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Employment Fraud In Railways: रेलवे में नौकरी लगवाने का झांसा देकर 13 लाख रुपए की ठगी

राजस्थान में रेलवे में नौकरी के नाम पर धोखाधड़ी (Employment Fraud In Railways) का एक मामला देखने को मिला है. जयपुर के बजाज नगर में पिता-पुत्र द्वारा एक बेरोजगार युवक से 13 लाख रुपए ठगने का मामला (Fraud of Rs 13 lakh on job in Railways) सामने आया है. जानें क्या है पूरा मामला...

bajaj nagar police station jaipur
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Published : Dec 23, 2021, 11:05 AM IST

जयपुर. राजधानी में नौकरी के (Railway Job Fraud in Jaipur) नाम पर ठगी का एक मामला देखने को मिला है. बजाज नगर थाना इलाके में रेलवे में नौकरी लगाने का झांसा देकर ठग पिता-पुत्र द्वारा एक बेरोजगार युवक से 13 लाख रुपए ठगने का सनसनीखेज मामला सामने आया है. इस संबंध में दुर्गापुरा निवासी पीयूष सिंह ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई है.

रेलवे में अच्छी जान पहचान का दिया हवाला : शिकायत में बताया गया है कि वर्ष 2018 में पीयूष की मुलाकात दुर्गापुरा रेलवे स्टेशन के पास चाय की थड़ी पर वेदपाल चौधरी नामक युवक से हुई. जिसने खुद को रेलवे में इंजीनियर के पद पर कार्यरत बताया और कहा कि उसके पिता सुभाष चौधरी रेलवे से रिटायर्ड अधिकारी हैं, जिनकी रेलवे में अच्छी जान पहचान है. वेदपाल ने कहा कि रेलवे में भर्ती निकली है और वह अपने पिता को बोलकर रेलवे में नौकरी (Employment Fraud In Railways) लगवा देगा, साथ ही उसने पियूष को रेलवे भर्ती परीक्षा के फॉर्म भरने के लिए कहा.

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ये है पूरा मामला : वेदपाल की बातों में आकर पीयूष ने रेलवे भर्ती परीक्षा का फॉर्म भर दिया और साथ ही वेदपाल ने रेलवे में नौकरी लगाने के नाम पर पियूष से अलग-अलग तारीख को अलग-अलग चार्ज बताकर कुल 13 लाख रुपए अपने बैंक खाते में जमा करवा लिए. पीयूष ने रेलवे भर्ती परीक्षा दी लेकिन उसमें उसका सलेक्शन नहीं हुआ. जिस पर पीयूष ने वेदपाल से संपर्क किया तो वेदपाल ने पीयूष का दूसरी लिस्ट में नंबर आने की बात कहीं. इसके बाद वेदपाल ने पीयूष के फोन उठाना बंद कर दिया. जिस पर पीयूष जब वेदपाल के कोटा स्थित आवास पर पहुंचा तो वहां उसकी मुलाकात वेदपाल के पिता सुभाष चौधरी से हुई. सुभाष चौधरी ने पीयूष को कहा कि वह निश्चिंत रहे उसकी रेलवे में नौकरी वह खुद लगवाएगा. इसके बाद पियूष वापस जयपुर लौट आया और लंबा समय बीत जाने के बाद भी जब उसकी रेलवे में नौकरी नहीं लगी तो उसने वेदपाल और उसके पिता सुभाष से संपर्क कर 13 लाख रुपए की राशि वापस लौटाने को कहा. जिस पर ठग पिता-पुत्र ने पीयूष को उसकी राशि लौटाने से इंकार कर दिया.

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कोर्ट की दखलंदाजी के बाद दर्ज हुई शिकायत : ठगी का शिकार होने के बाद जब पीयूष अपनी शिकायत दर्ज कराने में बजाज नगर थाने पहुंचा तो वहां उसकी कोई सुनवाई नहीं हुई. उसके बाद उसने डीसीपी ईस्ट कार्यालय में भी शिकायत की लेकिन वहां भी उसकी कोई सुनवाई नहीं की गई. उसके बाद उसने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया और कोर्ट की दखलंदाजी के बाद बजाज नगर थाने में ठग पिता-पुत्र के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई. फिलहाल पुलिस ने ठग पिता-पुत्र के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 406 और 120 बी के तहत प्रकरण दर्ज कर जांच करना शुरू किया है.

