जयपुर. वर्ल्ड हेरिटेज सिटी में शामिल जयपुर के चारदीवारी क्षेत्र में समस्याएं बरकरार है. पहले स्मार्ट बाजार किशनपोल में आवारा पशु, अवैध अतिक्रमण, सड़कों पर कचरे के ढेर, बंद लाइटें जैसी समस्याएं लोगों के लिए परेशानी का कारण बनी हुई थी. वहीं, अब इस स्मार्ट रोड प्रोजेक्ट का पार्ट हरियाली को भी डिवाइडर से हटाकर दोबारा लोहे की रेलिंग लगाई जा रही है.
लोगों की सहूलियत के लिए राजधानी के किशनपोल बाजार में स्मार्ट रोड बनाई गई थी. सड़क के नीचे चौड़े डक्ट डाले गए, ताकि रोड को किसी भी लाइन के लिए बार-बार तोड़ना ना पड़े. सीसीटीवी कैमरे, पार्किंग और प्रॉपर साइनेज भी बनाए गए. इसी प्रोजेक्ट में हरियाली भी एक महत्वपूर्ण पार्ट था. जिसे अब खत्म किया जा रहा है. यहां फुटपाथ और डिवाइडर पर हरियाली की गई थी, लेकिन डिवाइडर पर इसे मेंटेन नहीं किया जा सका. अब इस हरियाली को हटाकर दोबारा पुराने स्वरूप में लोहे की रेलिंग लगाई जा रही है. हालांकि, स्थानीय लोगों ने इसे स्मार्ट सिटी के पैसे का दुरुपयोग बताते हुए सवाल भी खड़े किए.
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इससे पहले यहां बनाए गए फुटपाथ को लेकर भी सवाल उठ चुके हैं. खुद यूडीएच मंत्री ने कहा था कि जब बाजारों में छत वाला फुटपाथ यानी रियासत कालीन बरामदे हैं, तो फिर फुटपाथ बनाने का क्या औचित्य. इन फुटपाथ को बनाने से रोड की चौड़ाई भी तकरीबन 10 से 12 फुट कम हो गई और अब डिवाइडर की हरियाली हटाने के चलते भी स्मार्ट सिटी लिमिटेड के अधिकारियों को कटघरे में खड़ा किया जा रहा है.