जयपुर. राज्यसभा चुनाव में घनश्याम तिवाड़ी को प्रत्याशी बनाने के बाद अब दूसरी सीट पर भी भाजपा अपना प्रत्याशी (gulabchand kataria on Rajyasabha election) उतारने की तैयारी में है. हालांकि दूसरी सीट पर जीत के लिए भाजपा को 11 अन्य विधायकों के समर्थन की आवश्यकता पड़ेगी लेकिन नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया कहते हैं कि कांग्रेस के तीनों प्रत्याशी बाहरी होने से अब बीजेपी का गेम पहले से थोड़ा आसान हो गया है. ईटीवी भारत से खास बातचीत में कटारिया ने कहा कि कांग्रेस में चल रही इस उथल-पुथल का हम फायदा लेने की पूरी कोशिश करेंगे.
जो सक्षम होगा उसे खड़ा करने का प्रयास करेंगे
नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि बीजेपी ऐसे व्यक्ति के नाम पर विचार कर रही है जो बीजेपी के 30 अतिरिक्त वोटों के साथ ही अन्य 11 वोट और समर्थन भी जुटा सकने में सक्षम हो. इसके लिए कई नामों पर चर्चा चल रही है जिसे आज रात या मंगलवार सुबह तक तय कर लिया जाएगा.
भाजपा के अलावा भी अन्य व्यक्ति को भी किया जा सकता है खड़ा
बीजेपी के पास पहली वरीयता के वोट के अलावा 30 अतिरिक्त वोट हैं और दूसरी सीट पर जीत के लिए बीजेपी को 41 वोटों की आवश्यकता है. मतलब 11 अन्य विधायकों का समर्थन बीजेपी को दूसरी सीट पर जीत के लिए चाहिए. ऐसे में बीजेपी इस बात को लेकर भी चिंतन कर रही है कि पार्टी के बाहर का भी यदि कोई व्यक्ति ये समर्थन जुटाने में सक्षम हो तो उसे पार्टी मौका देकर चुनाव में खड़ा करेगी. कटारिया ने कहा कि पहले भी राज्यसभा चुनाव में भाजपा ने मोरारका जैसे बाहरी व्यक्ति को चुनाव लड़ाया है. बताया जा रहा है इसके लिए कुछ निर्दलीय विधायकों से भी बात हुई है और आरएलपी संयोजक हनुमान बेनीवाल से भी चर्चा होने की बात सामने आई है. गुलाबचंद कटारिया कहते हैं कि अभी उनके पास समय है और 31 मई को सुबह तक दूसरा प्रत्याशी तय कर लिया जाएगा.
कांग्रेस के बाहरी प्रत्याशी से हमारा गेम आसान हो गया: गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि अभी तक हमें 11 विधायकों का समर्थन जुटाने के लिए थोड़ी ज्यादा मशक्कत करना पड़ती लेकिन अब कांग्रेस ने 3 प्रत्याशी राजस्थान के बाहर से बना दिए हैं जिससे कांग्रेस की दुर्गति होना तय है. कटारिया के अनुसार जिस पार्टी ने इतने साल राज किया उन्हें राजस्थान में प्रत्याशी बनाने के लिए एक नेता नहीं मिला. ऐसे में कांग्रेस के भीतर उथल-पुथल तो होगी ही और इसका लाभा भाजपा लेने की कोशिश करेगी ही. कटारिया ने कहा प्रदेश के बाहर से प्रत्याशी बनाए जाने से बीजेपी का गेम पहले से आसान हो गया है.
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पार्टी से बड़ा व्यक्ति नहीं, कई दिग्गज नेताओं ने पार्टी से बाहर जाकर इसे देख लिया है
घनश्याम तिवाड़ी को भाजपा प्रत्याशी बनाए जाने से जुड़े सवाल पर नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि केवल घनश्याम तिवाड़ी ही नहीं, उमा भारती जो कभी मध्य प्रदेश की सीएम थीं उन्होंने भी अपनी पार्टी बनाई लेकिन वापस बीजेपी में लौट कर आना पड़ा. कल्याण सिंह से बड़ा दिग्गज नेता और मुख्यमंत्री तो कोई नहीं रहा नहीं लेकिन उन्हें भी बीजेपी छोड़ने के बाद यह समझ में आया और वह वापस फिर पार्टी में आ गए. कटारिया ने कहा कि घनश्याम तिवाड़ी ने भी पार्टी बना कर देखी लेकिन सफल नहीं हुए और उन्हें समझ में आ गया कि हम जिस विचारधारा के साथ हैं, उसी के साथ चलना पड़ता है, एक व्यक्ति के लिए नहीं. कटारिया ने कहा कि घनश्याम तिवाड़ी को अपनी भूल का एहसास हो गया और आज वो पार्टी में भी हैं और उन्हें राज्यसभा भेजा जा रहा है.
भाजपा के पुराने साथी जो अब निर्दलीय हैं उनसे भी करेंगे संपर्क: गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि दूसरी सीट पर प्रत्याशी को जिताने के लिए बीजेपी अपने पुराने उन साथियों से भी संपर्क करेगी जो आज निर्दलीय विधायक हैं. उन्होंने कहा कि उसमें कितनी सफलता मिलती है यह तो समय बताएगा लेकिन हम अपना पूरा प्रयास करेंगे. चर्चा है कि कटारिया का इशारा ओमप्रकाश हुडला, सुरेश टांक और खुशवीर सिंह जोजावर की तरफ था.
मुख्यमंत्री खुद बाहरी प्रत्याशी तय होने से व्यथित: गुलाबचंद कटारिया ने यह भी कहा कि कांग्रेस के तीनों प्रत्याशी राजस्थान के बाहर से उतारे जाने से खुद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत भी व्यथित हैं लेकिन पार्टी आलाकमान का फैसला है इसलिए उन्हें जिता कर राज्यसभा ले जाना है. कटारिया ने कहा कि कांग्रेस में कई नेता इससे व्यथित हैं और इसका फायदा हम लेने की कोशिश करेंगे.