जयपुर. राजधानी में नौकरी के (Railway Job Fraud in Jaipur) नाम पर ठगी का एक मामला देखने को मिला है. बजाज नगर थाना इलाके में रेलवे में नौकरी लगाने का झांसा देकर ठग पिता-पुत्र द्वारा एक बेरोजगार युवक से 13 लाख रुपए ठगने का सनसनीखेज मामला सामने आया है. इस संबंध में दुर्गापुरा निवासी पीयूष सिंह ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई है.

रेलवे में अच्छी जान पहचान का दिया हवाला : शिकायत में बताया गया है कि वर्ष 2018 में पीयूष की मुलाकात दुर्गापुरा रेलवे स्टेशन के पास चाय की थड़ी पर वेदपाल चौधरी नामक युवक से हुई. जिसने खुद को रेलवे में इंजीनियर के पद पर कार्यरत बताया और कहा कि उसके पिता सुभाष चौधरी रेलवे से रिटायर्ड अधिकारी हैं, जिनकी रेलवे में अच्छी जान पहचान है. वेदपाल ने कहा कि रेलवे में भर्ती निकली है और वह अपने पिता को बोलकर रेलवे में नौकरी (Employment Fraud In Railways) लगवा देगा, साथ ही उसने पियूष को रेलवे भर्ती परीक्षा के फॉर्म भरने के लिए कहा.

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ये है पूरा मामला : वेदपाल की बातों में आकर पीयूष ने रेलवे भर्ती परीक्षा का फॉर्म भर दिया और साथ ही वेदपाल ने रेलवे में नौकरी लगाने के नाम पर पियूष से अलग-अलग तारीख को अलग-अलग चार्ज बताकर कुल 13 लाख रुपए अपने बैंक खाते में जमा करवा लिए. पीयूष ने रेलवे भर्ती परीक्षा दी लेकिन उसमें उसका सलेक्शन नहीं हुआ. जिस पर पीयूष ने वेदपाल से संपर्क किया तो वेदपाल ने पीयूष का दूसरी लिस्ट में नंबर आने की बात कहीं. इसके बाद वेदपाल ने पीयूष के फोन उठाना बंद कर दिया. जिस पर पीयूष जब वेदपाल के कोटा स्थित आवास पर पहुंचा तो वहां उसकी मुलाकात वेदपाल के पिता सुभाष चौधरी से हुई. सुभाष चौधरी ने पीयूष को कहा कि वह निश्चिंत रहे उसकी रेलवे में नौकरी वह खुद लगवाएगा. इसके बाद पियूष वापस जयपुर लौट आया और लंबा समय बीत जाने के बाद भी जब उसकी रेलवे में नौकरी नहीं लगी तो उसने वेदपाल और उसके पिता सुभाष से संपर्क कर 13 लाख रुपए की राशि वापस लौटाने को कहा. जिस पर ठग पिता-पुत्र ने पीयूष को उसकी राशि लौटाने से इंकार कर दिया.

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कोर्ट की दखलंदाजी के बाद दर्ज हुई शिकायत : ठगी का शिकार होने के बाद जब पीयूष अपनी शिकायत दर्ज कराने में बजाज नगर थाने पहुंचा तो वहां उसकी कोई सुनवाई नहीं हुई. उसके बाद उसने डीसीपी ईस्ट कार्यालय में भी शिकायत की लेकिन वहां भी उसकी कोई सुनवाई नहीं की गई. उसके बाद उसने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया और कोर्ट की दखलंदाजी के बाद बजाज नगर थाने में ठग पिता-पुत्र के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई. फिलहाल पुलिस ने ठग पिता-पुत्र के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 406 और 120 बी के तहत प्रकरण दर्ज कर जांच करना शुरू किया है.

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