोन को मुख्य कोविड-19 अस्पताल के रूप में इस्तेमाल करते हैं तो ऐसी स्थिति में एनआईसीयू या हॉस्पिटल केयर की जरूरत वाले बच्चों को महिला अस्पताल या जनाना अस्पताल में उपचार मिल सके, इस तरह की व्यवस्थाएं विकसित जाएगी. इसके अलावा ऑक्सीजन जनरेशन की कैपेसिटी भी बढ़ाई जा रही है.

third wave of corona
बच्चों को बचाने की तैयारियां तेज...

पढ़ें : खुद को मंत्री का खास बताकर सरकारी नौकरी लगवाने के नाम पर 50 लाख रुपए की ठगी

पढ़ें : Exclusive: Black और White के बाद अब सामने आया Yellow Fungus लेकिन इससे घबराने की नहीं है जरूरत: डॉ. मोहनीश ग्रोवर

चूंकि अभी तक 18 से 44 आयु वर्ग और इससे ऊपर के लोगों के वैक्सीन लगी है. दो से तीन महीनों में ज्यादा से ज्यादा लोगों के वैक्सीन लग जाएगी. ऐसे में बच्चे अरक्षित स्टेज पर हैं. SMS मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. सुधीर भंडारी ने बताया कि कोरोना की दूसरी लहर में भी बच्चे कोरोना की चपेट में आए हैं और तीसरी लहर बच्चों के लिए ज्यादा घातक हो सकती है. इसे ध्यान में रखते हुए इंफ्रास्ट्रक्चर, मैन पावर और सपोर्टिंग फैसिलिटी बढ़ाई जा रही है. जेके लोन 800 बेड वाला अस्पताल है. इसके अलावा 2-3 सेटेलाइट अस्पताल और इस्तेमाल करने वाले हैं.

jk lone hospital jaipur
जयपुर के जेके लोन अस्पताल में तायारियों का जायजा...

बड़ों की तुलना में बच्चों में लक्षण भिन्न...

बच्चों में मल्टी सिस्टम इन्फ्लेमेटरी सिंड्रोम होता है, जिसमें तेज बुखार के साथ जोड़ों में दर्द और पूरे शरीर में सूजन आ जाती है. बच्चों में पेट से जुड़े डायरिया, उल्टी के लक्षण भी मिलते हैं. इसके अलावा बड़ों की तरह निमोनिया भी होता है, लेकिन ये बहुत जल्दी बढ़कर ब्रेन और लीवर को इफेक्ट कर सकता है. ऐसे में बच्चों के केस में ज्यादा सावधानी बरतने की जरूरत है. हालांकि, तीसरी लहर से पहले जुलाई में बच्चों के लिए भी वैक्सीन आने की संभावना भी है.

rajasthan covid-19 news
सुविधाओं को दुरुस्त करने का काम जारी...

आपको बता दें कि राजधानी के सबसे बड़े शिशु अस्पताल जेकेलोन में भी 3 करोड़ की लागत से 20 बेड वाला नया आईसीयू बनाया जा रहा है. वहीं, प्रोटोकॉल के तहत 30 फीसदी बेड पर वेंटिलेटर के इंतजाम भी किए जाएंगे. इसके अलावा यहां लिक्विड ऑक्सीजन प्लांट और ऑक्सीजन जनरेटर प्लांट में लगाया जाना है. साथ ही अस्पताल में भर्ती मरीजों को सिटी स्कैन के लिए SMS अस्पताल तक ना जाना पड़े, इसके लिए सीटी स्कैन मशीन लगाने की भी तैयारी चल रही है.

जयपुर. कोरोना की दूसरी लहर ने शहरों से लेकर गांव-ढाणी तक लोगों को मौत का दर्द दिया. अब तीसरी लहर बच्चों के लिए घातक बताई जा रही है. यदि ऐसा हुआ तो प्रदेश में हालात बदतर हो सकते है. एक सर्वे के मुताबिक ज्यादातर जिलों में 5 से 20 फीसदी बच्चे कुपोषण की जद में हैं, जो कोरोना का सॉफ्ट टारगेट हो सकते हैं. बताया जा रहा है कि अक्टूबर-नवंबर में देश में तीसरी लहर दस्तक देगी. इससे पहले की राजस्थान में तैयारियों को दुरुस्त किया जा रहा है. खुद चिकित्सा सचिव वैभव गालरिया ने इसकी कमान संभाल रखी है.

