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जयपुर : खिलाड़ियों के आउट ऑफ टर्न सरकारी नौकरी पर अब CM स्तर पर होगा फैसला...

खिलाड़ियों के आउट ऑफ टर्न सरकारी नौकरी पर अब मुख्यमंत्री स्तर पर फैसला होगा. आवेदन करने वाले खिलाड़ियों की उच्च स्तरीय समीक्षा के बाद मिनिट्स तैयार कर प्रस्ताव को मंजूरी के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पास भेजा जाएगा. मुख्य सचिव राजीव स्वरूप की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया.

Players out of turn government jobs,  CM Ashok Gehlot News
खिलाड़ियों के आउट ऑफ टर्न सरकारी नौकरी पर अब CM स्तर पर होगा फैसला
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Published : Oct 16, 2020, 4:56 PM IST

जयपुर. खिलाड़ियों को आउट ऑफ टर्न सरकारी नौकरी देने का अंतिम फैसला अब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत लेंगे. इसके लिए कमेटी के पास जो भी आवेदन आएंगे, उसके मिनिट्स बनाकर अनुमोदन किया जाएगा और उच्च स्तर पर समीक्षा के बाद प्रस्ताव सीएम अशोक गहलोत के पास भेजा जाएगी. मुख्य सचिव राजीव स्वरूप की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया.

CM स्तर पर होगा फैसला

खेल के क्षेत्र में राजस्थान का नाम रोशन करने वाले खिलाड़ियों को बिना किसी परीक्षा के उनके मेडल के आधार पर सरकारी नौकरी की सौगात मिलेगी. इसको लेकर खिलाड़ियों से आवेदन मांगे गए थे. सूत्रों की मानें तो 30 खिलाड़ियों ने पहले आवेदन किया था. उसके बाद 5 और खिलाड़ियों ने इसके लिए आवेदन किया है.

पढ़ें- राजस्थान को सुशासन का मॉडल बनाने का रहेगा प्रयास: सीएम गहलोत

मुख्य सचिव राजीव स्वरूप की अध्यक्षता में शुक्रवार को इन सभी आवेदन करने वाले खिलाड़ियों को नौकरी देने को लेकर उच्च स्तरीय बैठक हुई. बैठक में खेल विभाग के प्रमुख सचिव भास्कर ए सावंत, गृह विभाग के प्रमुख सचिव अभय कुमार और कार्मिक विभाग के अधिकारी मौजूद रहे. बैठक में निर्णय हुआ कि आवेदन करने वाले खिलाड़ियों की उच्च स्तरीय समीक्षा के बाद मिनिट्स तैयार कर प्रस्ताव को मंजूरी के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पास भेजा जाएगा.

बैठक में जिन खिलाड़ियों के आवेदन आए हैं, उन आवेदनों पर चर्चा हुई. साथ ही किस कैटेगरी में नौकरी दी जा सकती है , इसको लेकर समीक्षा की गई. बैठक में इस बात पर भी चर्चा हुई कि खिलाड़ियों को नौकरी देते समय उन सभी कानूनी नियमों की पालना हो ताकि आगे जाकर किए भर्ती कानूनी पेचीदगियों में नहीं फंसे. इसको लेकर विधि विभाग के अधिकारियों से भी चर्चा की गई और उनसे सुझाव मांगे गए.

पढ़ें- बाड़मेर को बड़ी सौगात...3 करोड़ की लागत से बनेगा शहर का पहला अंडर ब्रिज

बता दें, राजस्थान में गहलोत सरकार आउट ऑफ टर्न-2016 की पॉलिसी में संशोधन करते हुए मेडल के आधार पर खिलाड़ियों को नौकरी देने का निर्णय लिया था. इसको लेकर कैटेगरी भी तय की गई थी. A कैटेगरी में नौकरी पाने वाले 10 खिलाड़ी, B कैटेगरी में नौकरी पाने वाले 13 खिलाड़ी और C कैटेगरी में नौकरी पाने वाले 446 खिलाड़ियों को शामिल किया गया था.

आउट ऑफ टर्न नियुक्ति पाने वाले खिलाड़ियों को विभिन्न श्रेणियों में रखा गया है...

