जयपुर. राजधानी के करधनी थाना इलाके में सरकारी नौकरी लगाने का झांसा देकर एक युवक से 20 लाख रुपए से अधिक की राशि ठगने (fraud took money in the name of job) का मामला सामने आया है. इस संबंध में गोविंदपुरा निवासी 33 वर्षीय शंकर चौधरी ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई है. प्रकरण की जांच कर रहे एएसआई राजेंद्र कुमार ने बताया कि जनवरी माह में शंकर की मुलाकात शिवम और सुरेश नाम के व्यक्ति से हुई थी. इन्होंंने रेलवे और पुलिस में आला अधिकारीयों से अच्छी जान पहचान होने का हवाला देकर सरकारी नौकरी लगाने का झांसा दिया था. इसके बाद शंकर की मुलाकात विरेंद्र, विकास और अंकित नाम के व्यक्ति से करवाई गई. जिन्होंने कई लोगों की रेलवे और पुलिस में नौकरी लगाने का दावा करते हुए उसकी भी नौकरी लगावाने का आश्वासन दिया.
इस तरह से ठगों ने शंकर को अपने जाल में फंसाया. इतना ही नहीं शंकर ने अपने अलावा एक रिश्तेदार की भी पुलिस में नौकरी लगवाने की बात की, जिसके एवज में ठगों ने 20 लाख 7 हजार रुपए जमा कराने के लिए कहा. पैसे देने के तकरीबन 1 महीने बाद ठगों ने शंकर को मेडिकल सर्टिफिकेट और जॉइनिंग लेटर लाकर थमाया. शक होने पर शंकर ने दस्तावेजों की जानकारी जुटाई तो वे फर्जी पाए गए.
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इसके बाद शंकर ने ठगों से संपर्क कर उसके साथ हुई धोखाधड़ी को लेकर विरोध जताते हुए कानूनी कार्रवाई करने की बात कही, तो ठगों ने ली गई राशि वापस लौटाने का आश्वासन दिया. एक महीना बीत जाने के बाद भी जब ठगों ने राशि वापस नहीं लौटाई तो शंकर ने करधनी थाने में जाकर ठगों के खिलाफ मामला दर्ज करवाया है. पुलिस ने प्रकरण दर्ज कर जांच करना शुरू किया है.
पूर्व नर्सिंग अधीक्षक को ब्लैकमेल कर हड़पे 10 लाख रुपए: राजधानी के बजाज नगर थाना इलाके में पूर्व नर्सिंग अधीक्षक को ब्लैकमेल कर 10 लाख रुपए हड़पने का मामला सामने आया है. इस संबंध में बजाज नगर निवासी 58 वर्षीय विनोद कुमार मथुरिया ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई है. प्रकरण की जांच कर रहे एसीपी मालवीय नगर देवी सहाय ने बताया कि विनोद कुमार वर्ष 2020 में नर्सिंग अधीक्षक के पद पर कार्यरत थे. उस दौरान उनके एक विद्यार्थी उमर फारूक ने सीएचओ नर्सिंग भर्ती परीक्षा में अभ्यर्थियों को पास कराने के नाम पर नर्सिंग कोचिंग संचालक से लाखों रुपए हड़प लिए थे.
जब सीएचओ नर्सिंग भर्ती परीक्षा का रिजल्ट आया तो कोचिंग में पढ़ने वाले किसी भी छात्र का सिलेक्शन नहीं हुआ तो संचालक महिपाल ने विनोद कुमार से संपर्क कर उन्हें उमर के पैसे लेने की बात बताई. जिस पर विनोद ने इस पूरे प्रकरण को लेकर अनभिज्ञता जाहिर की और उमर फारूक से बात करने की बात कही. महिपाल ने उमर फारूक का मोबाइल बंद आने की बात कहते हुए विनोद को बदनाम करने और झूठे मामले में फंसाने की धमकी देकर ब्लैकमेल करना शुरू कर दिया.
इस क्रम में महिपाल ने अपने एक अन्य साथी इंद्र सिंह के साथ मिलकर अलग-अलग बारी में कुल 10 लाख रुपए विनोद से हड़प लिए. इसके बाद भी आरोपियों ने विनोद से और रुपए देने की डिमांड की, जिस पर विनोद ने रुपए देने से इंकार कर दिया. विनोद के मना करने पर आरोपियों ने उसे जान से मारने की धमकी दी. परेशान होकर विनोद ने बजाज नगर थाने में उमर फारूक, महिपाल और इंद्र सिंह के खिलाफ ब्लैकमेल कर राशि हड़पने का मामला दर्ज करवाया है. फिलहाल पुलिस ने प्रकरण दर्ज कर जांच करना शुरू किया है.