जयपुर. महाराणा प्रताप को लेकर कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा का बयान (Controversy over the statement made by Dotasra) लगातार तूल पकड़ता जा रहा है. इसे लेकर करणी सेना ने भी डोटासरा के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. करणी सेना की ओर से रविवार को गोविंद सिंह डोटासरा के खिलाफ विरोध प्रदर्शन (Karni Sena Protest against Dotasara in Jaipur) किया गया. करणी सेना की ओर से गोविंद सिंह डोटासरा को बर्खास्त करने और उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग की गई है. करणी सेना ने इस मामले में भाजपा पर राजनीति करने का भी आरोप लगाया.
राजपूत करणी सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष महिपाल सिंह मकराना के नेतृत्व में करणी सेना के कार्यकर्ताओं ने राजपूत सभा भवन के बाहर गोविंद सिंह डोटासरा के खिलाफ नारेबाजी की. महिपाल सिंह मकराना ने आक्रोश जताते हुए कहा कि महाराणा प्रताप ने अपनी मातृभूमि और स्वाभिमान के लिए जिंदगी भर मुगलों से लोहा लिया. सत्ता की भूख राजनेताओं को होती है, महाराणा प्रताप जैसे महापुरुषों को नहीं. महाराणा प्रताप ने घास की रोटी खाई लेकिन अपने स्वाभिमान से कभी भी समझौता नहीं किया.
मकराना ने कहा कि अशोक गहलोत बहुत अच्छे राजनेता हैं और अच्छा काम कर रहे हैं. लेकिन पता नहीं उन्होंने क्यों गोविंद सिंह डोटासरा जैसे इंसान को प्रदेश अध्यक्ष बनाया हुआ है. मुख्यमंत्री को चाहिए कि वे डोटासरा से इस्तीफा लें और इनके खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाए. जिस तरह से महाराणा प्रताप को लेकर बयान देने पर नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया को सबक सिखाया गया था उसी तरह से गोविंद सिंह डोटासरा को भी सबक सिखाया जाएगा.
मकराना ने कहा कि गुलाबचंद कटारिया ने भी महाराणा प्रताप को लेकर विवादित बयान दिया था, लेकिन अभी तक भी उन को हटाया नहीं गया है. करणी सेना की ओर से दोनों ही नेताओं को हटाने की मांग की जाएगी और जब तक इनको नहीं हटाया जाएगा तब तक राजपूत करणी सेना की ओर से आंदोलन किया जाएगा. करणी सेना ने डोटासरा के घर जाकर उनका मुंह काला करने की चेतावनी भी दी.
महिपाल सिंह मकराना ने कहा कि कोई भी नेता महाराणा प्रताप के लिए कुछ भी बोल जाता है यह राजपूत समाज कतई बर्दाश्त नहीं करेगा. मेवाड़ ही एक ऐसा क्षेत्र था जिस ने मुगलों की पराधीनता स्वीकार नहीं की. महिपाल सिंह मकराना ने बीजेपी पर इस मामले में राजनीति करने का आरोप (Karni Sena accuses BJP of doing politics on Maharana Pratap) लगाया. जब नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने महाराणा प्रताप को लेकर विवादित बयान दिया था उस समय उन्होंने उसकी निंदा क्यों नहीं की और आज सभी मिलकर डोटासरा के खिलाफ लामबंद हो रहे हैं.
डोटासरा और कटारिया खिलाफ आक्रोश जताते हुए महिपाल सिंह मकराना ने एक को सांपनाथ और एक को नागनाथ बताया. उन्होने कहा कि दोनों के ही मन में जहर भरा है. यदि वास्तव में बीजेपी में महाराणा प्रताप को लेकर सम्मान है तो जितना विरोध आज गोविंद सिंह डोटासरा का किया जा रहा है उतना ही विरोध कटारिया का भी भाजपा को करना चाहिए. दोनों ही नेता इस मामले में दंड के भागीदारी हैं. महिपाल सिंह मकराना चेतावनी दी कि यदि कोई भी राजनेता महापुरुषों पर लांछन लगाने का कार्य करेगा तो हम उस को मुंहतोड़ जवाब देंगे.