जयपुर. प्रदेश में कोविड-19 महामारी के कारण अस्थाई रूप से बंद हुए उद्योग धंधों और उनमें कार्यरत कार्मिकों के लिए तय की गई 37 विशेष श्रेणी के परिवारों और प्रवासी व्यक्तियों के सर्वे का कार्य 31 मई तक किया जाएगा. ग्रामीण क्षेत्र में ग्राम पंचायत स्तरीय कोर ग्रुप और शहरी क्षेत्र में नगरीय निकाय और बीएलओ के माध्यम से सर्वे करवाया जा रहा है. वहीं प्रवासी, विशेष श्रेणी के व्यक्ति या परिवार ई-मित्र मोबाइल एप या ई मित्र कियोस्क पर जाकर स्वयं अपना पंजीयन कर सकते हैं.
खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री रमेश मीणा ने बताया कि लॉकडाउन के दौरान काम धंधे ठप होने से प्रभावित लोगों की मदद के लिए राज्य सरकार ने कामगार परिवारों की 37 कैटेगरी निर्धारित की है. ऐसे में अब इनका प्रदेश में सर्वे का कार्य किया जा रहा है. प्रदेश में ऐसे प्रवासी व्यक्ति जो राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना में चयनित नहीं है, उन्हें 2 महीने मई और जून के लिए प्रति व्यक्ति 5 किलोग्राम गेहूं प्रतिमाह और प्रति परिवार 1 किलो साबुत चना निःशुल्क वितरण किया जाएगा.
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गेहूं और साबुत चना का वितरण 15 जून से पहले
रमेश मीणा ने बताया कि प्रवासी व्यक्तियों को प्रदेश में 15 जून से पहले गेहूं एवं साबुत चने का वितरण उचित मूल्य की दुकानों से किया जाएगा. इस कार्य के लिए उचित मूल्य की दुकानों के साथ मैपिंग का कार्य 1 जून, राशन डीलर को गेहूं और चना का आवंटन 2 जून और एफसीआई से गेहूं का उठाव 3 से 8 जून के बीच कर दिया जाएगा.
सर्वे के लिए जनाधार के डेटाबेस का होगा उपयोग
खाद्य मंत्री रमेश मीणा ने बताया कि विशेष श्रेणी के परिवारों का सर्वे के लिए जनाधार के डेटाबेस को काम में लिया जाएगा. जिन प्रवासियों की सूचना फार्म-4 में उपलब्ध है, उनका पुन सर्वे किए जाने की आवश्यकता नहीं होगी. जनाधार के डाटा में से राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना (एनएफएसए) में चयनित परिवारों को छोड़कर शेष सभी परिवारों का जिलेवार डाटा उपलब्ध करवाया जा रहा है, ऐसे प्रवासी जो अन्य राज्यों के हैं उनका यहां जनाधार में पंजीयन नहीं होने के कारण डाटा उपलब्ध नहीं है, उनकी सूचना सर्वे के दौरान आधार नंबर के आधार पर मोबाइल ऐप में दर्ज की जाएगी.
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बंद हुए उद्योग धंधों में कार्यरत कार्मिकों की श्रेणी
राज्य सरकार ने कोविड-19 से अस्थाई रूप से बंद हुए उद्योग धंधों में कार्यरत कर्मियों को की श्रेणी में हेयर सलून में काम करने वाले, कपड़ा धुलाई और प्रेस वाले कामगार, फुटवेयर मरम्मत और पॉलिश, घरों में साफ-सफाई और खाना बनाने वाले, चौराहों पर सामान बेचने वाले या किसी स्थान पर भोजन पका कर खाने वाले, रिक्शा और ऑटो चलाने वाले, पान की दुकान, रेस्टोरेंट और होटल वेटर, रसोईया, रद्दी बीनने वाले, भवन निर्माण में नियोजित श्रमिक, कोरोना के कारण बंद उद्योग धंधों के श्रमिक, निजी ट्रांसपोर्ट के ड्राइवर, कंडक्टर, ठेला रेहड़ी, स्ट्रीट वेंडर, धार्मिक संस्थाओं में पूजा, इबादत, कर्मकांड और धार्मिक कार्य कराने वाले व्यक्ति, विवाह व निकाह या अन्य धार्मिक कार्य कराने वाले, मैरिज पैलेस, कैटरिंग, सिनेमा हॉल, कोचिंग संस्थानों में सफाई या सहायक, बैंड, ढोल, घोड़ी, गाने बजाने वाले, नगीनों, आभूषण चूड़ियों के काम करने वाले, फर्नीचर, बुक बाइंडर, प्रिंटिंग प्रेस, रंगाई, पुताई, पर्यटन गाइड, कठपुतली खेल दिखाने वाले, ईट भट्टों के श्रमिक, फूल मालाओं वाले, टायर पंचर वाला, पत्तल दोने बनाने वाले, घूमंतु, अर्ध घूमंतु, गाड़िया लोहार, झूले वाले खेल, तमाशा, जादू, करतब दिखाने वाले, लोक कलाकार जैसे कालबालिया, मांगणियार इत्यादि, कुली, हमाल, मिट्टी के बर्तन बनाने वाले अन्य कैटेगरी वालों को शामिल किया गया है.