जयपुर. पिछले कुछ समय से प्रदेश के सवाई मानसिंह अस्पताल में रहस्यमयी बुखार के मामले सामने आ रहे (Mysterious fever cases seen in Jaipur) हैं. इस तरह के मामलों को देखकर अस्पताल के चिकित्सक भी हैरान हैं. खास बात यह है कि जहां आमतौर पर मरीज में आने वाला बुखार 3 से 4 दिन में उतर जाता है, तो वहीं इस तरह के मरीज अस्पताल में देखने को मिल रहे हैं जिनको 10 दिन से ऊपर बुखार बना हुआ है. बुखार के बदलते इस पैटर्न के बाद चिकित्सक भी हैरान नजर आ रहे हैं और पिछले 1 से 2 महीने में इस तरह के काफी केस जयपुर के सवाई मानसिंह अस्पताल में आ चुके हैं.
जयपुर के सवाई मानसिंह अस्पताल के वरिष्ठ चिकित्सक डॉ पुनीत सक्सेना का कहना है कि पिछले कुछ समय से अस्पताल में ऐसे मरीज सामने आ रहे (Mysterious fever cases in SMS Jaipur) हैं, जो मल्टीपल बीमारियों से पीड़ित हैं. इनमें रेस्पिरेट्री वायरस, स्वाइन फ्लू, कोरोना, डेंगू आदि के मामले अस्पताल में लगातार सामने आ रहे हैं. चिकित्सकों का कहना है कि आमतौर पर इस तरह के मरीजों में बुखार 3 या 4 दिन में टूट जाता है, लेकिन मरीजों में बुखार लंबे समय तक बना हुआ है जो एक चिंता का विषय भी है.
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इसके अलावा गर्मी के मौसम में हीट स्ट्रोक के मामले भी लगातार बढ़ रहे हैं जिसके कारण भी मरीज बुखार की चपेट में आ रहे हैं. ऐसे में हालत बिगड़ने पर मरीज को अस्पताल में भर्ती किया जा रहा है. डॉक्टर सक्सेना का कहना है कि विभिन्न बीमारियों से ग्रसित जो मरीज सामने आ रहे हैं. उनमें फीवर के पैटर्न में बदलाव देखने को मिल रहा है. डॉ पुनीत सक्सेना का कहना है कि हालांकि अभी तक इस तरह के बुखार से मौत के मामले सामने नहीं आए हैं, लेकिन बुखार का लगातार बने रहना एक चिंता का विषय है.
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वायरल स्टडी से खुलासा: डॉ पुनीत सक्सेना का कहना है कि आमतौर पर गर्मियों के सीजन के दौरान उसके बाद वायरल फीवर के मामलों में तेजी से बढ़ोतरी होती है. लेकिन हाल ही में जिस तरह के फीवर के मामले सामने आए हैं. उसके क्या कारण हैं, यह सिर्फ वायरल स्टडी होने के बाद ही पता चल सकेगा. क्योंकि कई बार वायरस अपने स्वरूप में बदलाव कर लेता है और इसकी जानकारी सिर्फ वायरल स्टडी से ही पता चल पाती है. हालांकि इस तरह के मरीजों के सैंपल लैब में स्टडी के लिए भेजे जाते हैं ताकि पता चल सके की वायरस पर किसी तरह का कोई बदलाव हुआ है या नहीं.