कोरोना की तीसरी लहर बच्चों के लिए घातक होने की आशंका...

ईटीवी भारत से खास बातचीत में गालरिया ने बताया कि कोरोना की तीसरी लहर को मद्देनजर रखते हुए प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल और दूसरे अस्पतालों के साथ तैयारी की जा रही है. जैसा की पहली लहर की तुलना में दूसरी लहर में वेंटिलेटेड बेड की रिक्वायरमेंट बढ़ी है, उसी दिशा में कार्रवाई करते हुए अस्पतालों में भी वेंटिलेटेड बेड बढ़ाने की रूपरेखा तैयार की गई है. यदि जेके लोन को मुख्य कोविड-19 अस्पताल के रूप में इस्तेमाल करते हैं तो ऐसी स्थिति में एनआईसीयू या हॉस्पिटल केयर की जरूरत वाले बच्चों को महिला अस्पताल या जनाना अस्पताल में उपचार मिल सके, इस तरह की व्यवस्थाएं विकसित जाएगी. इसके अलावा ऑक्सीजन जनरेशन की कैपेसिटी भी बढ़ाई जा रही है.

third wave of corona
बच्चों को बचाने की तैयारियां तेज...

पढ़ें : खुद को मंत्री का खास बताकर सरकारी नौकरी लगवाने के नाम पर 50 लाख रुपए की ठगी

पढ़ें : Exclusive: Black और White के बाद अब सामने आया Yellow Fungus लेकिन इससे घबराने की नहीं है जरूरत: डॉ. मोहनीश ग्रोवर

चूंकि अभी तक 18 से 44 आयु वर्ग और इससे ऊपर के लोगों के वैक्सीन लगी है. दो से तीन महीनों में ज्यादा से ज्यादा लोगों के वैक्सीन लग जाएगी. ऐसे में बच्चे अरक्षित स्टेज पर हैं. SMS मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. सुधीर भंडारी ने बताया कि कोरोना की दूसरी लहर में भी बच्चे कोरोना की चपेट में आए हैं और तीसरी लहर बच्चों के लिए ज्यादा घातक हो सकती है. इसे ध्यान में रखते हुए इंफ्रास्ट्रक्चर, मैन पावर और सपोर्टिंग फैसिलिटी बढ़ाई जा रही है. जेके लोन 800 बेड वाला अस्पताल है. इसके अलावा 2-3 सेटेलाइट अस्पताल और इस्तेमाल करने वाले हैं.

jk lone hospital jaipur
जयपुर के जेके लोन अस्पताल में तायारियों का जायजा...

बड़ों की तुलना में बच्चों में लक्षण भिन्न...

बच्चों में मल्टी सिस्टम इन्फ्लेमेटरी सिंड्रोम होता है, जिसमें तेज बुखार के साथ जोड़ों में दर्द और पूरे शरीर में सूजन आ जाती है. बच्चों में पेट से जुड़े डायरिया, उल्टी के लक्षण भी मिलते हैं. इसके अलावा बड़ों की तरह निमोनिया भी होता है, लेकिन ये बहुत जल्दी बढ़कर ब्रेन और लीवर को इफेक्ट कर सकता है. ऐसे में बच्चों के केस में ज्यादा सावधानी बरतने की जरूरत है. हालांकि, तीसरी लहर से पहले जुलाई में बच्चों के लिए भी वैक्सीन आने की संभावना भी है.

rajasthan covid-19 news
सुविधाओं को दुरुस्त करने का काम जारी...

आपको बता दें कि राजधानी के सबसे बड़े शिशु अस्पताल जेकेलोन में भी 3 करोड़ की लागत से 20 बेड वाला नया आईसीयू बनाया जा रहा है. वहीं, प्रोटोकॉल के तहत 30 फीसदी बेड पर वेंटिलेटर के इंतजाम भी किए जाएंगे. इसके अलावा यहां लिक्विड ऑक्सीजन प्लांट और ऑक्सीजन जनरेटर प्लांट में लगाया जाना है. साथ ही अस्पताल में भर्ती मरीजों को सिटी स्कैन के लिए SMS अस्पताल तक ना जाना पड़े, इसके लिए सीटी स्कैन मशीन लगाने की भी तैयारी चल रही है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.