  • A कैटेगरी में ओलंपिक, पैरा ओलंपिक के पदक विजेता, वर्ल्ड कप, चैंपियनशिप में विजेता या उपविजेता को रखा गया है.
  • B कैटेगरी में एशियन चैंपियनशिप के पदक विजेता और साउथ एशियन गेम्स में पदक विजेता को रखा गया है.
  • C कैटेगरी में नेशनल गेम्स और नेशनल पैरा गेम्स के पदक विजेता और रणजी ट्रॉफी के विजेता को शामिल किया गया है.

जयपुर. खिलाड़ियों को आउट ऑफ टर्न सरकारी नौकरी देने का अंतिम फैसला अब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत लेंगे. इसके लिए कमेटी के पास जो भी आवेदन आएंगे, उसके मिनिट्स बनाकर अनुमोदन किया जाएगा और उच्च स्तर पर समीक्षा के बाद प्रस्ताव सीएम अशोक गहलोत के पास भेजा जाएगी. मुख्य सचिव राजीव स्वरूप की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया.

CM स्तर पर होगा फैसला

खेल के क्षेत्र में राजस्थान का नाम रोशन करने वाले खिलाड़ियों को बिना किसी परीक्षा के उनके मेडल के आधार पर सरकारी नौकरी की सौगात मिलेगी. इसको लेकर खिलाड़ियों से आवेदन मांगे गए थे. सूत्रों की मानें तो 30 खिलाड़ियों ने पहले आवेदन किया था. उसके बाद 5 और खिलाड़ियों ने इसके लिए आवेदन किया है.

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मुख्य सचिव राजीव स्वरूप की अध्यक्षता में शुक्रवार को इन सभी आवेदन करने वाले खिलाड़ियों को नौकरी देने को लेकर उच्च स्तरीय बैठक हुई. बैठक में खेल विभाग के प्रमुख सचिव भास्कर ए सावंत, गृह विभाग के प्रमुख सचिव अभय कुमार और कार्मिक विभाग के अधिकारी मौजूद रहे. बैठक में निर्णय हुआ कि आवेदन करने वाले खिलाड़ियों की उच्च स्तरीय समीक्षा के बाद मिनिट्स तैयार कर प्रस्ताव को मंजूरी के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पास भेजा जाएगा.

बैठक में जिन खिलाड़ियों के आवेदन आए हैं, उन आवेदनों पर चर्चा हुई. साथ ही किस कैटेगरी में नौकरी दी जा सकती है , इसको लेकर समीक्षा की गई. बैठक में इस बात पर भी चर्चा हुई कि खिलाड़ियों को नौकरी देते समय उन सभी कानूनी नियमों की पालना हो ताकि आगे जाकर किए भर्ती कानूनी पेचीदगियों में नहीं फंसे. इसको लेकर विधि विभाग के अधिकारियों से भी चर्चा की गई और उनसे सुझाव मांगे गए.

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बता दें, राजस्थान में गहलोत सरकार आउट ऑफ टर्न-2016 की पॉलिसी में संशोधन करते हुए मेडल के आधार पर खिलाड़ियों को नौकरी देने का निर्णय लिया था. इसको लेकर कैटेगरी भी तय की गई थी. A कैटेगरी में नौकरी पाने वाले 10 खिलाड़ी, B कैटेगरी में नौकरी पाने वाले 13 खिलाड़ी और C कैटेगरी में नौकरी पाने वाले 446 खिलाड़ियों को शामिल किया गया था.

आउट ऑफ टर्न नियुक्ति पाने वाले खिलाड़ियों को विभिन्न श्रेणियों में रखा गया है...

  • A कैटेगरी में ओलंपिक, पैरा ओलंपिक के पदक विजेता, वर्ल्ड कप, चैंपियनशिप में विजेता या उपविजेता को रखा गया है.
  • B कैटेगरी में एशियन चैंपियनशिप के पदक विजेता और साउथ एशियन गेम्स में पदक विजेता को रखा गया है.
  • C कैटेगरी में नेशनल गेम्स और नेशनल पैरा गेम्स के पदक विजेता और रणजी ट्रॉफी के विजेता को शामिल किया गया है.
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